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Rajasthan assembly: सदन में नाराज कटारिया ने अधिकारियों को कहा 'राजा हरिश्चंद्र की संतान' तो राठौड़ बोले आज 'जन' तो बेकार और तंत्र हुआ मजबूत

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Published : Mar 15, 2022, 4:01 PM IST

Opposition Leader in Rajasthan Assembly Gulabchand Kataria
राजस्थान विधानसभा बजट सत्र गुलाबचंद कटारिया का बयान

राजस्थान विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया (Opposition Leader Gulabchand Kataria raised questions) ने राज्य बजट में घोषित सड़क निर्माण और मरम्मत के तीन सदस्यीय कमेटी में विधायकों को शामिल नहीं करने का मामला उठाया. उन्होंने कहा कि सरकार विधायकों की अनदेखी कर रही है.

जयपुर. राज्य बजट में घोषित सड़क निर्माण और मरम्मत के तीन सदस्यीय अधिकारियों की समिति में विधायक को शामिल नहीं करने का मामला मंगलवार को विधानसभा में गूंजा. नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया (Opposition Leader Gulabchand Kataria raised questions) ने यह मामला सदन में उठाते हुए सरकार पर विधायकों की अनदेखी का आरोप लगाया. इस दौरान कटारिया ने अधिकारियों को राजा हरिश्चंद्र की संतान बता दिया तो राठौड़ ने यह कह दिया कि आज 'जन' तो बेकार हो गया और तंत्र मजबूत हो रहा है.

सदन में यह मामला शून्यकाल में स्थगन के जरिए कटारिया ने उठाया और आसन पर मौजूद विधानसभा अध्यक्ष डॉ सीपी जोशी से इस मामले में विधायकों को संरक्षण और सुरक्षा देने की मांग की. कटारिया ने कहा कि बजट में मुख्यमंत्री ने सड़कों की मरम्मत पर सड़क और मिसिंग लिंक के लिए हर विधानसभा में 10 करोड़ की राशि तो स्वीकृत कर दी. लेकिन 10 मार्च को प्रमुख शासन सचिव ने एक आदेश निकाला और इस राशि से जिन सड़कों की रिपेयरिंग और निर्माण कराना है उसके चयन के लिए 3 सदस्य कमेटी बना दी. कटारिया ने कहा कमेटी में जिला कलेक्टर, अधीक्षण अभियंता सहित तीन अधिकारियों को शामिल किया गया है, लेकिन विधायक को इसमें शामिल नहीं किया गया.

कटारिया ने कहा कलेक्टर को तो अपने जिले के सभी गांव के नाम तक नहीं मालूम होंगे. जबकि विधायक जनप्रतिनिधि होता है और वो अपने क्षेत्र की जानकारी रखता है. उसी के आधार पर सड़कों के लिए प्रस्ताव देता है जबकि काम तो विभाग और अधिकारियों को ही करना पड़ता है. बावजूद इसके इस कमेटी में विधायकों को शामिल नहीं करके उनका अपमान किया गया है. कटारिया ने कहा इस आदेश से ऐसा लगता है कि हम जनप्रतिनिधि तो बायस्ड हैं और इन 'राजा हरिश्चंद्र की संतान' के प्रस्ताव सही होंगे. कटारिया ने यह भी साफ कर दिया कि हम इसे हरगिज बर्दाश्त नहीं करेंगे.

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जन हुआ बेकार, तंत्र हो रहा मजबूतः इस मामले में प्रतिपक्ष के उपनेता राजेंद्र राठौड़ ने कहा कि मुख्यमंत्री ने बजट में जब यह घोषणा की तो हमें ताली बजाने के लिए कहा. लेकिन अब प्रोटोकॉल में मुख्य सचिव से ऊपर हम विधायकों को ही इस कमेटी में शामिल नहीं किया गया. राठौड़ ने कहा आईएएस अधिकारी एक बार परीक्षा देकर पास होता है. लेकिन हम हर 5 साल में परीक्षा देकर यहां पहुंचते हैं. मतलब हम जनता के जुड़े हुए जनप्रतिनिधि हैं. लेकिन इस आदेश से ऐसा लग रहा है कि 'जन' तो बेकार हो गया और तंत्र मजबूत होता जा रहा है.

जोशी ने दी ये व्यवस्थाः इस पर आसन पर मौजूद स्पीकर सीपी जोशी ने कहा कि मैं सरकार से अपेक्षा करूंगा कि सभी विधायक जनों से उनके क्षेत्र से जुड़ी सड़कों की रिपेयरिंग और निर्माण की अनुशंसा लेकर ही सड़क के काम को संपादित करें.

राठौड़ ने अधिकारियों की गैरमौजूदगी का उठाया मामला तो डोटासरा ने किया कटाक्षः इस घटनाक्रम के कुछ ही देर बाद शून्यकाल में जब सदन में अधिकारियों की दीर्घा में अधिकतर अधिकारी नदारद रहे तो प्रतिपक्ष के उपनेता राजेन्द्र राठौड ने खड़े होकर सभापति जेपी चंदेलिया का ध्यान इस ओर आकर्षित किया. इस बीच सदन में मौजूद कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने राजेंद्र राठौड़ को पिछली सरकार का हवाला देकर एक कटाक्ष किया जिस पर सदन में गहमागहमी का माहौल हुआ. हालांकि सभापति ने इसे अंकित ना होने की व्यवस्था दी.

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