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गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पर ध्यान दें शिक्षक, शिक्षक ही समाज में करा सकते हैं परिवर्तन: कुलाधिपति

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Published : Dec 15, 2022, 10:00 PM IST

पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय
पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय

पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय का पहला दीक्षांत समारोह सोमवार को हुआ.समारोह के दौरान नियमित कोर्स के सत्र 2018-20 और 2019-21 के छात्र-छात्राओं को उपाधि दी गई. समारोह में कुलाधिपति सह राज्यपाल फागू चौहान सहित कई अतिथि मौके पर मौजूद थे.

पटना: दीक्षांत समारोह के बाद छात्र जीवन का नया अध्याय शुरू करने जा रहे हैं. छात्र देश और समाज की सेवा करें और अपने लक्ष्य में सफलता अर्जित करें. शिक्षक ही समाज में परिवर्तन करा सकते है, ऐसे में शिक्षकों को छात्र-छात्राओं के गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. ये बातें कुलाधिपति सह राज्यपाल फागू चौहान (Governor Fagu Chauhan) ने गुरुवार को पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय के पहले दीक्षांत समारोह के दौरान समारोह को संबोधित करते हुए कहा.

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"पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय स्थापना के बाद से आगे बढ़ रहा है. विश्वविद्यालय के 26 अंगीभूत महाविद्यालय में नैक से दो को ए ग्रेड तथा 23 को बी ग्रेड मिला है. अब विश्वविद्यालय सत्र को भी पटरी पर ला रही है."-फागू चौहान, कुलाधिपति सह राज्यपाल फागू चौहान

"बिहार ज्ञान और अहिंसा की भूमि रही है. अहिंसा का संचार बिहार से हुआ है. बिहार ने दुनिया को गणित का ज्ञान दिया. बिहार की धरती का विलक्षण गुण रहे हैं. हमारी संस्कृति में गुरु का स्थान गोविंद से ऊपर है. भारत की ताकत को बढ़ाना है तो शिक्षा को बढ़ावा दें."-प्रो.चंद्रशेखर, शिक्षा मंत्री

First Convocation of Patliputra University
सम्मानित हुए छात्र.


"दीक्षा समारोह महत्वपूर्ण है. पहले गुरुकुल में इंजीनियरिंग, राजनीतिशास्त्र, मेडिकल आदि की पढ़ाई होती थी. नई शिक्षा नीति में पुरानी परंपरा को ही शामिल किया गया है."- प्रो. केके अग्रवाल, नेशनल बोर्ड आफ एक्रिडेशन के पूर्व चेयरमैन

शिक्षकों ने टेक्नोलॉजी का प्रयोग कर शिक्षा को बचायाःदीक्षांत भाषण देते हुए नेशनल बोर्ड आफ एक्रिडेशन के पूर्व चेयरमैन प्रो. केके अग्रवाल ने कहा कि कोरोना काल में हमने दो वर्ष साल मुश्किल से गुजारा, इस परिस्थिति में भी शिक्षकों ने टेक्नोलॉजी का प्रयोग कर शिक्षा को बचाया है. पीपीयू में 2018 से 2022 के बीच दो सत्रों में स्नातक के एक लाख चार हजार छह सौ 70 विद्यार्थी उत्तीर्ण हुए है. स्थापना के चार वर्षों में ही संस्थान के अधीन 26 अंगीभूत, 58 बीएड कालेज, 51 संबद्ध महाविद्यालय, तीन लॉ कालेज, तीन अल्पसंख्यक महाविद्यालय में बच्चों को शिक्षा मिल रही है.


नामांकन से रिजल्ट तक सभी कार्य ऑनलाइनः विवि के कुलपति प्रोफेसर आरके सिंह ने कहा कि पीजी 2018-20, 2019-21 के विद्यार्थियों को उपाधि दी जा रही है. सत्र 2020-22 के पीजी के विद्यार्थी पास हो जाएंगे. इसके बाद स्नातक एवं पीजी का सभी सत्र नियमित हो जाएंगे. विवि अब पूरी तरह आनलाइन हो चुका है. नामांकन से लेकर परिणाम तक के सभी कार्य ऑनलाइन ही हो रहे हैं. विवि में 669 विद्यार्थी शोध कर रहे है. खेल गतिविधियों में भी विवि आगे है. कई नेशनल व इंटरनेशनल अवार्ड विवि को प्राप्त हो चुका है.



दो सत्रों के 49 छात्र-छात्राओं के मिला गोल्डः नियमित कोर्स के सत्र 2018-20 में 20 तथा 2019-21 में 22 टॉपर छात्र-छात्रा हैं. कुलपति प्रो. आरके सिंह ने बताया कि सत्र 2018-2020 में नियमित कोर्स के 21, सत्र 2019-21 में 22 एवं दोनों सत्रों में व्यावसायिक कोर्स के छह छात्र-छात्राओं को गोल्ड मेडल दिया गया. दीक्षांत समारोह में पीजी के दो सत्र के नियमित कोर्स के 3895 तथा व्यावसायिक कोर्स के 321 एवं स्नातक के नियमित कोर्स में दोनों सत्र के एक लाख चार हजार 670 एवं व्यावसायिक कोर्स के 4088 छात्र-छात्राओं को राज्यपाल सह कुलाधिपति ने उपाधि दी.

सत्र 2018 -20 के गोल्ड मेडलिस्टः 2018 -20 सत्र के गोल्ड मेडलिस्ट छात्रों में वनस्पति शास्त्र स्वाति प्रिया, रसायनशास्त्र रेहांश रंजन, अर्थशास्त्र रश्मि कुमारी, अंग्रेजी विदिशा कौशिक, पर्यावरण विज्ञान तनुजा झा, हिंदी भारती कुमारी, इतिहास अजय कुमार, श्रम एवं समाज कल्याण जूही अग्रवाल, संगीत संगीता कुमारी, भौतिकी रोहन कुमार, लोक प्रशासन कोमल सिंह, समाजशास्त्र रश्मि कुमारी, उर्दू रूखसार आफ़रीन, जंतु विज्ञान कीर्ति कुमारी, गणित कुंदन कुमार, भूगोल संजीव कुमार रेड्डी, एम. काॅम रिया चौधरी, मनोविज्ञान अतुल कुमार द्विवेदी, गृह विज्ञान सरस्वती कुमारी, राजनीति शास्त्र अरुण कुमार साह, दर्शनशास्त्र लाल बिहारी यादव, एमबीए सद्भावना तथा एमएड से तमन्ना हैं.

सत्र 2019 -21 के गोल्ड मेडलिस्टः जबकि 2019-2021 सत्र में गोल्ड मेडलिस्ट छात्रों में वनस्पति विज्ञान सिमरन, रसायनशास्त्र मो. जाहीद हुसैन, अर्थशास्त्र अपराजिता स्वर्ण, इलेक्ट्रॉनिक फैसल हसन, अंग्रेजी अंकिता राज, पर्यावरण विज्ञान पल्लवी कुमारी, भूगोल शुभम कुमार, हिंदी पूजा ज्योति, इतिहास विशाल राज़, गृह विज्ञान सोनम कुमारी, श्रम एवं कल्याण विभाग प्रियांश कुमार सविता, गणित राकेश कुमार, एम काॅम स्वीकृति कुमारी, संगीत रिचा कुमारी, भौतिकी रिषव राज, राजनीति शास्त्र सोनम कुमारी, मनोविज्ञान गौरव कुमार, लोक प्रशासन मंटू कुमार, संस्कृत राकेश रौशन, समाजशास्त्र तन्वी ज्योत, उर्दू मो. शब्बीर अनवर, जंतु विज्ञान रौशनी परवीन, एम लिस काजल कुमारी, एम लिब सदभावना, एम लिब अशिपा, एमबीए रिम्मी कुमारी तथा एमएससी बायो टेक्नोलॉजी से शालू वर्मा हैं.

विश्वविद्यालय के कई पदाधिकारी थे मौके पर मौजूदः समारोह का संचालन कुलसचिव डॉ. जितेंद्र कुमार ने, जबकि धन्यवाद ज्ञापन प्रति कुलपति प्रो. गणेश कुमार महतो ने दिया. समारोह में सिंडिकेट सदस्य एमएलसी प्रो. राजेंद्र गुप्ता, छात्र कल्याण संकाय डीन प्रो. एके नाग, सोशल साइंस डीन प्रो. राम किशोर सिंह, प्रो. रिमझिम शील, प्रो. नमिता कुमारी, प्राचार्य प्रो. एसपी शाही, प्रो. इंद्रजीत कुमार आदि भी थे.

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