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Women's Day: बस्तर की आयरन लेडी करमजीत कौर ने बचाई कई महिलाओं की जिंदगी

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Published : Mar 7, 2021, 6:42 PM IST

Updated : Mar 8, 2021, 4:54 PM IST

इस अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर हम पाठकों को बस्तर की आयरन लेडी से मिलवाने जा रहे हैं. इनका नाम करमजीत कौर हैं. अगर हम इन्हें बस्तर की 'पैडवुमन' के नाम से पुकारें तो गलत नहीं होगा. करमजीत कौर एक समाजसेवी हैं. पिछले 5 सालों से बस्तर के ग्रामीण और शहरी इलाकों में माहवारी के प्रति जागरूकता अभियान चला रहीं हैं.

Special on International Women's Day
अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर खास

जगदलपुर: छत्तीसगढ़ के बस्तर में ग्रामीण अंचलों में आज भी विकास और जागरूकता की कमी दिखाई देती है. कई मामलों में ग्रामीण इलाके पिछड़े हुए हैं. माहवारी को लेकर भी कई महिलाओं और बालिकाओं में भ्रम की स्थिति है. एक रिपोर्ट के मुताबिक बस्तर संभाग में मासिक धर्म के दौरान मात्र 30 प्रतिशत महिलाएं सैनिटरी पैड का इस्तेमाल करती हैं. वहीं 10 फ़ीसदी युवतियों का मानना है कि मासिक धर्म एक बीमारी है.

अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर खास

आपको ये जानकर भी हैरानी होगी कि अधिकतर बालिकाएं इसे बीमारी मानकर स्कूल भी छोड़ देती हैं. यह प्राकृतिक प्रक्रिया अपने साथ कई समस्याएं भी लेकर आती है. मासिक धर्म के दौरान अगर सही से रखरखाव और साफ सफाई का ध्यान न रखा जाए तो कई तरह की गंभीर समस्या भी जन्म ले सकती है. ऐसे में ये हालात चिंता पैदा करने वाले हैं.

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अब मिलिए 'पैडवुमन' से

8 मार्च को विश्वभर में महिलाओं के सम्मान के लिए अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस मनाया जाता है. महिलाओं ने आज हर सेक्टर में अपनी भागीदारी को साबित किया है. इस अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के मौके पर हम पाठकों को बस्तर की आयरन लेडी से पहचान करवा रहे हैं. इनका नाम करमजीत कौर हैं. अगर हम इन्हें बस्तर की 'पैडवुमन' के नाम से पुकारें तो गलत नहीं होगा. करमजीत कौर एक समाजसेवी हैं. पिछले 5 सालों से बस्तर के ग्रामीण और शहरी इलाकों में माहवारी के प्रति जागरूकता अभियान चला रहीं हैं. अपनी संस्था के माध्यम से महिलाओं को मुफ्त सैनिटरी पैड उपलब्ध करवा रहीं हैं. ETV भारत ने करमजीत कौर से बातचीत की है. इस दौरान उन्होंने बस्तर में महिलाओं के हालातों पर अपनी बात मुखर होकर रखी.

Karamjit Kaur's campaign is successful
करमजीत कौर का अभियान हो रहा सफल

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बस्तर में जागरूकता की जरूरत

करमजीत कौर ने बताया कि बस्तर के ग्रामीण अंचलों के साथ ही शहरी क्षेत्र की महिलाओं और किशोर बालिकाएं माहवारी के दौरान कपड़े का इस्तेमाल करतीं हैं. इससे गंभीर बीमारी का खतरा बढ़ जाता है. वहीं बस्तर के ग्रामीण अंचलों की अधिकतर महिलाएं और किशोर बालिकाएं माहवारी से होने वाले रोगों से जूझ भी रहीं हैं. लगातार बढ़ती समस्या को देखते हुए उन्होंने 'एमएम फाइटर्स' और 'बस्तर फाउंडेशन केयर संस्था का गठन' किया. संस्था में अपने साथ ऐसी महिलाओं और युवतियों को शामिल किया जो बस्तर की महिलाओं को विभिन्न क्षेत्रों में जागरूक करने के लिए अच्छा काम कर रहीं हैं. उसके बाद उन्होंने 2015 से अपने संस्था के माध्यम से लगातार इस क्षेत्र में काम करना शुरू किया. उनके साथ-साथ उनकी पूरी टीम ग्रामीण महिलाओं को जागरूक करने के लिए बस्तर के ग्रामीण अंचलों में शिविर लगाकर माहवारी से बचने के लिए उपाय बताने का काम शुरू किया. इसके साथ ही पैड बैंक के माध्यम से निशुल्क सैनिटरी पैड का वितरण करने का काम भी शुरू किया.

Need of awareness in Bastar
बस्तर में जागरूकता की जरूरत

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करमजीत कौर का अभियान हो रहा सफल

करमजीत कौर ने अपनी संस्था के सदस्यों के साथ मिलकर ग्रामीण अंचलों में लगातार जागरूकता अभियान चलाया. करमजीत कौर ने बताया कि इस दौरान उन्हें बस्तर के कई लोगों ने पैड बैंक में नैपकिन्स देकर उनके इस अभियान में पूरा समर्थन दिया. जिले के बालिका आश्रम, स्कूल और ऐसे कई संस्थानों और कार्यक्रमों में युवतियों के साथ साथ बड़ी संख्या में महिलाओं ने उनका साथ दिया. और लोगों को जागरूक करने का काम किया. उन्होंने बताया कि शुरुआती दौर में झिझक की वजह से महिलाएं और किशोरी बालिका सामने नहीं आते थे. लेकिन धीरे-धीरे उन्होंने इस झिझक को दूर करने का संकल्प लिया. ग्रामीण युवतियों के माध्यम से बस्तर के अंदरूनी इलाकों में जागरूकता अभियान चलाया. नतीजा यह हुआ कि अब बस्तर जिले के अधिकतर महिलाएं और किशोरी बालिकाएं सैनिटरी नैपकिन का उपयोग करने लगी हैं. करमजीत कौर ने कहा कि उनका लक्ष्य है कि बस्तर में माहवारी से होने वाली गंभीर बीमारी को जड़ से खत्म करने और सैनिटरी नैपकिन की उपयोगिता की जानकारी गांव-गांव तक पहुंचाना है. ना सिर्फ बस्तर जिला बल्कि नारायणपुर, दंतेवाड़ा और कोंडागांव जिले में भी उन्होंने अपनी टीम के माध्यम से जागरूकता अभियान चलाया.

Karamjit Kaur received  award
करमजीत कौर को मिला अवॉर्ड

'महिलाओं में सहनशक्ति के साथ ही बेहतर प्लानिंग की क्षमता'

करमजीत कौर को शासन से उम्मीद

ETV भारत से बातचीत के दौरान करमजीत कौर ने कहा कि हमे शासन से उम्मीद है. अगर शासन सैनिटरी पैड बनाने की मशीन उनके संस्था को उपलब्ध कराती है. तो वह फ्री में और भी महिलाओं और युवतियों को यह उपबल्ध करा पाएंगी.
ETV भारत की टीम करमजीत कौर की संस्था के एक कार्यक्रम में पहुंची. टीम ने वहां उपस्थित संस्था की अन्य सदस्यों से भी बातचीत की है. इस दौरान सदस्यों ने बताया कि आखिर क्यों इस अभियान की जरूरत पड़ी. इस संस्था के साथ वो कैसे अन्य महिलाओं की मदद कर रहीं हैं. सभी ने अभियान को लेकर काफी अहम बातें ईटीवी भारत से साझा की.

महावारी के दौरान लापरवाही, गंभीर बिमारी को बुलावा: मंजू लुक्कड़

टीम के सदस्य और समाजसेवी मंजू लुक्कड़ ने बताया कि बस्तर में ग्रामीण क्षेत्रों में अशिक्षा की वजह से अधिकतर महिलाएं और किशोर बालिकाएं मासिक धर्म के दौरान कपड़ों का इस्तेमाल करती हैं. जिससे इंफेक्शन के साथ-साथ कैंसर जैसी गंभीर बीमारी का डर बना रहता है. उन्होंने बताया कि जब करमजीत कौर ने अपनी एमएम फ़ाइटर्स संस्था के माध्यम से इन ग्रामीण महिलाओं को जागरूक करने के लिए बीड़ा उठाया. तो वह भी इस संस्था से जुड़कर लगातार ग्रामीण अंचल के लोगों को माहवारी से होने वाली बीमारी के बारे में जानकारी देने के काम में जुट गईं.

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लक्ष्मी कश्यप स्थानीय भाषा में फैला रहीं जागरूकता

इस संस्था में एक ऐसी भी महिला शामिल है जो ग्रामीण अंचलों में स्थानीय भाषा में लोगों को जानकारी पहुंचा रही हैं. लक्ष्मी कश्यप नाम की यह महिला उन्हें नैपकिन के उपयोग के बारे में बताती हैं. लक्ष्मी कश्यप लंबे समय से समाजसेवी के रूप में बस्तर में काम कर रही हैं. हल्बी, गोंडी ,भतरा जैसी स्थनीय बोली की उन्हें अच्छी जानकारी होने की वजह से वह इस संस्था में जुड़कर लगातार ग्रामीण क्षेत्र के महिलाओं को और किशोर बालिकाओं को जागरूक करने का काम कर रही हैं.

संस्था में उन्नति मिश्रा एक शिक्षित युवती हैं. वो अपना पूरा समय देकर ग्रामीण क्षेत्र की किशोर बालिकाओं और युवतियों को बिना झिझक के नैपकिन के उपयोग के लिए जागरूक करने में जुटी हुई हैं.

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करमजीत कौर को मिला अवॉर्ड

बस्तर में नारी शक्ति के लिए बेहतर काम करने वाली करमजीत कौर दिल्ली में आयोजित नेशनल वूमेन एक्सीलेंस अवॉर्ड से सम्मानित भी हो चुकी हैं. इसके अलावा विभिन्न सरकारी और निजी संस्थानों की ओर से भी उन्हें कई बार सम्मानित किया है. बस्तर पुलिस और अन्य संस्थानों के कार्यक्रमों में उन्हें कई बार मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित भी किया जा चुका है. बस्तर की इस पैडवुमन और उनकी पूरी टीम के जज्बे को ETV भारत भी सलाम करता है.

Last Updated :Mar 8, 2021, 4:54 PM IST
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