ETV Bharat / state

हर स्कूल में होगा क्वारंटाइन रूम, जानें स्कूलों के लिए क्या हैं गाइडलाइंस

author img

By

Published : Aug 28, 2021, 2:22 PM IST

Sanitization will be compulsory
सैनिटाइजेशन होगा कम्पलसरी

एक्सपर्ट कमेटी के सुझाव के बाद दिल्ली सरकार ने 1 सितंबर से स्कूलों को खोले की इजाजत दे दी है. शुरुआत में 9वीं कक्षा से ऊपर के विद्यार्थियों के लिए ही स्कूल खोले जा रहे हैं. हालांकि इसमें भी साफ किया गया है कि कोरोना के मद्देनजर बच्चों और शिक्षकों को गाइडलाइंस का पालन करना होगा.

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार ने 1 सितंबर से स्कूल खोलने के इजाजत तो दे दी है, लेकिन स्कूलों को सरकार द्वारा जारी नई गाइडलाइंस का पालन करना होगा. सरकार के नई गाइडलाइंस के तहत हर स्कूल में क्वारंटाइन रूम बनाने की बात कही गई है तो वहीं यह भी बताया गया है कि स्कूल में बच्चों के लिए सैनिटाइजेशन कंपलसरी होगा.

स्कूल खोलेने से जाने से पहले स्कूल प्रमुखों को तैयारी करने के लिए कहा गया है. इसमें एसएमसी मेंबर्स के साथ मीटिंग, कोविड प्रोटोकॉल प्लान और थर्मल स्कैनर, साबुन और सैनिटाइजर आदि का इंतजाम कर लेने के लिए कहा गया है. प्रमुखों को इस बात की जिम्मेदारी भी दी गई है कि उनके साथ में सभी लोग वैक्सीनेटेड हैं. यदि नहीं हैं तो इसे प्रमुखता देनी होगी.

ये भी पढ़ें: दिल्ली में 1 सितंबर से खुलेंगे स्कूल, कोचिंग सेंटर और कॉलेज

दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के मुताबिक, दिल्ली के स्कूलों में 98 फीसदी तक स्टाफ को कोरोना की पहली डोज़ लग चुकी है. जिन्हें नहीं लगी है उनके लिए भी जोर दिया जा रहा है. वहीं नए SOPs में क्लास रूम की क्षमता से 50 फीसदी तक बच्चों के बैठने का इंतजाम कर लेने की सलाह दी गई है. इसका मुख्य मकसद बच्चों में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराना है. अलग-अलग वक्त पर बच्चों की भीड़ ना हो इसके लिए स्कूल प्रमुखों को इंतजाम कर लेने के लिए कहा गया है.

नई गाइडलाइंस में कहा गया है कि बच्चों को अपना खाना, किताबें और अन्य स्टेशनरी आइटम एक-दूसरे से साझा नहीं करने की सलाह दें. इससे अलग स्कूल प्रमुख यह सुनिश्चित करें कि स्कूल के कॉमन एरिया की साफ-सफाई नियमित तौर पर हो रही है. शौचालयों में साबुन और पानी का इंतजाम है. साथ ही स्कूल परिसर में थर्मल स्कैनर, सैनिटाइजर और मास्क आदि की उपलब्धता है.

ये भी पढ़ें: दिल्ली के अस्पतालों में अगले 6 महीने में होंगे 6800 अतिरिक्त बेड, एक क्लिक में मिलेगी सारी जानकारी

मौजूदा समय में सरकारी स्कूलों को वैक्सीनेशन सेंटर की तरह इस्तेमाल किया जा रहा है. आने वाले दिनों में जब स्कूलों को बच्चों के लिए खोला जाएगा तब वैक्सीनेशन वाले हिस्से को स्कूल के दूसरे हिस्सों से अलग रखने के लिए कहा गया है. इसके लिए सिविल डिफेंस स्टाफ को तैनात किया जाएगा.

बच्चों के स्वास्थ्य और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए एंट्री गेट पर स्टाफ को तैनात किया जाएगा जो यह सुनिश्चित करेंगे कि ऐसा कोई भी बच्चा स्कूल में प्रवेश नहीं कर रहा है जिसको कोरोना संबंधित लक्षण हैं. एंट्री गेट पर थर्मल स्कैनर अनिवार्य होगी. बच्चों के साथ-साथ स्टाफ के लिए भी मास्क जरूरी होगा. इससे अलग एंट्री गेट पर ही बच्चों के हाथ सैनिटाइज कराए जाएंगे.

ये भी पढ़ें: covid-19: जन्माष्टमी के दिन बंद रहेंगे देशभर के इस्कान मंदिर

बच्चों को स्कूल बुलाने के लिए माता-पिता की मंजूरी ज़रूरी है. कोई अभिभावक यदि अपने बच्चे को स्कूल भेजना नहीं चाहता है तो इसके लिए उसे बाध्य नहीं किया जाएगा. इससे अलग स्कूल परिसर में एक क्वारंटाइन रूम बनाना अनिवार्य है, जहां जरूरत पड़ने पर किसी भी बच्चे या स्टाफ को रखा जा सकता है. स्कूल परिसर में बच्चों की जागरूकता के लिए पोस्टर और स्टैंड आदि लगाए जाएंगे जिससे बच्चों को कोरोना संबंधित नियमों और शर्तों की जानकारी हो.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.