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Lakhimpur Kheri Case: विपक्ष मांग रहा सीएम योगी का इस्तीफा तो सत्तापक्ष लगा रहा राजनीति का आरोप

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Published : Oct 7, 2021, 7:43 PM IST

Updated : Oct 7, 2021, 9:12 PM IST

लखीमपुर मामले में सपा-भाजपा आमने आमने.
लखीमपुर मामले में सपा-भाजपा आमने आमने.

लखीमपुर मामले (Lakhimpur Kheri Case) में समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता अनुराग भदौरिया (SP Spokesperson Anurag Bhadauria) ने केंद्रीय गृह राज्यमंत्री अजय मिश्रा टेनी (Ajay Mishra Teni) को बर्खास्त करने की मांग की है. कहा कि जब तक उनके बेटे की गिरफ्तारी नहीं होगी तब तक न्याय मिलना असंभव है. दूसरी तरफ केंद्रीय मंत्री डॉक्टर महेंद्र नाथ पांडेय (Minister Mahendra Nath Pandey) ने विपक्षी दलों को नसीहत देते हुए कहा है कि विपक्ष को अकारण राजनीतिक रोटी सेंकने से बचना चाहिए.

चंदौली: लखीमपुर खीरी कांड (Lakhimpur Kheri Violence) को लेकर देशभर में सियासत गरमाई हुई है. तमाम विपक्षी पार्टियां मामले को लेकर यूपी की योगी आदित्यनाथ सरकार पर हमलावर हैं. विपक्षी दल किसानों के प्रति हमदर्दी जताते हुए खीरी जाना चाहते थे. जिन्हें, यूपी प्रशासन ने रोक लिया. प्रियंका गांधी (Priyanka Gandhi) को सीतापुर में रोका गया. इसी तरह अन्य नेता जैसे शिवपाल यादव, अखिलेश यादव, जयंत चौधरी और चंद्रशेखर को लखीमपुर पहुंचने से पहले ही हिरासत में ले लिया गया. किसान नेता राकेश टिकैत (Rakesh Tikait) को भी आगे नहीं बढ़ने दिया गया. लिहाजा, विपक्ष मौजूदा सरकार पर हमलावर होते हुए तानाशाही रवैया अपनाने का आरोप लगाया है.

हालांकि, गुरुवार को मामले में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने उत्तर प्रदेश सरकार से केस स्टेटस रिपोर्ट मांगी है. सुप्रीम कोर्ट के हस्ताक्षेप के बाद समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता अनुराग भदौरिया ने कहा है कि जब तक केंद्रीय गृह राज्यमंत्री को बर्खास्त नहीं कर दिया जाता और उनके बेटे की गिरफ्तारी नहीं हो जाती तब तक न्याय मिल पाना संभव नहीं है. भदौरिया ने कहा कि अब तो सर्वोच्च न्यायालय ने भी केस स्टेटस रिपोर्ट तलब की है. कोर्ट पूछ रहा है कि अब तक आरोपी की गिरफ्तारी क्यों नहीं हुई? आरोपी फ्री क्यों है? पूरे मामले का स्टेटस क्या है? इस. कहा कि यह सरकार की जिम्मेदारी बनती थी कि जिसकी वजह से इतना बड़ा नरसंहार हुआ उसको तो कम से कम गिरफ्तार करके जेल में डालना चाहिए था. सरकार आखिर क्यों उसको बचाने की कोशिश कर रही है.

लखीमपुर मामले में सपा-भाजपा आमने आमने.

वहीं, चन्दौली दौरे पर पहुंचे केंद्रीय मंत्री डॉ. महेंद्र नाथ पांडेय ने लखीमपुर कांड पर विपक्ष पर उल्टा निशाना साधा. साथ ही नसीहत देते हुए कहा कि विपक्ष को अकारण राजनीतिक रोटी सेकने से बचना चाहिए. उन्होंने कहा कि जिस तरह से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने तत्परता से इस पूरे मामले पर कार्रवाई की है. ऐसे उदाहरण बहुत कम ही मिलते हैं. उन्होंने इस मामले का सम्यक समाधान किया है, और अब उसमें परिवारी जन स्वयं संतुष्ट हो रहे हैं. वहीं, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी द्वारा केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के इस्तीफे की मांग के बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री डॉ. महेंद्र नाथ पांडेय ने कहा कि इस पूरे मामले में जो भी आवश्यक कार्रवाई की थी. वह उत्तर प्रदेश सरकार ने तत्परता से आआवश्यक कदम उठाया है. ऐसे में अन्य विषय उठाने का कोई प्रसंग नहीं है.

बता दें कि महेंद्र पांडेय अपने संसदीय क्षेत्र चंदौली के दीनदयाल नगर में डीडीयू रेल मंडलीय अस्पताल में ऑक्सीजन प्लांट का उद्घाटन करने पहुंचे थे. जहां डीआरएम राजेश पांडेय की मौजूदगी में 500 लीटर प्रति सेकेंड की उत्पादन क्षमता वाले ऑक्सीजन प्लांट का उद्घाटन किया. जिसके चलते मंडलीय चिकित्सालय भी सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल तरह सभी बेड पर पाइप लाइन की सुविधा से ऑक्सीजन पहुंचेगी.

कन्नौज सांसद सुब्रत पाठक ने खीरी कांड को दुर्घटना बताया है. उन्होंने मामले में राजनीति कर रही विपक्ष की पार्टियों पर जमकर हमला बोला है. कहा कि लखीमपुर घटना के बाद प्रदेश को जलाने का षड्यंत्र था. लेकिन, यूपी सरकार की सक्रियता के चलते षड्यंत्र को कुचल दिया गया. राजनैतिक पर्टयन के रूप में जो लोग निकले हुए उनको मायूसी के अलावा कुछ नहीं मिलेगा. साथ ही कहा कि प्रदेश में कुछ लोग रात भर मुख्यमंत्री बनने का सपना देखते है, लेकिन जब सुबह सोकर उठते है तो बाबा सपना तोड़ देते है. उन्होंने अखिलेश यादव पर हमला बोलते हुए कहा कि कुछ लोग हमारे यहां प्रदेश में कुछ लोग रात भर मुख्यमंत्री बनने का सपना देखते है. लेकिन जब सुबह सोकर उठते है तो बाबा उस सपने को तोड़ देते है. कहा कि जनता और सरकार दोनों इनको माकूल जवाब देगी.

कन्नौज सांसद सुब्रत पाठक

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गौरतलब है कि रविवार को किसान महाराजा अग्रसेन इंटर कॉलेज के खेल मैदान में केंद्र के तीन कृषि कानूनों के विरोध में शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने के लिए एकत्र हुए थे. उन्होंने केंद्रीय मंत्री और उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को काले झंडे दिखाने की योजना बनाई थी, जो एक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए वहां गए थे. जब किसान विरोध कर रहे थे, उसी समय आशीष मिश्रा की कार ने कथित तौर पर तेज गति से गुजरते हुए कई किसानों को कुचल दिया था, जिससे चार किसानों की मौके पर ही मौत हो गई थी. बाद में लखीमपुर खीरी में मौके पर ही हिंसा भड़क गई, जिसमें चार और लोगों की मौत हो गई.

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Last Updated :Oct 7, 2021, 9:12 PM IST

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