ETV Bharat / state

झारखंड में ST समाज को बैंकों से क्यों नहीं मिलता ऋण, दूसरे आदिवासी बहुल राज्यों में ढूंढ़ा जाएगा जवाब

author img

By

Published : Dec 23, 2021, 10:43 PM IST

Jharkhand Tribal Advisory Council
Jharkhand Tribal Advisory Council

झारखंड में जनजातीय समाज के लोगों को बैंकों से ऋण क्यों नहीं मिलता है, इसका जवाब दूसरे आदिवासी बहुल राज्यों में ढूंढ़ा जाएगा. झारखंड टीएसी उप समिति की बैठक में यह फैसला लिया गया.

रांची: झारखंड जनजातीय परामर्शदातृ परिषद् उप समिति की पहली बैठक में इस बात पर जोर शोर से चर्चा हुई कि अखिर जनजातीय समाज को शिक्षा ऋण, गृह ऋण, कृषि ऋण समेत अन्य ऋण लेने में कठिनाइयों का सामना क्यों करना पड़ता है. प्रोजेक्ट भवन में समिति के अध्यक्ष स्टीफन मरांडी की अध्यक्षता में हुई बैठक में यह माना गया कि छोटानागपुर काश्तकारी अधिनियम-1908 और संथाल परगना काश्तकारी अधिनियम-1949 के प्रावधान के अनुसार अनुसूचित जनजातियों की जमीन की खरीद-बिक्री पर रोक होने के कारण बैंकों से ऋण लेने में दिक्कत होती है.

ये भी पढ़ें- अंगिका, भोजपुरी और मगही को मान्यताः मैट्रिक-इंटर स्तर के पदों के लिए जिलावार सूची जारी

चर्चा के दौरान यह बात सामने आई कि झारखंड के निकटवर्ती आदिवासी बहुल राज्यों में सुलभतापूर्वक ऋण मिल रहा है. लिहाजा उप समिति ने छत्तीसगढ़, ओडिशा, मध्यप्रदेश और राजस्थान का भ्रमण कर इस गंभीर सवाल का जवाब तलाशने का निर्णय लिया है. इस संबंध में समिति द्वारा विभागीय सचिव और आदिवासी कल्याण आयुक्त से अनुरोध किया गया कि उन राज्यों से समन्वय स्थापित कर इस संबंध में विस्तृत जानकारी प्राप्त कर ली जाय.

झारखंड टीएसी उप समिति की बैठक

उप समिति ने सर्वसम्मति से यह भी निर्णय लिया है कि झारखंड में जनजातीय बहलु तीन प्रमंडलों यानी संथाल परगना, कोल्हान और छोटानागपुर प्रमंडल का भ्रमण कर प्रमंडल स्तर पर बैठक आहूत की जाय. जिसमें संबंधित जिलों के उपायुक्त, सभी बैंकों के महाप्रबंधक स्तर के पदाधिकारी, जिलों के एलडीएम, जानकार अधिवक्ताओं और अनुसूचित जनजाति के बुद्धिजीवी शिरकत करें. उसी समय बैंकों के पदाधिकारियों को निर्देश दिया जाय कि उनके द्वारा अनुसूचित जनजातियों को उपलब्ध कराये गये ऋण एवं ऋण की वसूली से संबंधी प्रतिवेदन के साथ बैठक में भाग लें.

बैठक के दौरान आदिवासी कल्याण आयुक्त को झारखंड के अनुसूचित जनजाति समुदाय से सुझाव प्राप्त करने के लिए एक email ID और Whatsapp नंबर समाचार पत्रों के माध्यम से प्रकाशित करने का निर्देश दिया गया. ताकि ऋण प्राप्त करने के संबंध में आ रही कठिनाईयों एवं उसके समाधान संबंधी सुझाव प्राप्त हो सके.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.