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अस्पताल में आ रहे टोमेटो फ्लू से पीड़ित बच्चे, पीआईसीयू वार्ड में बेड संरक्षित

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Published : Oct 15, 2022, 3:45 PM IST

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इस समय मौसम परिवर्तन होने के कारण तमाम संचारी बीमारी फैल रही हैं. वहीं बच्चे भी इससे अछूते नहीं रह गए हैं. बहुत सारे बच्चे टोमेटो फ्लू (Tomato flu) से पीड़ित हो रहे हैं. प्रदेश के अन्य जिलों से भी रेफर केस राजधानी के अस्पतालों में आ रहे हैं.

लखनऊ : इस समय मौसम परिवर्तन होने के कारण तमाम संचारी बीमारी फैल रही हैं. वहीं बच्चे भी इससे अछूते नहीं रह गए हैं. बहुत सारे बच्चे टोमेटो फ्लू (Tomato flu) से पीड़ित हो रहे हैं. प्रदेश के अन्य जिलों से भी रेफर केस राजधानी के अस्पतालों में आ रहे हैं. ज्यादातर टोमेटो फ्लू के हैं. इसके लक्षण चिकन पॉक्स की तरह हैं. प्रदेश के अन्य जिले से भी टोमेटो फ्लू के कई मरीज आए हैं. हालात को देखते हुए जिला अस्पतालों में पीआईसीयू में आठ बेड संरक्षित किए गए हैं, ताकि इमरजेंसी में बच्चों को भर्ती किया जाए.


सिविल अस्पताल के वरिष्ठ पीडियाट्रिशियन डॉ. वीके गुप्ता ने बताया कि इस समय बरसाती मौसम है. पिछले कुछ दिन लगातार बारिश हुई है, जिसकी वजह से संचारी रोग वायरस तेजी से फैल रहा है. ज्यादातर बच्चे डेंगू, मलेरिया और डायरिया से पीड़ित हैं. इसी के साथ ही टोमेटो फ्लू के भी मरीज मिल रहे हैं. ऐसे में अधिक पैनिक होने की जरूरत नहीं है. साफ सफाई का विशेष ध्यान रखें, साथ ही कोशिश करें कि बच्चे को घर का बना हुआ स्वच्छ और हेल्दी खाना खिलाएं.

बातचीत करतीं संवाददाता अपर्णा शुक्ला



इस दौरान उन्होंने बताया कि इस वक्त अस्पताल की ओपीडी में रोजाना 200 से अधिक मरीज आ रहे हैं. एक महीने से आठ साल के बीच के बच्चों की संख्या इसमें अधिक है. जब भी मौसम में बदलाव होता है तो सबसे पहला असर छोटे बच्चों को होता है, क्योंकि उन्हें सर्दी लग जाती है. इसलिए जरूरी है कि बच्चों का विशेष ख्याल रखा जाए. प्रदेश के कई जिलों से टोमेटो फ्लू से पीड़ित बच्चे अस्पताल में आ रहे हैं. इसी के साथ अस्पताल के पीआईसीयू में टोमेटो फ्लू से पीड़ित बच्चों के लिए आठ बेड संरक्षित कर दिए गए हैं, ताकि तत्काल प्रभाव से आए हुए बच्चे को समुचित इलाज मिल सके.

बाराबंकी से छह साल के बेटे का इलाज कराने के लिए आई प्रेमलता ने बताया कि पिछले कुछ दिनों से लगातार बेटे को तेज बुखार आ रहा था. पहले पैर से शुरू हुए और अब शरीर के हर अंग पर लाल-लाल दाने हैं. तीन दिन बाद यह बहुत ज्यादा फैल गया. उस समय देखने में ऐसा लग रहा था कि यह चिकन पॉक्स है, उसी तरह हमने देखरेख करनी शुरू कर दी. हालांकि समझने में थोड़ी गलती हो गई. बच्चे की तबीयत काफी खराब हुई तो सिविल अस्पताल लाकर दिखाया तो पता चला कि बच्चे को टोमेटो फ्लू है. फिलहाल बच्चे का इलाज चल रहा है अस्पताल में ही पांच दिन बच्चा भर्ती रहा. अब पहले से हालत काफी अच्छी है.

सीतापुर 11 साल के बच्चे का इलाज करा रहे शक्ति कुमार ने बताया कि दो दिन तक बच्चा तेज बुखार से पीड़ित था. उसके बाद धीरे-धीरे दाने होने शुरू हुए. सिविल अस्पताल के डॉक्टरों ने बताया कि चिकन पॉक्स और टोमेटो फ्लू में कोई विशेष अंतर नहीं है. वायरस दोनों की एक ही हैं इसलिए दोनों का इलाज भी एक है. बस बच्चा कमजोर ज्यादा हो गया था. जिसकी वजह से अस्पताल में भर्ती कराने की नौबत आई. सिविल अस्पताल में बच्चे का इलाज चल रहा है. डॉक्टर ने कहा कि आज बच्चे को घर वापस ले जा सकते हैं.

लक्षण

- कमजोरी
- होंठ सूखना
- तेज बुखार
- सिर में दर्द
- छोटे छोटे लाल दाने होना
- भूख न लगना

बचाव

- बच्चे को लिक्विड अधिक दें. जैसे दाल का पानी, दलिया, जूस इत्यादि.
- साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखें.
- साफ पानी पिलाएं या फिर पानी को गर्म करने के बाद पिलाएं.
- घर का बना शुद्ध खाना खिलाएं.
- बुखार और दाने होने पर तुरंत चिकित्सक की सलाह लें.

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