नई दिल्ली: कोरोना महामारी और लॉकडाउन से सबसे ज्यादा छोटा दुकानदार और मजदूर वर्ग प्रभावित हुआ है. अनलॉक-2 में भी लोगों के कारोबार की हालत खराब है. बात करें बावर्चियों की तो कोरोना महामारी ने उनके चूल्हे ठंडे कर दिए हैं. कोरोना के कारण सरकार ने शादी सहित अन्य समारोह के दायरे को सीमित कर दिया है. इसका सीधा असर बावर्चियों के कारोबार पर पड़ा है.
बावर्चियों का कहना है कि कोरोना महामारी के चलते कारोबार पूरी तरह से ठप हो गया है. हालत यह है कि गुजर-बसर बड़ी मुश्किल से हो रही है. सरकार से मांग है कि वो बावर्चियों को राहत देने के लिए कोई कदम उठाए.
बाड़ा हिंदू राव स्थित अलखातिर बावर्ची के अब्दुल मतीन सिद्दीकी ने बताया कि हम लोग शादियों में खाने बनाते आ रहे हैं. हमारे बाप, दादा भी इसी पेशे से जुड़े थे, लेकिन लॉकडाउन के बाद से कारोबार ठंडा पड़ा है.
'हमारे लिए भी कुछ करे सरकार'
उनका कहना है कि हालत यह है कि लेबर को देने के लिए पैसे नहीं हैं. मेरी सरकार से मांग है कि वो हमारी हालत की देखते हुए कुछ कदम उठाए ताकि इस पेशे से जुड़े लोगों को राहत मिले.
एक और बावर्ची मोहसिन सिद्दीकी ने कहा कि तीन-चार महीने से काम नहीं है. इस कारण घर खर्च चलना भी मुश्किल हो रहा है. उन्होंने कहा कि शादी के ऑर्डर से हमारा कारोबार चलता था, लेकिन अब शादियां भी बहुत कम हो रही हैं या सीमित लोगों के साथ. मजबूरन हमें स्टाफ के भी बिठाकर खिलाना पड़ रहा है. सरकार हमारे लिए कुछ करे.