ETV Bharat / state

मसूरी विंटर लाइन कार्निवल में सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने बांधा समा, जमकर थिरके पर्यटक

author img

By

Published : Dec 28, 2019, 11:43 PM IST

मसूरी विंटर लाइन कार्निवल में पारंपरिक वाद्य यंत्रों की थाप और धुनों पर पांडव नृत्य, युद्ध की सदियों पुरानी विधाओं जैसे चक्रव्यू, कमल व्यू, गरुड़ व्यू, मकर व्यू, शास्त्रीय संगीत आदि को प्रदर्शित किया गया.

mussoorie winter line carnival
मसूरी विंटर लाइन कार्निवल

मसूरीः विंटर लाइन कार्निवल में शहीद स्थल पर आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम में लोक गायकों, कलाकारों समेत बॉलीवुड के कलाकारों ने शानदार प्रस्तुतियां दी. इस दौरान पारंपरिक वाद्य यंत्रों की थाप और धुनों पर पांडव नृत्य, युद्ध की सदियों पुरानी विधाओं जैसे चक्रव्यू, कमल व्यू, गरुड़ व्यू, मकर व्यू, शास्त्रीय संगीत आदि को प्रदर्शित किया गया. वहीं, इस कार्यक्रम में गढ़वाली, जौनसारी, जौनपुरी, बॉलीवुड गीतों का पर्यटकों ने भी जमकर आंनद लिया.

मसूरी विंटर लाइन कार्निवल में सांस्कृतिक कार्यक्रमों में बंधा समा.

कार्निवल में जौनपुर से आये छोटे कलाकारों की ओर से देवी-देवता की डोली पर आधारित नृत्य प्रस्तुत किया. जिसने दर्शकों की खूब तालियां बटोरी. जबकि, लोक गायिका रेशमा शाह के गीतों ने दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया. वहीं, गढ़वाल टैरेस पर संगीत प्रेमियों ने बॉलीवुड के गीतों पर अपनी आवाज का जादू बिखेरा. जिसमें प्रत्युल जोशी ने अपने बैंड के साथ प्रस्तुति दी.

mussoorie winter line carnival
मसूरी विंटर लाइन कार्निवल में पांडव नृत्य.

ये भी पढ़ेंः प्रसूता को कंधों में लादकर पहुंचाया गांव, सरकार के दावों की खुली पोल

लोक कलाकार राजेंद्र रावत और संदीप राणा ने बताया कि प्रदेश की संस्कृति को छोटे बच्चों से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है. जिससे बच्चे अपनी सांस्कृतिक विरासत से रूबरू हो सके और इसका प्रचार-प्रसार भी कर सकें. वहीं, मशहूर सितार वादक सूर्यमणि अग्नि वर्मा ने कहा कि बनारस की तरह ही यहां के लोगों में शास्त्रीय संगीत को लेकर जागरूकता देखने को मिल रही है. जो शास्त्रीय संगीत में रुचि रखने वालों के लिए अच्छे संकेत हैं.

Intro:summary

मसूरी विंटर कार्निवल में शहीद स्थल पर पांडव नृत्य प्रस्तुत किया जिसने सभी मौजूद श्रोताओं के मन को मोह लिया पांडव नृत्य के आयोजन में पांडव आवेश में पारंपरिक वाघ यंत्रों की थाप और धुनों पर नाचते हुए पांडव नृत्य में युद्ध की सदियों पुरानी विधाओं जैसे चक्रव्यू कमल व्यू गरुड़ व्यू मकर व्यू आदि को प्रदर्शित किया जिससे माहौल भक्तिमय हो गया इस मौके पर कलाकार राजेंद्र रावत ने बताया कि उत्तराखंड को पांडवों की धरती भी कहा जाता है मान्यता है कि पांडव यहीं से स्वर्ग रोहिणी के लिए गए थे इस कारण उत्तराखंड में पांडव पूजन की विशेष परंपरा है बताया जाता है कि स्वर्ग जाते समय पांडव अलकनंदा मंदाकिनी नदी किनारे से होकर स्वर्ग होने तक गए जहां से पांडव गुजरे उन स्थानों पर विशेष रूप से पांडव लीला आयोजित होती है प्रत्येक वर्ष नवंबर से लेकर फरवरी तक केदारघाटी में पांडव नृत्य का आयोजन होता है वहीं दूसरी ओर जौनपुर से आए छोटे कलाकारों द्वारा भी देवी देवता की डोली पर आधारित नृत्य प्रस्तुत किया गया जिसमें सभी के मन को मोह लिया वहां छोटे कलाकारों ने जमकर दर्शकों की तालियां बटोरी संदीप राणा ने बताया कि प्रदेश की संस्कृति को छोटे बच्चों से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है जिससे बच्चे अपनी संस्कृति और वेशभूषा से अवगत हो सके और इसका प्रचार-प्रसार कर सकें


Body:मसूरी विंटर कार्निवल के दौरान शहीद स्थल पर आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रमों का दर्शकों ने जमकर आनंद लिया कार्यक्रम में उत्तराखंड से आए लोक गायक के गाने पर दर्शकों को नाचने पर मजबूर कर दिया लोक गायक रेशमा शाह की प्रस्तुति नए गढ़वाली गाने गाकर दर्शकों को झूमने पर मजबूर कर दिया लोक कलाकारों के गढ़वाली जौनसारी जौनपुरी आदि गीतों नेपाली लोक सहित पर्यटकों ने भी लुफ्त उठाया वही गढ़वाल टैरेस पर संगीत प्रेमियों ने बॉलीवुड फिल्में के गीतों पर अपनी आवाज का जादूगर वही मसूरी माल रोड पर गढ़ भोज समय पार्टी जैविक उत्पादन अधिक स्टाल लगाए गए वहीं देर शाम को विंटर लाइन कार्निवल मैं गढ़वाल टैरेस पर बॉलीवुड में अपनी आवाज का जलवा बिखेरने वाले उत्तराखंड के प्रत्युल जोशी ने अपने बैंड के साथ प्रस्तुति दी जिसने मौजूद पर्यटकों और स्थानीय लोगों ने जमकर आनंद लिया पप्रत्युल जोशी ने अपनी विभिन्न गाने सुना कर दर्शकों के बीच समा बांधा प्रत्युल जोशी ने कहा कि मसूरी में आकर उनको काफी अच्छा लगता है और मसूरी में देश विदेशी पर्यटकों और स्थानीय लोगों के सामने परफॉर्मेंस कर अलग ही आनंद आता है मशहूर सितार वादक सूर्यमणि अग्नि वर्मा ने शास्त्रीय संगीत और से सभी को मंत्र मुक्त कर दिया वही शास्त्रीय संगीत के प्रेमियों ने करने वाला आयोजक समिति की सराहना करते हुए कहा कि जहां कार्निवल में बॉलीवुड के साथ रेप संगीत का आनंद लेने को मिला वही शास्त्रीय संगीत सुनकर उनको बड़ा आनंद आया वही सूर्यमणि अग्नि वर्मा ने बताया कि उनके द्वारा प्रस्तुत शास्त्रीय संगीत से लोगों के मिल रहे सहानुभूति को देखकर वह बेहद खुश हैं अब उन्हें यह लगने लगा है कि बनारस की तरह ही यहां के लोगों में शास्त्रीय संगीत को लेकर जागरूकता देखने को मिल रही है जो शास्त्रीय संगीत में रुचि रखने वाले प्रेमियों के लिए अच्छे संकेत हैं


Conclusion:
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.