जयपुर. ब्रेक के बाद शुरू हुए बजट सत्र में भाजपा प्रदेश सरकार को घेरने की रणनीति पर काम कर रही है. इसके साथ ही नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया के जाने के बाद खाली पड़े पद पर किस कैंडिडेट को स्थापित किया जाए इस पर मंथन हो रहा है. हालांकि दिल्ली आलाकमान की ओर से जब तक कोई संदेश नहीं मिल जाता , तब तक नेता प्रतिपक्ष का चुनाव संभव नहीं है. ऐसे में बिना नेता प्रतिपक्ष के ही एक बार फिर विपक्ष सदन में सरकार को घेरेगी. बताया जा रहा है कि उप नेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ को इसकी जिम्मेदारी दी गई है.
सदन से सड़क तक- बता दें कि पेपर लीक , महिला सुरक्षा सहित कई मुद्दों को लेकर सदन की कार्रवाई हंगामेदार होने के आसार है. विपक्ष की रणनीति है कि न केवल सदन में बल्कि सड़क पर भी सरकार को घेरा जाए. बीजेपी युवा मोर्चा की ओर से 4 मार्च को विधानसभा घेराव कभी ऐलान किया हुआ है. हाल ही में थर्ड ग्रेड शिक्षक भर्ती परीक्षा में पेपर लीक होने का आरोप बीजेपी की ओर से लगातार लगता रहा है, ऐसे में इसी मुद्दे को लेकर सदन में भी विपक्ष की ओर से सवाल खड़े किए जाएंगे.
बिना नेता प्रतिपक्ष के विपक्ष होगा आक्रामक- गुलाबचंद कटारिया के असम का राज्यपाल बनने के बाद से ही यह पद खाली पड़ा है, पार्टी में आपसी सहमति नही बनने से अभी तक भाजपा नेता प्रतिपक्ष का नाम तय नहीं कर पाई है. मंगलवार को यह बैठक बिना नेता प्रतिपक्ष के ही हो रही है. हालांकि उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौड़ को सदन में विपक्ष की ओर से कार्रवाई को देखने को जिम्मेदारी दी हुई है. विधानसभा में बजट अनुदान मांगों पर चर्चा होनी है. बजट सत्र 15 मार्च तक चल सकता है.
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