बलौदाबाजार: कोरोना महामारी के दौरान लोगों की जिंदगी से खिलवाड़ करने वाले बिना रेजिस्ट्रेशन और झोलाछाप डॉक्टरों के खिलाफ प्रशासन ने बड़ी कार्रवाई की है. पलारी तहसीलदार और स्वास्थ्य विभाग (health Department) ने सोमवार को झोला छाप डॉक्टरों के दवाखानों पर छापा मारा. इस दौरान बिना कोरोना जांच सर्दी-खांसी का इलाज करते 9 दवाखाने सील किए गए. वहीं एक लाख 17 हजार रुपये का जुमार्ना भी वसूला गया.
इन लोगों के खिलाफ हुई कार्रवाई
तहसीलदार ने बताया कि आज 9 डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई की गई है. इसमें पलारी के आरआर जाल से 7 हजार, ग्राम रोहांसी के आरके वर्मा से 20 हजार, आसिम दास बंगाली से 10 हजार रुपये वसूले गये. वहीं ओ एन मनहरे से 10 हजार, ग्राम ओड़ान के एचसी साहू से 20 हजार रुपये, ग्राम संडी के महेन्द वर्मा से 20 हजार, गुरुचरण साहू से 10 हजार रुपये और विशंभर साहू से 10 हजार रुपये का जुमार्ना वसूला गया.
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झोलाछाप डॉक्टरों के चलते फैल रहा संक्रमण
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार झोलाछाप डॉक्टर बड़ी संख्या मे ग्रामीणों को कोरोना के लक्षण होने पर भी सर्दी-खांसी समझकर इलाज कर रहे थे. ग्रामीण इनकी बातों में आकर कोरोना की जांच नहीं करा रहे थे. लगातार ब्लॉक में संक्रमण बढ़ रहा है. साथ ही ग्रामीणों की तबीयत में सुधार के बजाय इनका स्वास्थ्य और बिगड़ रहा था. इसके चलते कुछ लोगों को अपनी जान भी गंवानी पड़ी. फिलहाल सभी दवाखानों को सील कर दिया गया है.
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लोगों से झोलाछाप डॉक्टरों से इलाज न करवाने की अपील
अपर कलेक्टर राजेंद्र गुप्ता ने सभी ग्रामीणों से झोलाछाप डॉक्टरों से बचने की सलाह दी है. उन्होंने कहा कि किसी भी तरह लक्षण होने पर स्वास्थ्य केंद्र में जाकर कोविड टेस्ट कराएं.आपकी सतर्कता ही बचाव है. उन्होंने साथ ही आने वाले दिनों में ऐसे डॉक्टरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी है.