शिमला: वैश्विक महामारी कोरोना वायरस की वजह से प्रदेश में लॉकडाउन चल रहा है. सभी तरह की गतिविधियों पर प्रदेश में रोक लगाई गई है. किसी भी तरह के कोई आयोजन प्रदेश में नहीं किए जा रहे हैं.
ऐसे में प्रदेश में साहित्य और कला से जुड़ी गतिविधियों पर भी पूरी तरह से रोक लग चुकी है, लेकिन अब इसका तोड़ भाषा कला एवं संस्कृति विभाग ने निकाल लिया है. कोविड-19 के संकट के बीच में भी साहित्य और कला से जुड़ी गतिविधियां की जा सके और कलाकारों को एक प्लेटफार्म मुहैया करवाया जा सके इसके लिए ऑनलाइन माध्यमों का सहारा विभाग की ओर से लिया जा रहा है.
भाषा कला एवं संस्कृति विभाग टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल करते हुए ऑनलाइन ही अपनी गतिविधियां कर रहा है. विभाग की ओर से सोशल मीडिया का इस्तेमाल ऑनलाइन इवेंट करवाने के लिए किया जा रहा है.
अभी हाल ही में भाषा कला एवं संस्कृति विभाग की ओर से एक ऑनलाइन कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया. यह कवि सम्मेलन कोरोना योद्धाओं के लिए समर्पित किया गया.
इस इवेंट में प्रसिद्ध कवियों ने भाग लिया और ऑनलाइन ही अपना कविता पाठ किया. इसी तरह से आगे भी भी ऑनलाइन माध्यम से ही अपनी गतिविधियों को विभाग जारी रखने वाला है.
जब तक कि हालात सामान्य नहीं होते हैं और सामान्य तौर पर साहित्य और कला से जुड़े आयोजनों को करवाने की अनुमति सरकार की ओर से नहीं दी जाती है, तब तक इस संकट के बीच में साहित्य गतिविधियों को जारी रखा जाए, इसके लिए ऑनलाइन माध्यम का सहारा लेकर ही इन गतिविधियों को विभाग ने जारी रखने का निर्णय लिया है.
भाषा कला एवं संस्कृति विभाग की निदेशक कुमुद शर्मा ने बताया कि कोविड-19 के संकट के समय में विभाग ने अपनी साहित्य और कला से जुड़ी गतिविधियों को जारी रखने के लिए एक नया प्लान तैयार किया है. विभाग की ओर से ऑनलाइन ही सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का सहारा लेकर साहित्य और कला से जुड़ी गतिविधियां करवाई जा रही हैं.
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