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दरांती, कुदाल चलाने वाली महिला खेतों में उड़ा रही ड्रोन, खेती में कर रहे आधुनिक तकनीक ईजाद

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By ETV Bharat Uttarakhand Team

Published : Mar 1, 2024, 9:03 AM IST

Updated : Mar 1, 2024, 11:26 AM IST

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Use of Drone In Farming आधुनिक तकनीक ने खेती में कीटनाशकों के छिड़काव का काम आसान कर दिया है. वहीं खेती-किसानी में ड्रोन का इस्तेमाल लगातार बढ़ रहा है. जिस कारण किसानों की मेहनत और लागत में कमी आ रही है. वहीं नैनीताल जिले के मोटाहल्दू निवासी पूनम दुर्गापाल ड्रोन से खेतों पर उर्वरक और कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव कर रही हैं.

पूनम दुर्गापाल ड्रोन से कर रही उर्वरक और कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव

हल्द्वानी: खेती किसानी में महिलाओं की हिस्सेदारी हमेशा बनी रहती है. नैनीताल जिले के मोटाहल्दू की रहने वाली पूनम दुर्गापाल ड्रोन उड़ने वाली जिले की पहली महिला किसान बनी है. वो ड्रोन के माध्यम से खेतों में उर्वरक और कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव कर रही हैं. केंद्र सरकार की ड्रोन दीदी परियोजना के तहत महिलाओं को स्वरोजगार और आत्मनिर्भर बनाने के लिए चलाए जा रहे योजना के तहत उत्तराखंड की चार महिलाओं को निशुल्क ड्रोन और कैरी करने के लिए वाहन उपलब्ध कराया गया है. जिसके तहत यह महिलाएं अब अपने खेतों के साथ-साथ दूसरे किसानों की फसलों पर भी कीटनाशक दवाइयां और उर्वरक का छिड़काव कर रही हैं.

एनआरएलएम महिला समूह से जुड़ी नैनीताल जिले की मोटाहल्दू निवासी पूनम दुर्गापाल के साथ-साथ देहरादून की पूजा गौड़, खटीमा की कमलजीत कौर और रुद्रपुर की शुभ्रा उत्तराखंड की ड्रोन दीदी बनी है. इफको की ओर से इन महिलाओं को प्रशिक्षण के लिए हरियाणा भेजा गया था. जहां 15 दिन के परीक्षण के बाद महिलाएं अब ड्रोन उड़ाने में महारथ हासिल कर खेतों में ड्रोन के माध्यम से उर्वरक और रसायनों की छिड़काव कर रही हैं. पूनम दुर्गापाल ने बताया कि पहले खेतों में रसायन की छिड़काव के लिए मैन्युअल या पीठ पर गैलन के माध्यम से खेतों में उर्वरक और रसायन का छिड़काव करते थे.

लेकिन अब ड्रोन विधि से खेतों में उर्वरक और रसायन का छिड़काव कर रहे हैं. इस विधि से 10 मिनट में 1 एकड़ भूमि में छिड़काव हो जा रहा है, जबकि पहले कई घंटे लगते थे. पूनम दुर्गापाल ने बताया कि किसानों के खेतों में उर्वरक छिड़काव के लिए प्रति एकड़ ₹300 रेट रखा गया है. यहां तक कि ड्रोन को लाने ले जाने के लिए इंडियन फारमर्स फर्टिलाइजर कोआपरेटिव लिमिटेड (इफको) ने कैरी वाहन और जनरेटर भी उपलब्ध कराया है. ड्रोन की खासियत यह है कि 10 मिनट में करीब 1 एकड़ खेत पर कीटनाशक और उर्वरक का छिड़काव कर सकता है. इसके अलावा एक दिन में 20 एकड़ तक छिड़काव करने की क्षमता है.

इसमें कैमरा भी लगाया गया है जिससे कि काम करने के दौरान तस्वीरों को साफ देखा जा सके और इन तस्वीरों वीडियो और फोटो भी खींची जा सकती है. अधिकारियों के अनुसार ड्रोन योजना के माध्यम से ड्रोन उर्वरकों और कीटनाशकों के छिड़काव में सहायता मिलेगी. कीटनाशक की बचत होगी. अधिकारियों के अनुसार कीटनाशक छिड़काव के दौरान इससे मानव स्वास्थ्य पर कीटनाशकों का प्रभाव भी कम होगा. किसी भी फसल में अचानक बीमारी आ जाने के कारण स्प्रे करना असंभव होता था.अब ड्रोन तकनीक से एक बार में काफी बड़े एरिया में छिड़काव किया जा सकेगा. पहले समय के अभाव में किसान दवा का छिड़काव नहीं कर पाते थे. जिससे फसलों में कीड़े लग जाते थे और फसलें बर्बाद होती थी, लेकिन अब ड्रोन से एक भी बार में ज्यादा एकड़ में छिड़काव हो सकेगा.

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Last Updated :Mar 1, 2024, 11:26 AM IST
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