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रेड-सी संकट से बचने के लिए नए ट्रेड रूट पर काम शुरू, भारत का यह पोर्ट निभाएगा बड़ी भूमिका

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Feb 22, 2024, 1:40 PM IST

Updated : Feb 22, 2024, 2:51 PM IST

India Israel New Trade Route : हूती विद्रोहियों के आक्रमण की वजह से रेड-सी संकट बढ़ता जा रहा है. इससे पूरी दुनिया का व्यापार प्रभावित हुआ है. ऐसे में अपने व्यापारिक हितों को सुरक्षित करने के लिए अलग-अलग देश कदम उठा रहे हैं. भारत और इजराइल ने रेड-सी संकट से बचने के लिए नए ट्रेड रूट की तलाश की है. नए रूट में भारत के मुंद्रा पोर्ट को शामिल किया गया है. मुंद्रा पोर्ट भारत का सबसे बड़ा निजी पोर्ट है. पढ़ें पूरी खबर.

Mundra Port (File Photo)
मुंद्रा पोर्ट (फाइल फोटो)

नई दिल्ली : लाल सागर में हूती का हमला जारी है. हूती विद्रोही व्यापारिक जहाजों को टारगेट कर रहे हैं. उनका कहना है कि इन जहाजों के जरिए इजराइल को फायदा पहुंचाया जा रहा है. इससे अन्य देशों के व्यापार पर काफी असर देखने को मिल रहा है. इजराइल ने इससे निपटने के लिए एक सुझाव दिया है. उसने वैकल्पिक मार्ग को लेकर एक नया प्रस्ताव दिया है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

इजराइली परिवहन मंत्री मिरी रेगेव हाल ही में दिल्ली दौरे पर थीं. उन्होंने व्यापार को मजबूत करने के लिए रेड-सी के विकल्प के तौर पर एक नए मार्ग की घोषणा की. इसमें गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह को भी शामिल किया गया है. रेगेव के अनुसार मुंद्रा पोर्ट से जहाज यूएई के जेबेल अली पोर्ट पर जाएगा. उसके बाद जमीन मार्ग से सऊदी अरब और जॉर्डन के जरिए इजराइल तक माल की सप्लाई हो सकती है.

आपको बता दें कि गुजरात का मुंद्रा पोर्ट भारत का सबसे बड़ा प्राइवेट पोर्ट है. यह कंटेनर और कार्गो शिप का बड़ा हब है.

मुंद्रा पोर्ट के पीआरओ जयदीप शाह ने ईटीवी भारत के साथ टेलीफोनिक बातचीत में बताया कि भारत इजराइल के बीच में नया ट्रेड कॉरिडोर डेवलप किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि नए रुट का जो प्लान है, उस पर वर्क आउट किया जा रहा है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

जयदीप शाह ने बताया कि भारत और इजराइल के बीच संबंधों को और अधिक प्रगाढ़ करने में मुंद्रा पोर्ट की बड़ी भूमिका होगी. उन्होंने कहा कि इस पोर्ट पर प्रतिदिन 40 वेसेल आते हैं, लेकिन इसकी क्षमता और अधिक बढ़नी तय है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

लाल सागर में क्या हो रहा है ?
यमन के हूती विद्रोही लगातार इजराइली सैन्य अभियान से पीड़ित गाजा के साथ एकजुटता दिखाते हुए लाल सागर में इजराइल से जुड़े जहाजों पर हमले कर रहे हैं. इससे वैश्विक व्यापार बाधित हो गया है. पूरी दुनिया के समुद्री व्यापारिक मार्ग का लगभग 12 फीसदी हिस्सा लाल सागर से होकर गुजरता है. लाल सागर स्वेज नहर के माध्यम से हिंद महासागर को भूमध्य सागर से जोड़ता है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

हूती आक्रमण से बचने के लिए व्यापारिक जहाज अफ्रीकी मार्ग का सहारा ले रहे हैं. जहाजों को केप ऑफ गुड होप को पार करना होता है. दूरी बढ़ने की वजह से लागत भी लगातार बढ़ता जा रहा है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक वास्तव में, पिछले सप्ताह हस्ताक्षरित एक नए समझौते के अनुसार नाविकों को अब लाल सागर से गुजरने वाले जहाजों पर यात्रा करने से इनकार करने का अधिकार है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

कैसा है नया रूट
इजराइल लाल सागर को दरकिनार कर व्यापार करने के तरीकों की तलाश कर रहा है. इजराइल के परिवहन मंत्री रेगेव ने एक्स पर एक वीडियो पोस्ट किया, जिसमें वह मुंद्रा बंदरगाह पर खड़ी हैं और नए मार्ग के बारे में बता रही हैं. इसके तहत, माल मुंद्रा से संयुक्त अरब अमीरात के बंदरगाहों, जैसे दुबई के जेबेल अली बंदरगाह, तक समुद्र के रास्ते जाता है, और फिर सऊदी अरब और जॉर्डन के माध्यम से जमीन के रास्ते इजराइल तक जाता है. भूमि परिवहन का एक बड़ा हिस्सा ट्रकों पर किया जाएगा. इजरायली और अरब मीडिया की रिपोर्टों के अनुसार, इन ट्रकों को दो शिपिंग कंपनियों, इजरायल की ट्रकनेट और यूएई की प्योरट्रांस द्वारा संचालित किया जाएगा.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

अब बात करते है गुजरात के मुंद्रा पोर्ट के बारे में
इजराइल के परिवहन मंत्री रेगेव ने एक वीडियो जारी करते हुए कहा, 'गुजरात का मुंद्रा पोर्ट भारत का सबसे बड़ा बंदरगाह है. यहां से निकलने वाले कंटेनर संयुक्त अरब अमीरात को निर्यात किए जाते हैं, और संयुक्त अरब अमीरात से जमीन के रास्ते इजराइल को निर्यात किए जाते हैं. युद्ध ने हमारे सामने चुनौतियां खड़ी कर दीं हैं, सबसे बड़ी चुनौती यह थी कि हम इजराइल में सामान कैसे लाएं, क्योंकि इजराइल एक तटीय राज्य है और अधिकांश सामान समुद्र के रास्ते आते हैं. पर, अब कार्गो मुंद्रा से समुद्र के रास्ते बंदरगाहों तक जाएगा. और फिर हम इसे सऊदी अरब और जॉर्डन से होते हुए इजराइल तक सामान ले जाएंगे.'

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

रेगेव ने कहा कि भारत इस रूट का इस्तेमाल मध्य पूर्व यूरोप आर्थिक गलियारे (आईएमईसी) के लिए भी कर सकता है. इस महत्वाकांक्षी परियोजना का लक्ष्य भारत को मध्य पूर्व के रास्ते यूरोप से जोड़ना है. लेकिन इसका अंतिम स्वरूप अभी तय नहीं हुआ है और गाजा युद्ध के कारण इसकी प्रगति में बाधा उत्पन्न हुई है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

नए रूट से क्या होंगे फायदे
बता दें कि इस रास्ते के बारे में अचानक नहीं सोचा गया है, बल्कि पिछले कुछ समय से इस पर काम चल रहा था. लंदन स्थित अरब समाचार आउटलेट अल-अरबी अल-जदीद में कहा गया है कि लैंड गलियारा पहली बार अब्राहम समझौते के समय प्रस्तावित किया गया था.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

क्या होगी लागत
लैंड मार्ग से इजराइल के लिए यात्रा के समय और लागत में काफी कमी आएगी. परिवहन शुल्क और कर्तव्यों के मामले में सऊदी अरब और जॉर्डन के लिए रेवेन्यू उत्पन्न होगा. हालांकि, ट्रक एक जहाज की तुलना में बहुत कम माल ले जा सकते हैं, और उस सीमा तक, व्यापार सीमित होगा. साथ ही, मध्य पूर्व में तेजी से उतार-चढ़ाव वाली स्थिति में, यह मार्ग इजराइल पर दोनों देशों के साथ मैत्रीपूर्ण संबंध बनाए रखने पर निर्भर करता है.

Mundra Port (Adani Ports)
मुंद्रा पोर्ट (अडाणीपोर्ट्स)

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Last Updated :Feb 22, 2024, 2:51 PM IST
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