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सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की कमी, भगवान भरोसे चल रही पढ़ाई

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Published : Oct 25, 2019, 5:41 PM IST

Updated : Oct 25, 2019, 7:56 PM IST

कोरबा के बुंदेली इलाके में इन दिनों शिक्षा विभाग के छोटे-बड़े अधिकारियों का सांठगांठ चल रही है, जिससे शिक्षक अपने मनपसंद जगहों पर ट्रांसफर करा ले रहे हैं, जिससे स्कूलों में शिक्षकों की कमी है. ऐसे में ग्रामीण स्कूलों में अध्यनरत बच्चों के भविष्य पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं.

भगवान भरोसे चल रही पढ़ाई

कोरबा: कोरबा ब्लॉक के बुंदेली में हाईस्कूल और प्राथमिक शाला में बिना शिक्षकों के स्कूलों का का हाल-बेहाल है. बुंदेली के स्कूलों में चपरासी से लेकर शिक्षकों तक को BEO कार्यालय में संलग्न कर दिया गया है. वहीं कुछ चहेते शिक्षकों को मन पंसद अनुसार ट्रांसफर भी कर दिया गया है, जिससे सरकारी स्कूलों में अध्ययनरत बच्चों का भविष्य दांव पर है.

सरकारी स्कूलों में शिक्षकों की कमी

दरअसल, जिला मुख्यालय से 17 किलोमीटर की दूरी पर स्थित बुंदेली मिडिल स्कूल में वैसे तो 7 कर्मचारियों की पदस्थापना है, लेकिन संलग्नीकरण के चलते 1 शिक्षक दूसरी जगह अटैच है, जबकि चपरासी BEO कार्यालय में काम कर रहा है. ऐसे में स्कूल का काम प्रभावित हो रहा है.

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अधिकारियों में आपसी सांठगांठ
सरकार से स्कूल के शिक्षक या चपरासियों को कहीं और संलग्न करने का कोई नियम नहीं है, लेकिन उच्च अधिकारी आपसी सांठगांठ कर नियमों की धज्जियां उड़ा रहे हैं. कर्मचारियों को मनचाहे स्थान पर अटैच कर रहे हैं. ग्रामीण क्षेत्रों के स्कूलों को प्रभावित कर रहे हैं, जिससे ग्रामीण इलाकों में शिक्षा व्यवस्था बिगड़ रही है.

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स्कूलों में हो रही पढ़ाई प्रभावित
वहीं स्कूल के प्रधान पाठक सीताराम कंवर ने बताया कि 'स्थिति पिछले कई वर्षों से बनी हुई है, जिसके कारण उन्हें कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. एक कर्मचारी ऐसे हैं, जो पदस्थापना लेने के कुछ घंटे बाद उनकी अटैचमेंट किसी दूसरे जगह हो गई, जिससे स्कूल में पढ़ाई प्रभावित हो रही है'.

Intro:कोरबा। सांठगांठ कर चाहतों को मनपसंद पदस्थापना देने के लिए जिले के शिक्षा विभाग में अटैचमेंट का खेल चल रहा है। इससे सरकारी स्कूल में अध्ययनरत बच्चों का भविष्य दांव पर है। हालात यह हैं कि ग्रामीण क्षेत्र के स्कूल शिक्षक विहीन हो रहे हैं। इतना ही नहीं स्कूल के चपरासियों को भी गांव से निकालकर शहर में अटैच कर दिया गया है। Body:ऐसा ही एक मामला कोरबा विकासखंड के प्राथमिक एवं हाईस्कूल बुंदेली में का सामने आया है। जहां के चपरासी भी बीईओ कार्यालय में संलग्न हैं। जबकी शिक्षकों को पहले ही संलग्न किया जा चुका है। इस मुद्दे को लेकर ग्राम सभा में भी चर्चा हुई थी लेकिन समस्या का समाधान नहीं हो पाया है।
जिला मुख्यालय से 17 किलोमीटर की दूरी पर बुंदेली स्थित मिडिल स्कूल में वैसे तो 7 कर्मचारियों की पदस्थापना है। लेकिन संलग्न करण के चलते 1 शिक्षक दूसरी जगह अटैच है जबकि चपरासी बीईओ कार्यालय में काम कर रहा है। ऐसे में स्कूल का काम प्रभावित हो रहा है।
अध्यापन के साथ ही स्कूल की व्यवस्था भी बिगड़ रही है शासन द्वारा स्कूल के शिक्षक या चपरासी को कहीं और संलग्न करने का कोई नियम नहीं है। लेकिन उच्च अधिकारी आपसी सांठगांठ कर नियमों की धज्जियां उड़ा रहे हैं ल, और कर्मचारियों को मनचाहे स्थान पर अटैच कर रहे हैं। इससे खासतौर से ग्रामीण क्षेत्र के स्कूल ज्यादा प्रभावित है शिक्षा व्यवस्था लगातार बिगड़ रही है।Conclusion:स्कूलों में कार्यरत कर्मचारी राजनीतिक पहुंच का फायदा उठा रहे हैं। ऐसे मामलों में अधिकारी भी हाथ बांधे खड़े हैं जिसका सीधा असर शैक्षणिक कार्यों पर पड़ रहा है।
स्कूल के प्रधान पाठक सीताराम कंवर ने बताया कि स्थिति पिछले कई सालों से बनी हुई है। जिसके कारण उन्हें कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ रहाहै। एक कर्मचारी ऐसे हैं जो पदस्थापना लेने के कुछ घंटे बाद उनकी अटैचमेंट किसी दूसरे जगह हो गई। अब ऐसे में स्कूल में पढ़ाई का प्रभावित होना स्वभाविक है।


बाईट। सीताराम कँवर, प्रधान पाठक
विजुअल- स्कूल
Last Updated : Oct 25, 2019, 7:56 PM IST
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