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बिहार विधानसभा उपचुनाव 2022: छोटी पार्टियों का दो-दो हाथ नहीं करना भविष्य की सियासत!

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Published : Oct 12, 2022, 9:02 PM IST

बिहार उपचुनाव 2022
बिहार उपचुनाव 2022

बिहार उपचुनाव 2022 (Bihar By Election 2022) की तैयारी में सभी पार्टियां जुट गई है. गोपालगंज और मोकामा दो सीटों पर उपचुनाव होने वाले हैं. बीजेपी और महागठबंधन की और से दोनों सीटों पर प्रत्याशियों के नाम की घोषणा कर दी गई है. लेकिन छोटे दलों को प्रत्याशियों को ढूंढने में पसीने छूट रहे हैं. पढ़ें पूरी खबर...

पटना: 2024 लोकसभा चुनाव (2024 Lok Sabha Elections) से पहले बिहार में 2 सीटों के लिए उपचुनाव (Bihar Assembly By Election 2022) हो रहे हैं. उपचुनाव में छोटे दलों के समक्ष बड़ी चुनौती है. छोटे दल दावे तो लंबे-चौड़े कर रहे हैं लेकिन प्रत्याशियों को ढूंढने में छोटे पार्टियों के पसीने छूट रहे हैं. इधर बड़े दलों ने छोटे दलों को तवज्जों नहीं दी जिससे उनकी परेशानी बढ़ गई है. बिहार में अब गठबंधन का भी स्वरूप बदल चुका है. सीएम नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) महागठबंधन का हिस्सा हो चुके हैं. और गठबंधन का स्वरूप बदलने के बाद 2 सीटों पर उपचुनाव हो रहे हैं. मोकामा और गोपालगंज सीट पर भाजपा और महागठबंधन के बीच सीधी लड़ाई है. महागठबंधन में जहां 7 घटक दल हैं, वहीं भाजपा के साथ पशुपति पारस हैं.

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छोटे दलों को प्रत्याशी खोजने में छूटे पसीना : चिराग पासवान और मुकेश साहनी सभी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन का हिस्सा हुआ करते थे. लेकिन फिलहाल दोनों नेताओं की राजनीतिक शक्ति डगमगा रही है. उपचुनाव के जरिए एक बार फिर दोनों नेता मजबूत उपस्थिति दर्ज कराने की कोशिश में है. चुनाव लड़ने को लेकर और प्रत्याशियों को ढूंढने में छोटे दलों के पसीने छूट रहे हैं. नामांकन की अंतिम तिथि 14 अक्टूबर है लेकिन छोटे दल अब तक प्रत्याशियों को अंतिम रूप नहीं दे सके हैं. दोनों दलों को भाजपा से उम्मीद थी, लेकिन भाजपा की ओर से कोई ठोस पहल नहीं की गई

गोपालगंज सीट पर BSP उतारेगी उम्मीदवार : बहुजन समाजवादी पार्टी ने बिहार में एक सीट पर चुनाव लड़ने का फैसला लिया है. पार्टी गोपालगंज सीट पर उम्मीदवार उतारी है. इस सीट से लालू यादव के साले साधु यादव की पत्नी इंदिरा यादव को उम्मीदवार बनाया है. बता दें कि पिछले विधानसभा चुनाव में साधु यादव गोपालगंज से बसपा के टिकट पर चुनाव लड़े थे और 42000 मतों के साथ वह दूसरे स्थान पर थे. पशुपति पारस और जीतन राम मांझी ने गठबंधन के साथ रहने का फैसला लिया है तो एआईएमआईएम ने उपचुनाव में गोपालगंज सीट पर उम्मीदवार उतारने का फैसला लिया है. अख्तरुल इमान ने कहा कि अब्दुल सलाम गोपालगंज सीट पर हमारे उम्मीदवार होंगे.

छोटे दलों की दावेदारी से उपचुनाव हुआ दिलचस्प : पिछले उपचुनाव में मुकेश साहनी और चिराग पासवान ने उम्मीदवार मैदान में उतारे थे. मुकेश साहनी ने बोचहां सीट पर भाग्य आजमाया था. वीआईपी की गीता कुमारी को 29279 मत मिले थे. इधर लोजपाआर के लिए भी उपचुनाव के नतीजे उत्साहवर्धक नहीं रहे, तारापुर उपचुनाव में लोजपाआर के उम्मीदवार को 5350 मत मिले, कुशेश्वरस्थान उपचुनाव में लोजपाआर प्रत्याशी अंजू देवी को 5623 मत मिले थे.

'उपचुनाव में हमने एक सीट पर लड़ने का फैसला लिया है और गोपालगंज सीट पर हमने उम्मीदवार उतारे हैं. वहां से इंदिरा यादव को उम्मीदवार बनाया गया है.' - गौतम खरवार, बसपा नेता

'उम्मीदवार के चयन और चुनाव लड़ने को लेकर अंतिम फैसला नहीं लिया जा सका है. लोजपाआर के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान को पार्टी ने अधिकृत कर दिया है और वही इस पर अंतिम फैसला लेंगे.' - सत्यानंद शर्मा, राष्ट्रीय महासचिव, LJPR

VIP ने अभी तक नहीं किया है उम्मीदवारों की घोषणा : वीआईपी पार्टी ने प्रत्याशियों के चयन को लेकर अंतिम फैसला नहीं लिया है. वहीं, भाजपा उपचुनाव में जीत को लेकर आश्वस्त है. पार्टी के महामंत्री और विधायक संजीव चौरसिया ने कहा है कि- 'दोनों सीटों पर हम चुनाव जीतने जा रहे हैं. जहां तक छोटे दलों का सवाल है तो सबको लोकतंत्र में चुनाव लड़ने का अधिकार है.'

'उपचुनाव में छोटे दलों की भूमिका नहीं रहती है लेकिन इनकी कोशिश बड़े दलों को बारगेन करने की रहती है. क्योंकि 2024 में लोकसभा चुनाव होने हैं और छोटे दल उपचुनाव को साध कर अपनी हिस्सेदारी सुनिश्चित करने के फिराक में लगे हैं. हालांकि उन्हें कितनी कामयाबी मिलेगी यह तो भविष्य के गर्भ में है.' - सुरेंद्र प्रियदर्शी, वरिष्ठ पत्रकार

गोपालगंज में त्रिकोणीय मुकाबला : गौरतलब है कि बिहार विधानसभा उपचुनाव के लिए गोपालगंज 101 विधानसभा सीट से बसपा प्रत्यासी इंदिरा यादव (BSP candidate Indira Yadav) ने आज सदर एसडीएम सह आरओ प्रदीप कुमार के समक्ष अपना नामांकन का पर्चा दाखिल किया. इस दौरान साधु यादव के समर्थकों की हुजुम उमड़ पड़ी. बसपा प्रत्यासी ने जनता से एक बार फिर मौका मांगा है. इंदिरा यादव ने जनता से वोट देने और अधूरे कामों को पूरा करने का अवसर मांगा है. बता दें कि बिहार उपचुनाव को लेकर चुनाव आयोग ने 14 अक्टूबर तक ही नामांकन कराने के लिए प्रत्याशियों को मौका दिया है. 3 नवंबर को वोटिंग होना है और 6 नवंबर को मतगणना के बाद रिजल्ट जारी हो जाएगा. जिसके बाद यह स्पष्ट होगा कि किसके सिर पर ताज होगा और किसे हार का सामना करना पड़ेगा.

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