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अंडरग्राउंड खदान में मजदूरों का प्रदर्शन, डीप माइंस में घंटों धरने पर बैठे मजदूर

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Published : Oct 28, 2022, 2:07 PM IST

धनबाद में मजदूरों का प्रदर्शन वैसे तो आम है. लेकिन इस बार सेल चासनाला कोलियरी के अंडरग्राउंड खदान में मजदूरों का प्रदर्शन देखने को (Workers protest inside underground mine in Dhanbad) मिला. काफी मशक्कत के बाद सेल प्रबंधन से वार्ता होने के बाद धरना दे रहे पांचों मजदूर डीप माइंस से बाहर आए.

Workers protest inside underground mine in Dhanbad
धनबाद

धनबादः सेल चासनाला कोलियरी के डीप माइंस खदान में अफरातफरी मच गई. जब अधिकारियों और कर्मियों को पता चला कि गुरुवार को प्रथम पाली की ड्यूटी गए असंगठित पंप ऑपरेटर पांच मजदूर काम खत्म करने के बाद बाहर नहीं निकले. वो नियमित ड्यूटी देने के मांग को लेकर डीप माइंस खदान में विरोध करते हुए धरने पर बैठ (Workers protest inside underground mine in Dhanbad) गए. वेतन की मांग कर रहे मजदूरों की सेल प्रबंधन से वार्ता के बाद काफी मशक्कत से उनका भूमिगत खदान में धरना खत्म कराया गया.

धनबाद में अंडरग्राउंड खदान के अंदर धरना में पांच मजदूरों के बैठने की सूचना मिलते ही मौके पर मौजूद सेल अधिकारियों में खलबली मच गयी. मौके पर उपस्थित अधिकारियों ने इसकी सूचना सेल प्रबंधन के उच्च अधिकारी एवं प्रशासन को दिया. जिसके घंटों बाद प्रबंधन एवं जनता मजदूर संघ कुंती गुट शाखा अध्यक्ष रंजय सिंह सचिव मुकेश ओझा के आग्रह पर प्रबंधन द्वारा 3 नवंबर को पुनः वार्ता कर मजदूर का समस्या का समाधान करने का लिखित पत्र दिया गया. प्रबंधन के लिखित आश्वासन के बाद डीप माइंस खदान में धरना पर बैठे पांचों मजदूरों को बाहर सुरक्षित निकाला गया. पांचों मजदूरों के सुरक्षित माइंस से बाहर आने के बाद सेल प्रबंधन ने राहत की सांस ली. वार्ता सकारात्मक होने पर मजदूर एक दूसरे को मिठाई खिलाकर खुशी मनाई.

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धरने पर बैठे मजदूर ने कहा कि पूरे महीने में सात दिन सेल प्रबंधन ड्यूटी देती है और उन्हें महीने में मात्र 3 हजार वेतन मिलता है. इतने कम वेतन में वो सब क्या करेंगे, कैसे परिवार का भरण पोषण करेंगे. वहीं जनता मजदूर संघ यूनियन प्रतिनिधि ने कहा कि मजदूर डीप माइंस खदान में नियमित डियूटी की मांग को लेकर धरना पर बैठ गये थे. वार्ता के बाद सभी बाहर आ गये हैं. 3 नवंबर को प्रबंधन के साथ वार्ता है, वार्ता से अगर प्रबंधन मुकरती है तो इससे भी बड़ा आंदोलन किया जाएगा. डीप माइंस खान प्रबंधन दीपक कुमार का कहना है खदान बंद सिर्फ पंप चलाने के ठेका मजदूर भेजा जाता है. खदान चालू होने के बाद सभी मजदूरों को नियमित काम मिलेगा.

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