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उत्तराखंड: शारदीय नवरात्र का पहला दिन, मंदिरों में उमड़ा आस्था का सैलाब

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Published : Oct 17, 2020, 4:26 PM IST

Updated : Oct 17, 2020, 7:44 PM IST

first day of Navratri
शारदीय नवरात्र का पहला दिन

शारदीय नवरात्र के पहले दिन मंदिरों में श्रद्धालुओंं की कतार लग गई. मंदिरों से लेकर घरों तक घट स्थापना हुई.

देहरादून: मां दुर्गा की उपासना का महापर्व शारदीय नवरात्र आज से शुरू हो गया है. पहले दिन देवी के शैलपुत्री स्वरूप की पूजा की जा रही है. नवरात्रि के पहले दिन उत्तराखंड के विभिन्न मंदिरों में दर्शन के लिए श्रद्धालुओं की कतारें लगी हुई हैं. कोविड-19 के नियम दायरे में रहकर श्रद्धालु पूजा अर्चना करने मंदिरों में पहुंचे. भीड़ को नियंत्रित करने के लिए मंदिर परिसर में शारीरिक दूरी बनाने को गोले बनाए हैं. वहीं, सैनिटाइजेशन की मशीन भी लगाई गई है. मंदिरों में थर्मल स्क्रीनिंग के बाद श्रद्धालुओं को महाशक्ति के दर्शन के लिए प्रवेश दिया जा रहा है.

दुल्हन की तरह सजी धारी देवी मंदिर

शारदीय नवरात्र के मौके पर चारधाम की रक्षक धारी देवी मंदिर को दुल्हन की तरह सजाया गया है. रोशनी में मंदिर की आलौकिक रूप सामने आ रहा है. वहीं, नवरात्र के मौके पर मां धारी देवी मंदिर में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ जुट रही है. भक्त मां आदिशक्ति के दर्शन के लिए दूर-दूर से पहुंच रहे हैं.

मां नैना देवी के मंदिर में भी उमड़ी भीड़

नवरात्र के पहले दिन बड़ी संख्या में भक्त नैनीताल में मां नैना देवी दर्शन-पूजन के लिए पहुंच रहे हैं. पौराणिक मान्यता है कि देवी सती की आंख नैनीताल के क्षेत्र में गिरी थी. जिसके बाद यहां मां नैना देवी मंदिर की स्थापना की गई.

नवरात्र में मंदिरों में उमड़ा आस्था का सैलाब.

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एसएसपी ने की पूजा-अर्चना

नवरात्र के मौके पर अल्मोड़ा एसएसपी पीएन मीणा नंदादेवी मंदिर पहुंचकर सुरक्षा व्यवस्थाओं का जायजा लिया. इस दौरान एसएसपी ने मां नंदादेवी की पूजा-अर्चना करते हुए कोरोना महामारी के खत्म होने की मनोकामना की.

अष्टादश भुजा महालक्ष्मी मंदिर दर्शन-पूजन

नवरात्र के पहले दिन सुबह छह बजकर 23 मिनट से मंदिरों एवं घरों में घट स्थापना शुरू हुई. अभिजीत मूहूर्त 11:44 से सुबह 12:39 तक रहा, जो सबसे उत्तम माना जाता है. कुमाऊं के सबसे अष्टादश भुजा महालक्ष्मी मंदिर में सुबह से ही भक्तों का हुजूम उमड़ पड़ा है.

गर्जिया देवी मंदिर में आस्था की भीड़

कुमाऊं और गढ़वाल के प्रवेश द्वार रामनगर के प्रसिद्ध गर्जिया देवी मंदिर में भक्त माता के दरबार में हाजिरी लगाते नजर आए. कुमाऊं के प्रमुख शक्तिपीठों में शामिल गर्जिया देवी मंदिर में दूर-दूर से भक्त मां के दर्शन-पूजन को आते हैं. माना जाता है कि यहां सच्चे दिलों से मांगी गई हर मुराद मां पूरी करती हैं.

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भक्त के बुलाने पर उत्तरकाशी आईं मां कुटेटी

उत्तरकाशी जनपद मुख्यालय में स्थित सिद्धपीठ मां कुटेटी देवी मंदिर में भक्तों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी. नवरात्र के अवसर पर मां कुटेटी देवी के दर्शन के लिए हर वर्ष भक्त बड़ी संख्या में उत्तरकाशी आते हैं. सिद्धपीठ मां कुटेटी के दरबार से कहा जाता है कि आज तक कोई भी भक्त खाली हाथ नहीं लौटा है. वहीं, मां कुटेटी के उत्तरकाशी में विराजमान होने के पीछे भी एक रोचक दन्त कथा है. कहा जाता है कि मां कुटेटी अपने भक्त के बुलाने पर कोटा राजस्थान से उत्तरकाशी आईं थीं.

काशीपुर में मां शैलपुत्री की स्थापना

काशीपुर में मां मनसा देवी, मां चामुंडा देवी शक्तिपीठ मंदिर के अलावा मां बाल सुंदरी देवी मंदिर, चौराहे वाली माता मंदिर, गायत्री देवी मंदिर समेत अनेक मंदिरों में मां की दर्शन-पूजा के लिए श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ी. श्रद्धालु सोशल डिस्टेंसिंग के साथ मां का दर्शन-पूजन कर रहे हैं.

सिद्धपीठ कालीमठ में भी उमड़े श्रद्धालु

रुद्रप्रयाग के प्रसिद्ध सिद्धपीठ कालीमठ में मार्च महीने से पसरा सन्नाटा हट गया है. नवरात्रे शुरू होने पर मां के दरबार में दूर-दूर से भक्त भारी संख्या में पहुंच रहे हैं. मान्यता है कि कालीमठ में मां काली के दर्शन करने से भक्तों के सभी पाप दूर होते हैं और सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है. ऐसे में केदारनाथ यात्रा सीजन के दौरान हजारों की संख्या में यात्री भी मां काली के दर्शनों के लिये आते हैं. कोरोना काल के बाद मां काली के मंदिर में पहली बार भक्तों की भारी भीड़ देखी जा रही है.

लक्सर के मंदिरों में आस्था का सैलाब

लक्सर में सुबह से ही शारदीय नवरात्र के मौके पर जगदम्बा मंदिर और शनि धाम मंदिर में भी मां दुर्गा की पूजा-अर्चना की जा रही है. मंदिरों में पूजा अर्चना कर घट स्थापना की जा रही है.

न्याय की देवी कोटगाड़ी मंदिर के खुले कपाट

बेरीनाग में न्याय की देवी कोटगाड़ी देवी मंदिर के कपाट पूजा अर्चना के बाद भक्तों के लिए खोल दिए गए हैं. कोरोना के कारण पिछले सात माह से मंदिर के कपाट बंद थे. नवरात्रि के पहले दिन न्याय की देवी के मंदिर में भक्तों की हुजूम उमड़ा और उन्होंने मां का पूजा-अर्चना किया.

सात माह के बाद खुली पाताल भुवनेश्वर गुफा

नवरात्रि के पहले दिन विश्व प्रसिद्ध पाताल भुवनेश्वर गुफा को श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया गया है. गुफा के बाहर पूजा-अर्चना कर मंदिर कमेटी के गुफा श्रद्धालुओं के लिए खोला. इससे पूर्व गुफा क्षेत्र में सैनिटाइजर का छिड़काव किया गया. मंदिर कमेटी के अध्यक्ष नीलम भंडारी ने बताया कि गुफा में प्रवेश से पूर्व भक्तों की थर्मल स्क्रीनिंग और कड़ाई से नियमों का पालन करने को कहा जा रहा है.

Last Updated :Oct 17, 2020, 7:44 PM IST
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