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राजस्थान में पेट्रोल पर 4 रुपये, डीजल पर 5 रुपये घटा वैट...अशोक गहलोत कैबिनेट ने दी राहत

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Published : Nov 16, 2021, 7:47 AM IST

Updated : Nov 16, 2021, 10:57 PM IST

CM ashok Gehlot
सीएम अशोक गहलोत

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Chief Minister Ashok Gehlot) के अध्यक्षता में कैबिनेट की बैठक (cabinet meeting) में सर्वसम्मति से पेट्रोल डीजल पर वैट कम करने का फैसला लिया गया है. पेट्रोल पर 4 रुपये और डीजल पर 5 रुपये प्रति लीटर वैट घटा दिया गया है.

जयपुर. राजस्थान सरकार ने पेट्रोल डीजल पर वैट को लेकर आज बड़ा फैसला लिया है. कैबिनेट की बैठक में पेट्रोल पर 4 रुपये और डीजल पर 5 रुपये प्रति लीटर वैट घटा दिया गया है. नई दरें आज रात 12 बजे से लागू हो जाएंगी. इस फैसले से राज्य सरकार को 3500 करोड़ रुपये वार्षिक राजस्व की हानि होगी.

मुख्यमंत्री आवास पर चली कैबिनेट की बैठक में मंत्रिमंडल की सर्वसम्मति से राजस्थान सरकार ने आम जन को राहत देते हुए पेट्रोल डीजल से वैट घटा लिया है. नई दरें आज रात 12 बजे से ही लागू हो जाएंगी. वैट में कमी करने के संकेत मुख्यमंत्री ने पहले ही दे दिये थे. कैबिनेट बैठक में इस पर मुहर लगा दी गई है.

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मुख्यमंत्री ने ट्वीट करते हुए लिखा कि 'आज मंत्रिमण्डल की बैठक में पेट्रोल/डीजल पर वैट की दर को कम करने का सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया. इसके बाद आज रात्रि 12 बजे से पेट्रोल में 4 रुपये प्रति लीटर तथा डीजल में 5 रुपये प्रति लीटर दरों में कमी हो जायेगी. इससे राज्य सरकार 3500 करोड़ रुपये वार्षिक राजस्व की हानि वहन करेगी.

राजस्व हानि बढ़कर 6300 करोड़

केन्द्र सरकार और से बीते दिनों पेट्रोल और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी में की गई कमी के चलते राज्य के राजस्व में संभावित 1800 करोड़ रूपए सालाना की कमी के बावजूद मंत्रिपरिषद ने जनहित को सर्वोपरि रखते हुए यह निर्णय किया है. राज्य सरकार ने पहले भी इस वर्ष के प्रारंभ में पेट्रोल-डीजल पर वैट में 2 प्रतिशत की कमी कर प्रदेश की जनता को 1 हजार करोड़ रूपए की राहत दी थी. इस प्रकार राज्य सरकार को पहले से ही 2800 करोड़ रूपए की राजस्व हानि का सामना करना पड़ रहा है और मंत्रिपरिषद् में लिए गए आज के निर्णय से यह राजस्व हानि बढ़कर 6300 करोड़ रूपए सालाना हो जाएगी.

केंद्र पर इसलिए लगाया था गहलोत ने आरोप

मंत्रिपरिषद् की बैठक में बताया गया कि पेट्रोलियम कंपनियों की ओर से पेट्रोल और डीजल की कीमतों में लगातार वृद्धि करने से केंद्र और राज्य सरकार की ओर से आमजन को दी गई राहत में कमी आ रही है. केंद्र सरकार ने वर्ष 2016 से पेट्रोल और डीजल पर बेसिक एक्साइज ड्यूटी को लगातार कम किया है और राज्यों के साथ साझा किए जाने वाले डिविजिएबल पूल के हिस्से को घटा दिया है. इससे राज्यों को मिलने वाले शेयर में कमी आई है, जबकि स्पेशल और एडिशनल एक्साइज ड्यूटी को लगातार बढ़ाया गया है. राज्यों को इस बढ़ोतरी का कोई हिस्सा नहीं मिलता. केंद्र का यह कदम वित्तीय संघवाद की भावना के विपरीत है.

केंद्र की ओर से घटाई गई एक्साइज ड्यूटी नाकाफी

बैठक में बताया गया कि कोविड लॉकडाउन के दौरान 6 मई 2020 को केंद्र सरकार ने पेट्रोल पर 10 और डीजल पर 13 रूपए प्रति लीटर एक्साइज ड्यूटी बढ़ाई थी. इसके बाद इस वर्ष भी पेट्रोल की करीब 27 और डीजल की कीमत करीब 25 रूपए प्रति लीटर बढ़ी है. अब पेट्रोल पर केवल 5 रूपए और डीजल पर 10 रूपए प्रति लीटर कम कर जनता को राहत देने की बात कही जा रही है. केंद्र की ओर से पेट्रोल पर 5 रूपए और डीजल पर 10 रूपए प्रति लीटर एक्साइज ड्यूटी में की गई, यह कमी नाकाफी है और जनता को इससे स्थाई राहत नहीं मिल सकेगी. उल्लेखनीय है कि केन्द्र की ओर से कोरोना काल के दौरान बढ़ाई गई एक्साइज ड्यूटी में नाकाफी कमी की गई है, जबकि राज्य सरकार की ओर से जो वैट बढ़ाया गया था, वह पुनः लगभग कोरोना से पहले की स्थिति में आ गया है.

CM ashok Gehlot
सीएम का ट्वीट

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वैट से आता है कुल राजस्व का 22 फीसदी हिस्सा

यह भी बताया गया कि राज्य के कुल कर राजस्व का 22 प्रतिशत से अधिक हिस्सा पेट्रोल और डीजल पर वैट से आता है. कोविड वैश्विक महामारी के कारण चालू वित्तीय वर्ष में राज्य के राजस्व में अक्टूबर माह तक 20 हजार करोड़ रूपए की भारी कमी आई है. केेंद्र की ओर से राज्य को 5,963 करोड़ रूपए के जीएसटी का पुनर्भरण उपलब्ध नहीं कराना भी इसका एक बड़ा कारण है.

केंद्र पेट्रोल पर 10 रुपये घटाए तो राज्य में 3.40 रुपये कम होंगे

मंत्रिपरिषद् ने कहा कि महंगे पेट्रोल और डीजल से आमजन को वास्तविक राहत देने के लिए जरूरी है कि केंद्र सरकार केंद्रीय पूल में आने वाली एडिशनल एक्साइज ड्यूटी और बेसिक एक्साइज ड्यूटी को और कम करे. यदि केंद्र सरकार की ओर से प्रति लीटर पेट्रोल पर एक्साइज ड्यूटी में 10 रूपए और डीजल पर 15 रूपए प्रति लीटर की कमी की जाती है तो प्रदेश के वैट में भी पेट्रोल पर 3 रूपए 40 पैसे प्रति लीटर और डीजल पर 3 रूपए 90 पैसे स्वतः कम हो जाएंगे. समस्त आर्थिक चुनौतियों के बावजूद राज्य सरकार प्रदेश की जनता को राहत देने के उद्देश्य से राज्य के राजस्व में होने वाली करीब 3500 करोड़ रूपए की अतिरिक्त हानि को भी वहन करने के लिए तैयार है.

प्रदेश में आज के हिसाब से कितनी राहत ?

केंद्र सरकार के बाद प्रदेश की गहलोत सरकार ने भी आखिरकार पेट्रोल और डीजल पर कीमतें कम करने का फैसला लिया. पेट्रोल पर 4 रुपये प्रति लीटर की कमी के बाद प्रदेश में पेट्रोल के दाम आज रात 12 बजे के बाद लगभग 107.10 रुपए प्रति लीटर हो जाएंगे. वहीं डीजल पर 5 रुपये प्रति लीटर की कमी के बाद डीजल के दाम लगभग 90.71 रुपए प्रति लीटर हो जाएंगे. मौजूदा समय में प्रदेश में पेट्रोल 111.10 रुपए प्रति लीटर और डीजल के दाम 95.71 रुपए प्रति लीटर बने हुए हैं.

Last Updated :Nov 16, 2021, 10:57 PM IST
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