सहारनपुर: बीजेपी प्रवक्ता और असम अल्पसंख्यक विकास बोर्ड के अध्यक्ष सैयद मुमिनुल असवाल ने हाल ही में 'जय श्री राम' बोलने को इस्लाम में जायज करार दिया था. उनके इस बयान पर देवबंदी उलेमाओं ने कड़ी आपत्ति जताई है. साथ ही उलेमाओं का कहना है कि जय श्री राम बोलना इस्लाम के सख्त खिलाफ है. इस्लाम किसी भी सूरत में ऐसे नारों को जायज नहीं ठहराता है.
इस्लाम के खिलाफ है 'जय श्री राम' बोलनाः देवबंदी उलेमा
सहारनपुर: बीजेपी प्रवक्ता और असम अल्पसंख्यक विकास बोर्ड के अध्यक्ष सैयद मुमिनुल असवाल ने हाल ही में 'जय श्री राम' बोलने को इस्लाम में जायज करार दिया था. उनके इस बयान पर देवबंदी उलेमाओं ने कड़ी आपत्ति जताई है. साथ ही उलेमाओं का कहना है कि जय श्री राम बोलना इस्लाम के सख्त खिलाफ है. इस्लाम किसी भी सूरत में ऐसे नारों को जायज नहीं ठहराता है.
Body:मुसलमान कह सकते हैं 'जय श्री राम': असम बीजेपी नेता *
असम भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रवक्ता सईद मोमिनुल अवल ने रविवार को यहां कहा, "जय श्री राम" कहने के लिए इस्लाम में कोई प्रतिबंध नहीं था।
"मुस्लिम, 'जय श्री राम' कह सकते हैं। राम एक राजा थे, जिसके लिए हम राम राज्य के बारे में बात करते हैं। राम एक युग-निर्माता थे। 'जय श्री राम' कहने पर कोई प्रतिबंध नहीं हो सकता है," अवल ने कहा, असम अल्पसंख्यक विकास बोर्ड के अध्यक्ष।
इस पर देवबंदी मदरसा संचालक मौलाना लतफुर्रह्मान सादिक कासमी ने कहा जय श्री राम मुस्लिम को नही बोलना चाहिए। इस्लाम हमे इस बात की इजाज़त नही देता। अगर किसी कोई मुस्लिम यह बोलता है तो वो इस्लामिक दृष्टि से सही नही है। पर इस्लाम मे इसके लिये कोई जगह नही हैं। इस तरह के बयानबाजी से देश के हालात बिगड़ सकते है।
Conclusion: देवबंदी मदरसा संचालक मौलाना लतफुर्रह्मान सादिक कासमी ने कहा जय श्री राम मुस्लिम को नही बोलना चाहिए। इस्लाम हमे इस बात की इजाज़त नही देता। अगर किसी कोई मुस्लिम यह बोलता है तो वो इस्लामिक दृष्टि से सही नही है। पर इस्लाम मे इसके लिये कोई जगह नही हैं। इस तरह के बयानबाजी से देश के हालात बिगड़ सकते है।
बलवीर सैनी
देवबन्द, सहारनपुर
मोबाइल 9319488130