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नवरात्र के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा, जानिए कैसे करें माता को प्रसन्न ?

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Published : Apr 2, 2022, 6:33 PM IST

नवरात्र के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा
नवरात्र के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा

नवरात्रि के दूसरे दिन माता ब्रह्माचारिणी की पूजा की (Worship of Mother Brahmacharini on the second day of Navratri) जाती है. माता ब्रह्मचारिणी सारे दु:खों को दूर करने वाली हैं.यदि श्रद्धापूर्वक माता की आराधना की जाए तो निश्चित तौर पर मनोकामना पूरी होती है.

रायपुर : अश्वनी नक्षत्र वैधृति योग कौलव और तैतिल करण आनंद योग और मेष राशि के चंद्रमा में चैत्र शुक्ल पक्ष की शुभ द्वितीया माता ब्रह्मचारिणी की रूप में पूजा कर मनाई (Worship of Mother Brahmacharini on the second day of Navratri)जाएगी. इस शुभ दिन सुति स्नान प्रवाल धारण और सर्वार्थ सिद्धि योग का भी शुभ प्रभाव है. इस दिवस को मत्स्य अवतार मनुवादी के रूप में जाना जाता है. माता ब्रह्मचारिणी माता सती का ही दूसरे जन्म का रूप (Mata Brahmacharini is the second birth form of Mata Sati) है. ब्रह्मचारिणी रूप में माता पार्वती ने शिव की प्राप्ति हेतु अपरिमित और अनंत तपस्या की. हजारों वर्षों की कठिन साधना व्रत उपवास निराहार उपवास रहकर माता ब्रह्मचारिणी ने शिव के लिए अथक प्रयास किया. तब जाकर शिव के रूप में माता पार्वती को वर के रुप में प्राप्त हुए.




कैसे करें पूजन : तपस्या और महान साधना से भोलेनाथ प्रसन्न होकर माता पार्वती को जीवनसाथी के रूप में स्वीकार करते हैं. यह पौराणिक कथा हमारे जीवन में सुधीर धैर्य और धीरज का संदेश देती है. इस शुभ दिन स्वच्छ और निर्मल वस्त्र पहनकर माता ब्रह्मचारिणी की पूजा उपासना और साधना करनी चाहिए. माता ब्रह्मचारिणी हमारे जीवन में एक नया प्रकाश और आलोक भरती हैं. इस शुभ दिन कुंवारी कन्या जिनके विवाह में बाधा आ रही हो उन्हें विशेष रूप से इस व्रत का पालन करना चाहिए .इस व्रत के पालन करने से उनकी मनोकामनाएं शीघ्र पूर्ण हो जाती है. यह पर्व उल्लास उमंग प्रकाश और ज्योति का है. इस समय में सभी मंदिरों में मनोकामनाएं ज्योति जलाई जाती है. संपूर्ण मंदिर का क्षेत्र आलोक और प्रकाश से भरा हुआ रहता है. ऐसे शुभ समय में माता के दर्शन करना बहुत ही शुभ (very auspicious to see mother) माना गया है .




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किन माताओं के करें दर्शन : रतनपुर के महामाया मंदिर (Mahamaya Temple of Ratanpur), डोंगरगढ़ बमलेश्वरी माता (Dongargarh Bamleshwari Mata), बस्तर में माता दंतेश्वरी (Mata Danteshwari in Bastar)का दर्शन करना बहुत ही शुभ माना गया है. माता ब्रह्मचारिणी के रूप में पूजा करने पर ऐसे जातक जिनके दांपत्य जीवन में कोई कड़वाहट हो. उन्हें भी इस व्रत का पालन करने पर अनुकूलता प्राप्त होती है. इस शुभ दिन श्री गायत्री मंत्र, दुर्गा चालीसा, दुर्गा सप्तशती, दुर्गा सहस्त्रनाम ,पार्वती सहस्त्रनाम का पाठ करना शुभ माना जाता है. अनेक लोग इस अवसर पर अपने निवास और मंदिरों में शतचंडी यज्ञ का आयोजन करवाते हैं. ऐसे सुंदर आयोजनों में शामिल होने का प्रयास करना चाहिए. माता ब्रह्मचारिणी हमारे जीवन को परिपूर्णता से भरने वाली हैं. अतः अपने संकल्प बल को सिद्ध करने के लिए जातकों को इस दिन का व्रत उपवास पूरी श्रद्धा के साथ करना चाहिए .

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