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डायल 100 की हालत खस्ता: कई गाड़ियां खराब, कैसे मिलेगा समय पर न्याय?

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Published : Apr 6, 2022, 2:00 PM IST

मध्य प्रदेश में क्राइम रेट दिनों-दिन बढ़ रहा है. ऐसे में पुलिस को और अधिक साधनों की आवश्यकता है, ताकि अपराध और अपराधी दोनों पर लगाम लगाई जा सके. लेकिन भिंड की बात करें तो यहां डायल 100 की कई गाड़िया कबाड़ की स्थिति में है. इस स्थिति में पुलिस के सामने चुनौती है कि कैसे समय पर पहुंचकर फरियादी को सहायता मुहैया कराए.

bad condition of bhind dial 100
भिंड डायल 100 की हालत खस्ता

भिंड। पुलिस का नाम सुनते ही सबसे पहला ख्याल डायल 100 का आता है. जिसे एक कॉल पर मदद के लिए बुलाया जा सकता है. भिंड में ये फर्स्ट रिस्पांस व्हीकल सड़ते दिखाई दे रहे हैं. ऐसे में लोग कैसे डायल 100 पर कॉल लगाएं और कैसे पुलिस को बुलाए. हालांकि जल्द इन वाहनों की बदली होने की उम्मीद जतायी जा रही है, लेकिन तब तक हालत क्या रहेंगे जानिए इस रिपोर्ट के जरिए.

डायल 100 गाड़ियों की हालत खस्ता: मध्यप्रदेश में '100 लगाओ पुलिस बुलाओ' योजना के तहत 1 नवम्बर 2015 को पुलिस की डायल 100 एकीकृत प्रतिक्रिया सेवा (ईआरएस) का शुभारम्भ हुआ था. जिसका उद्देश्य था जन-जन तक तेजी से पुलिस की पहुंच, ताकि अपराध पर अंकुश लग सके. साथ ही किसी भी घटना के दौरान समय पर पुलिस सहायता मिल सके. इसी के तहत भिंड में भी डायल 100 के तहत 27 FRV (First response vehicle) पुलिस मुख्यालय भोपाल द्वारा उपलब्ध कराए गए थे. लेकिन भिंड के अलग-अलग थानों में डायल 100 की गाड़ियां खराब खड़ी हैं और सड़ रही हैं. जिनकी सुध लेने वाला कोई नजर नहीं आ रहा है.

भिंड में डायल 100 की कई गाड़ियां खराब

लोगों के लिए मददगार साबित हुई डायल 100: भिंड के अजाक और महिला थाने को छोड़कर कर 26 पुलिस थाने संचालित हैं, जो सभी 9 जनपद पंचायत क्षेत्रों को कवर करते हैं. लेकिन हर व्यक्ति पुलिस थाने पर पहुँचने की स्थिति में हो, यह सम्भव नहीं है. ऐसे में प्रत्येक 20 किलोमीटर क्षेत्र के मध्य एक डाइल 100 FRV की व्यवस्था जिला पुलिस द्वारा की गयी है. लेकिन बीते सालों में कई FRV कंडम हो चुकी हैं. मेंटिनेंस या अन्य वजहों से इनका संचालन नहीं होने से भी लाखों के वाहन सड़ने लगे हैं. ऐसा नहीं है कि डायल 100 वाहनों से लोगों को फायदा नहीं है, बल्कि हर रोज ये FRV सैकड़ों लोगों की मदद करती हैं. आपराधिक घटनाओं के स्थानों पर तो ये वाहन पहुँचते ही हैं, साथ ही कई बार सड़क दुर्घटनाओं में घायलों को पहुँचने से लेकर प्रसूताओं को अस्पताल तक पहुँचाने में भी मददगार साबित होते है.

खराब FRV का आंकड़ा नहीं: राज्य पुलिस सेवा के अधिकारी और भिंड पुलिस प्रशासन के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक कमलेश कुमार खरपुसे ने बताया कि वर्तमान में भिंड में 27 FRV संचालित हैं. जिनमें से दो वाहन किन्हीं कारणों से फिलहाल ऑफरोड हैं. जिनकी मरम्मत होते ही दोबारा इनका उपयोग शुरू होगा. हालांकि हमारी जानकारी के अनुसार शहर कोतवाली में ही दो डायल 100 महीनों से खराब पड़ी हैं. इनके अलावा अन्य पुलिस थानों में मिलकर करीब आधा दर्जन वाहन कबाड़ में तब्दील हो रहे हैं.

जल्द मिलेगी नए वाहनों की सौगात: अतरिक्त पुलिस अधीक्षक ने यह भी बताया की FRV वाहनों को काफी समय हो चुका है, ऐसे में गाड़ियाँ काफी पुरानी हो गयी हैं. जिनमें कई टेक्निकल और मैक्निकल समस्याएं भी आ रही हैं. पूर्व में डायल 100 सेवा में उपयोग वाहनों के मेंटिनेन्स का टेंडर पुलिस मुख्यालय भोपाल द्वारा भारत विकास ग्रुप को दिया गया था, हाल ही में जानकारी प्राप्त हुई है कि उनका टेंडर समाप्त होकर किसी अन्य कम्पनी को दिया जा रहा है. ऐसे में नई कम्पनी आने के बाद वे सभी पुराने वाहनों को बदलकर नई गाड़ियां उपलब्ध कराएगी. ऐसे में भिंड डायल 100 के महकमे में नए वाहन फर्राटे भरेंगे.

यूपी से लेना चाहिए सीख: डायल 100 सेवा के लिए उपयोग होने वाले वाहनों को लेकर एक दिलचस्प बात यह भी है कि पुलिस मुख्यालय द्वारा जिस वाहन का प्रयोग मध्यप्रदेश में किया जाता है टाटा सफारी, उसकी शुरुआती कीमत करीब 14 लाख रुपय है. साथ ही मेंटेनेंस भी महँगा है, ऐसे में हजारों वाहनों को खरीदना एक महँगा प्रोजेक्ट है. खासकर तब, जब 90 फीसदी वाहनों का उपयोग ग्रामीण अंचलों में होता है. जबकि उत्तरप्रदेश सरकार ने डायल 100 की तर्ज पर UP 100 सेवा के लिए महिंद्रा बुलेरो का चयन किया, जो सफारी की लगभग आधी कीमत में खरीदी जा सकती है. साथ ही इनका मेंटेनेंस भी काफी कम है. हालाँकि यह फैंसला सरकार और पुलिस विभाग और उनके बजट पर निर्भर करता है.

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