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हिस्ट्रीशीटर के हत्या मामले में कई खुलासे, शक की सुई मृतक के भाई पर

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Published : Dec 15, 2022, 11:04 PM IST

Updated : Dec 16, 2022, 6:22 AM IST

बिलासपुर में बुधवार को हिस्ट्रीशीटर संजीव त्रिपाठी की गोली मारकर हत्या (murder case of history sheeter in bilaspur) कर दी गई थी. इस मामले में अब परत दर परत कई खुलासे हो रहे हैं. पुलिस की शक की सुई उसके भाई कपिल त्रिपाठी की तरफ मुड़ गई है. पिता के मोबाइल पर मिले ऑडियो से रता चला है कि भाई ने ही हत्या के वारदात को अंजाम देने की साजिश रची थी. उसके फार्महाउस पर कुछ दिनों से अज्ञात लोगों के रहने की जानकारी भी सामने आ रही है. जिससे पुलिस को शक है कि वारदात को अंजाम देने वाले शार्प शूटर को यही रखा गया होगा.

murder case of history sheeter in bilaspur
हिस्ट्रीशीटर के हत्या मामले में कई खुलासे

बिलासपुर: सकरी थाना क्षेत्र में हुए गोलीकांड के मामले में जल्द ही पुलिस हत्याकांड की गुत्थी सुलझा लेगी. अब तक इसे अंधा कत्ल माना जा रहा था, लेकिन पुलिस को गुरुवार को मिले कुछ साक्ष्य उसके भाई की तरफ इशारा कर रहे हैं कि वही हत्या करा सकता है. दोनों भाइयों में दुश्मनी थी और यह दुश्मनी संजू की हत्या तक पहुंच गया. पूरे मामले को लेकर पुलिस एहतियात के तौर पर कई जानकारियां छिपा (murder case of history sheeter in bilaspur) रही है. माना जा रहा है कि कपिल त्रिपाठी का लोकेशन ट्रेस कर पुलिस जल्द ही उसे गिरफ्तार कर सकती है. bilaspur latest news

हिस्ट्रीशीटर की क्या है हिस्ट्री: संजू त्रिपाठी शहर में आतंक का पर्याय बन गया था. उसने 16 साल की उम्र में 1992 में पहला क्राइम किया था, तब वह नाबालिग था. फिर यहां से उसकी अपराधिक जिंदगी का सफर शुरू हुआ. कपिल लगातार लोगों से पैसे मांगना, रंगदारी वसूली, ब्याज में पैसे चलाना, सट्टा जैसे कार्यों को अंजाम देकर पैसा कमा रहा था. कुछ समय से संजू जमीन के काम में भी उतर गया और गैरकानूनी ढंग से पैसा कमाने लगा.

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दर्जनों मामले में अपराधी था हिस्ट्रीशीटर: संजू त्रिपाठी के खिलाफ बिलासपुर और आसपास के जिलों में लगभग 27 से भी ज्यादा अपराधिक मामलों में उसका नाम है. संजू त्रिपाठी को साल 2021 में जिला बदर भी किया गया था. जिला बदर के बाद वापस आकर वह दुगुना तेजी से क्राइम को अंजाम देने लगा था. सैकड़ों ऐसे मामले हैं जिन पर एफआईआर भी दर्ज नहीं की गई है. क्योंकि जिनके साथ घटना या दूसरी चीजों को अंजाम देता था, वह उसके भय और आतंक से डरते थे और थाने की दहलीज तक नहीं जाते थे.

Last Updated :Dec 16, 2022, 6:22 AM IST
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