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DGP conference : पीएम नरेंद्र मोदी ने हाई-पावर पुलिस प्रोद्योगिकी मिशन के गठन पर दिया जोर

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Published : Nov 21, 2021, 8:12 PM IST

राजधानी लखनऊ में आयोजित डीजीपी कॉन्फ्रेंस (dgp conference) का पीएम मोदी ने समापन किया. जेल सुधार, आतंकवाद, वामपंथी उग्रवाद, साइबर अपराध, नारकोटिक्स ट्रैफिकिंग, NGO की विदेशी फंडिंग पर चर्चा की गई.

DGP conference
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लखनऊ : राजधानी लखनऊ में आयोजित 56वें डीजीपी कॉन्फ्रेंस (dgp conference) का रविवार को तीसरा व अंतिम दिन था. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 21 नवंबर को इस तीन दिवसीय डीजीपी कॉन्फ्रेंस समापन किया. इस डीजीपी कॉन्फ्रेंस (dgp conference) में विभिन्न राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों तथा CAPF/CPOs के 62 महानिदेशक व महानिरीक्षक शामिल हुए. इसके अलावा विभिन्न वरिष्ठता के 400 से अधिक अधिकारियों ने देश भर में मौजूद इंटेलिजेंस ब्यूरो कार्यालयों से वर्चुअल तौर पर इसमें भाग लिया.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कई सुझाव दिए. कॉन्फ्रेंस में जेल सुधार, आतंकवाद, वामपंथी उग्रवाद, साइबर अपराध, नारकोटिक्स ट्रैफिकिंग, NGOs की विदेशी फंडिंग, ड्रोन संबंधी मुद्दे, सीमावर्ती गांवों का विकास इत्यादि जैसे राष्ट्रीय सुरक्षा से संबंधित महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा हुई. साथ ही पहलुओं पर चर्चा के लिए पुलिस महानिदेशकों के अनेक कोर ग्रुप गठित किए गए थे. जिनपर कई सुझाव भी आये. प्रधानमंत्री मोदी ने समापन संबोधन में सभी पुलिस वालों से संबंधित घटनाओं के विश्लेषण तथा सीखने की इस प्रक्रिया को संस्थागत करने पर बल दिया. उन्होंने कॉन्फ्रेंस को हाइब्रिड प्रारूप में करवाने की भरपूर प्रशंसा की और कहा कि इससे विभिन्न स्तर के अधिकारियों के बीच सूचनाओं का प्रवाह सुगम हुआ है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कई सुझाव दिए

'गृह मंत्री अमित शाह के नेतृत्व में एक High Power पुलिस टेक्नोलॉजी मिशन गठित हो'

पीएम मोदी ने देशभर की पुलिस फोर्स के लाभ के लिए inter operable तकनीकों के विकास पर जोर दिया. साथ ही उन्होंने गृह मंत्री अमित शाह के नेतृत्व में एक High Power पुलिस टेक्नोलॉजी मिशन गठित करने के लिए कहा. जिससे भविष्य की तकनीकों को जमीनी स्तर की पुलिस आवश्यकताओं के अनुरूप ढाला जा सके. सामान्य लोगों के जीवन में तकनीक के महत्व को रेखांकित करने के लिए प्रधानमंत्री ने Cowin, GeM और UPI के उदाहरण दिए.

इसके साथ ही पीएम ने कोविड महामारी के बाद पुलिस के व्यवहार में जनता के प्रति आए सकारात्मक बदलाव की प्रशंसा की. पीएम ने कहा कि ड्रोन तकनीक का उपयोग लोगों के लाभ के लिए किया जाना चाहिए. उन्होंने 2014 में लागू किए गए SMART पुलिसिंग की नियमित समीक्षा के लिए कहा, और उसमें लगातार बदलाव लाने और उसे संस्थागत करने पर बल दिया. पुलिस की रोजमर्रा की समस्या के समाधान के लिए उन्होंने उच्च तकनीकी शिक्षा प्राप्त युवाओं को जोड़ने के लिए कहा, ताकि hackathon के माध्यम से तकनीकी समाधान ढूंढे जा सकें.

प्रधानमंत्री मोदी ने इंटेलिजेंस ब्यूरो के कर्मियों को विशिष्ट सेवा के लिए राष्ट्रपति पुलिस पदक प्रदान किए. पहली बार प्रधानमंत्री के निर्देश पर अनेक राज्यों के IPS अधिकारियों ने सम-सामयिक सुरक्षा मुद्दों पर अपने लेख प्रस्तुत किए, जिससे इस सम्मेलन का महत्व और बढ़ गया. इससे पूर्व 19 नवंबर को गृह मंत्री ने इस कॉन्फ्रेंस का उद्घाटन किया था और देश के तीन सर्वश्रेष्ठ पुलिस थानों को ट्रॉफी देकर सम्मानित किया था. गृह मंत्री शाह सभी बैठकों में शामिल रहे और उन्होंने भी देश की सुरक्षा से सम्बंधित कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की और अपना बहुमूल्य सुझाव और मार्गदर्शन दिया.


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