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International Year Of Millets : दुनिया को तरक्की-खुशहाली की राह दिखाएगी ये खरीफ फसल, फायदे भी एक से बढ़कर एक

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Published : Feb 25, 2023, 12:03 AM IST

Updated : Mar 18, 2023, 12:50 PM IST

आज 18 मार्च को PM Narendra Modi ने राजधानी दिल्ली में में बाजरा पर दो दिवसीय वैश्विक सम्मेलन का उद्घाटन किया. Millets पूरी दुनिया में आजीविका उत्पन्न करने, किसानों की आय बढ़ाने, खाद्य और पोषण सुरक्षा सुनिश्चित करने की उसकी विशाल क्षमता के आधार पर महत्वपूर्ण हैं. भारत ने 2023 को अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष - IYM बनाने का प्रयास किया था. Millets पूरे एशिया और अफ्रीका में आधे अरब से अधिक लोगों के लिए पारंपरिक भोजन ( Millets traditional food ) माना जाता है. भारत में बाजरा मुख्य रूप से खरीफ की फसल है, जिसमें अन्य खरीफ फसलों की तुलना में कम पानी और कृषि आदानों ( Agricultural inputs ) की आवश्यकता होती है.

IYM  International Year Of Millets
अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष

वैश्विक बाजरा श्री अन्न सम्मेलन 2023 : प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने आज 18 मार्च को राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में में बाजरा पर दो दिवसीय वैश्विक सम्मेलन का उद्घाटन किया. उन्होंने 2023 में मनाए जा रहे 'अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष' को चिह्नित करने के लिए एक डाक टिकट के साथ-साथ एक स्मारक मुद्रा- सिक्के का भी अनावरण किया. भारत सरकार के अनुरोध पर United Nations ने बाजरा के उत्पादन और खपत में जागरूकता बढ़ाने के लिए 2023 को अंतर्राष्ट्रीय बाजरा वर्ष ( IYM ) घोषित किया है. PM Narendra Modi inaugurates global millets Shree Anna conference .

संयुक्त राष्ट्र की इस घोषणा ने भारत को IYM 2023 मनाने का नेतृत्व करने की अनुमति दी है. इसके लिए सभी केंद्रीय मंत्रालय, राज्य सरकारें और भारतीय दूतावास बाजरा के लाभों के बारे में जागरूकता फैलाने और प्रचार करने के लिए पूरे वर्ष कार्यक्रम आयोजित करेंगे. फसल कटाई के बाद मूल्य संवर्धन (Post harvest value addition ) , घरेलू खपत बढ़ाने , राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर बाजरा उत्पादों की ब्रांडिंग के लिए सहायता प्रदान की जाएगी.मिलेट्स मुख्य रूप से एशिया और अफ्रीका ( Millets in Asia and Africa ) में पैदा होता है. भारत मिलेट्स का शीर्ष उत्पादक देश है और भारत के बाद नाइजीरिया, नीजर और चीन का स्थान है.

millets benefits International Year Of Millets 2023
इंफो ग्रफिक्स

मिलेट्स अभी भी उप-सहारा अफ्रीका और एशिया के कुछ हिस्सों में पारंपरिक भोजन ( Traditional food Millets ) है. संयुक्त राष्ट्र के खाद्य और कृषि संगठन ( Food and Agriculture Organization of the United Nations - FAO) के अनुसार, भारत 2020 में 41 प्रतिशत की हिस्सेदारी के साथ दुनिया में बाजरा का सबसे बड़ा उत्पादक है. 20 से अधिक राज्यों में 9 प्रकार के बाजरा,खरीफ फसलों के रूप में उगाए जाते हैं. भारत में राजस्थान,महाराष्ट्र,कर्नाटक और आंध्र प्रदेश प्रमुख उत्पादक हैं. भारत में ज्वार और अन्य कदन्न पर बुनियादी और सामरिक अनुसंधान करने के लिए हैदराबाद के राजेंद्रनगर मंडल में Indian Institute of Millets Research ( IIMR - भारतीय कदन्न अनुसंधान संस्थान ) स्थापना की गई है जोकि Indian Council of Agricultural Research ( ICAR - भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद ) के तत्वावधान में कार्य करता है.

Food and Agriculture Organization of the United Nations - FAO
सौजन्य : संयुक्त राष्ट्र खाद्य और कृषि संगठन

भारत में बाजरा को खरीफ फसल ( Kharif crop Millets ) के रूप में उगाया जाता है, वर्तमान में 130 से अधिक देशों में बाजरे का उत्पादन किया जाता है. इसे एशिया और अफ्रीका में 50 करोड़ से अधिक लोगों के लिए पारंपरिक खाद्य पदार्थ ( Traditional food ) माना जाता है. वहीं, भारत में बाजरा मुख्य रूप से एक Kharif crop है, जिसमें अन्य समान फसल की तुलना में कम जल और कृषि साधनों (इनपुट) की जरूरत होती है. बाजरा किसानों की आजीविका बढ़ाने और विश्व स्तर पर खाद्य और पोषण की सुरक्षा सुनिश्चित करने की उसकी क्षमता के कारण महत्वपूर्ण हैं. इन कारणों से मिलेट्स हमारे जरूरी है.

millets benefits International Year Of Millets 2023
सौजन्य : भारत सरकार
  1. मिलेट्स स्वस्थवर्धक-पोषण आहार में योगदान कर सकता है.
  2. बाजरा जलवायु-लचीला है.
  3. बाजरा किसानों की आजीविका बढ़ाने में मददगार
  4. बाजरे का व्यापार विश्व की खाद्य प्रणाली की विविधता में सुधार ला सकता है.
  5. बाजरे का उपयोग कई प्रकार से किया जा सकता है.

बाजरा मुख्य रूप से तीन प्रकार के होते हैं

  1. ज्वार :सोरघम Sorghum
  2. बाजरा : pearl millet
  3. रागी : Finger Millet
millets benefits International Year Of Millets 2023
कॉन्सेप्ट इमेज

छोटे बाजरे 5 प्रकार के होते हैं

  1. काकुम : Foxtail Millet
  2. कोदों : Kodo Millet
  3. सानवा : Barnard Millet
  4. कुटकी/शावन : Small Millet
  5. चेन्ना या बरी : Proso Millet
Food and Agriculture Organization of the United Nations - FAO
सौजन्य : भारत सरकार

भारत सरकार का प्रयास 2023 के आर्थिक सर्वेक्षण में इस बात पर प्रकाश डाला गया है कि एशिया में अकेले भारत 80% और बाजरा के वैश्विक उत्पादन का 20% उत्पादन करता है. बाजरा की औसत उपज भारत में 1239 kg/हेक्टेयर है, जबकि वैश्विक औसत उपज 1229 kg /हेक्टेयर है. प्रधानमंत्री Narendra Modi ने देश भर में बाजरा के उपयोग को बढ़ावा देने के लिए भाजपा सांसदों से अपील की थी, और कहा था इससे छोटे और सीमांत किसानों की आर्थिक स्थिति मजबूत होगी.बाजरा पर अपने फोकस के अनुरूप, केंद्र ने 2023-24 के केंद्रीय बजट में महत्वपूर्ण घोषणा की. बाजरा को 'श्री अन्न' ( Shri Anna ) या सभी अनाजों की मां कहते हुए,वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को की बात को दोहराते हुए कहा कि हमारा देश बाजरे को लोकप्रिय बनाने में सबसे आगे है. बाजरे के उपभोग से खाद्य सुरक्षा और किसानों को फायदा हुआ है. Finance Minister Nirmala Sitharaman ने बताया कि भारत मिलेट्स का सबसे बड़ा उत्पादक देश है और दूसरा सबसे बड़ा निर्यातक है. Nirmala Sitharaman ने कहा, हम कई प्रकार के Shri Anna उगाते हैं, जैसे बाजरा, रामदाना, ज्वार, रागी, चीना और सामा. बाजरा के कई स्वास्थ्य लाभ हैं और पुराने समय से हमारे भोजन का अभिन्न अंग रहा है.

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सौजन्य : भारत सरकार

सुपरफूड बाजरा :- पर्यावरण-जीवन रक्षक
विशेषज्ञों के अनुसार बाजरा अनाज की एक किस्म है जो लगभग हर आवश्यक पोषक तत्व से भरी हुई है और अक्सर इसे ग्लूटेन मुक्त के रूप में एक प्राचीन सुपरफूड ( Ancient superfood ) माना जाता है जो कई अंतर्निहित बीमारियों का मूल कारण है. भारत में कई किस्म के बाजरा उगाए जाते हैं, इनमें से प्रत्येक बाजरा आसानी से उपलब्ध है. International Year of Millets का उद्देश्य एक शब्द-आंदोलन अर्थात 'जीवन' को बढ़ावा देना है, जो एक स्थायी और लचीली जीवन शैली की दृष्टि से जलवायु संकट और भविष्य की अप्रत्याशित चुनौतियों से निपटने में उपयोगी है. बाजरा को पर्यावरण के प्रति जागरूक स्वस्थ जीवन शैली के आंदोलन के रूप में प्रस्तावित किया गया है जो बाजरे के उपयोग को अनिवार्य रूप से बढ़ावा देता है.

भारत के मिलेट मैन के रूप में लोकप्रिय खादर वली ( Khadar Vali ) ने किसानों, कृषि वैज्ञानिकों और नीति निमार्ताओं से मिट्टी, पानी, पर्यावरण और सबसे बढ़कर मानव स्वास्थ्य को बचाने के लिए कृषि में बाजरा को बढ़ावा देने की गुजारिश की है . Millet Man Dr Khadar Wali ने कहा, आइए हम बाजरा को अपनी रसोई में वापस लाएं, उसे अपने आहार का एक अनिवार्य हिस्सा बनाएं और उभरती नई स्वास्थ्य समस्याओं को अलविदा कहें. मिलेट मैन खादर वली ने कहा कि बाजरा की खेती से बंजर भूमि का पुनर्वास ( barren land rehabilitation ) किया जा सकता है. खादर वली ने कहा कि उनके प्रयोगों से पता चला है कि बाजरा खाने से न केवल बीमारियों को रोकने में मदद मिल सकती है, बल्कि बेहतर इलाज करने में भी मदद मिल सकती है. PM Narendra Modi message on millets year 2023 .

millets benefits International Year Of Millets 2023
सौजन्य : भारत सरकार

मिलेट मैन खादर वली ने कहा कि बाजरा की खेती से बंजर भूमि का पुनर्वास ( barren land rehabilitation ) किया जा सकता है. खादर वली ने कहा कि उनके प्रयोगों से पता चला है कि बाजरा खाने से न केवल बीमारियों को रोकने में मदद मिल सकती है, बल्कि बेहतर इलाज करने में भी मदद मिल सकती है. Millet Man Dr Khadar Wali ने कहा, यह कोई चमत्कार नहीं है बल्कि एक आदर्श विज्ञान है, जो मानव के स्वस्थ जीवन के लिए वास्तविक खाद्य पदार्थ हैं. वली के अनुसार, बाजरा पहली पालतू घास ( first domesticated grass )है और बाजरा के लाभों पर लोगों के बीच जागरूकता अभियान की आवश्यकता है. PM Narendra Modi inaugurates global millets Shree Anna conference .

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Last Updated :Mar 18, 2023, 12:50 PM IST
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