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Aja Ekadashi 2021: अजा एकादशी के निर्जला व्रत से मिलती है पापों से मुक्ति, जानें कब है शुभ मुहूर्त और पारण का समय

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Published : Sep 3, 2021, 12:06 AM IST

इस बार अजा एकादशी 3 सितंबर यानि शुक्रवार को मनाई जाएगी. हिंदू धर्म में अजा एकादशी (Aja Ekadashi 2021) का काफी महत्व है. इस दिन श्रद्धालु निर्जला या फलाहार व्रत रखते हैं.

Aja Ekadashi 2021
अजा एकादशी 2021

हैदराबाद। हिंदू धर्म में अजा एकादशी (Aja Ekadashi 2021) का काफी महत्व है. इस बार अजा एकादशी 3 सितंबर यानि शुक्रवार को मनाई जाएगी. इस दिन श्रद्धालु निर्जला या फलाहार व्रत रखते हैं. एकादशी व्रत में भगवान विष्णु की पूजा (Lord Vishnu Worship) की जाती है. यह व्रत पापों का नाश करने वाला होता है, लेकिन एकादशी व्रत के नियमों (Aja Ekadashi Vrat ke Niyam) का सख्ती के साथ पालन किये जाना बहुत जरूरी होता है.

अजा एकादशी मुहूर्त 2021 (Aja Ekadashi 2021 Muhurat)
एकादशी तिथि प्रारम्भ : 2 सितम्बर, 06:21 बजे सुबह
एकादशी तिथि समाप्त : 3 सितम्बर, 07:44 बजे सुबह

एकादशी व्रत की पूजा विधि (Aja Ekadashi Puja Vidhi)
एकादशी की पूजा में सुबह उठकर सबसे पहले स्नान करें और साफ कपड़े पहनें. इसके साथ ही विष्णु भगवान का ध्यान करें. इसके बाद पूर्व दिशा की तरफ एक पटरे पर पीला कपड़ा बिछाकर भगवान विष्णु की फोटो को स्थापित करें. धूप दीप जलाएं और मिट्टी का कलश स्थापित करें. भगवान के लिए फल-फूल, पान, सुपारी, नारियल, लौंग आदि अर्पित करें. स्वयं भी पीले आसन पर बैठें. इसके बाद ॐ अच्युताय नमः मन्त्र का 108 बार जाप (Aja Ekadashi Mantra) करें. पूरा दिन निराहार रहकर शाम के समय अजा एकादशी व्रत की कथा (Aja Ekadashi Vrat Katha) सुनें और फलाहार करें.

क्या होता है पारण? (Aja Ekadashi Paran Kya Hai)
एकादशी के व्रत में पारण का विशेष महत्व बताया गया है. किसी भी उपवास के दूसरे दिन किया जाने वाला पहला भोजन पारण कहलाता है. इसे भी नियम पूर्वक करना जरूरी होता है. व्रत के दिन अगर ठीक रीति से पारण न करें, तो व्रत का फल पूरा नहीं मिलता. जन्माष्टमी के व्रत को छोड़कर बाकि सभी व्रतों का पारण दिन में किया जाता है.

कैसे किया जाता है पारण? (Aja Ekadashi Paran Kaise Karen)
एकादशी व्रत को खोलने के लिए उसके सही समय का पता होना भी जरूरी है. व्रत का पारण करने के लिए सुबह का समय सबसे उत्तम है. द्वादशी तिथि पर सुबह जल्दी उठकर स्नान आदि कर लें. इसके बाद भगवान विष्णु की पूजा करें. पूजा के दौरान भगवान विष्णु को सच्चे दिल से याद करें और व्रत के दौरान की गई भूलों की क्षमा मांगे. पूजा करने के बाद ब्राह्मण को खाना खिलाएं और अपना व्रत खोलें.

पारण में क्या खाएं (Aja Ekadashi Paran main kya khaye)
पारण का भोजन सात्विक होना चाहिए. पारण के भोजन में प्याज, लहसुन, मांस आदि का प्रयोग नहीं करना चाहिए. इतना ही नहीं, पारण कांसे के बर्तन में नहीं करना चाहिए.

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अजा एकादशी पारण समय (Aja Ekadashi Paran ka Shubh Samay)

3 सितंबर को पड़ने वाली अजा एकादशी का व्रत खोलने के लिए पारण का समय 4 सितंबर 2021, शनिवार को सुबह 5:30 से सुबह 8:23 तक है.

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