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Rohini Court shootout: तिहाड़ जेल में बढ़ी गैंगवार की आशंका, लॉरेंस बिश्नोई भेजा गया राजस्थान

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Published : Sep 25, 2021, 2:05 PM IST

रोहिणी कोर्ट में हुई गैंगवार को लेकर तिहाड़ जेल में भी खलबली मची हुई है. यहां से नामी बदमाशों को दूसरी जेलों में शिफ्ट किया जा रहा है, ताकि जेल के भीतर कोई बड़ी घटना ना हो.

Tihar Jail
Tihar Jail

नई दिल्ली: रोहिणी कोर्ट में हुई गैंगवार को लेकर तिहाड़ जेल में भी खलबली मच गई है. तिहाड़ जेल में बंद नामी बदमाशों को दूसरी जेलों में शिफ्ट किया जा रहा है, ताकि जेल के भीतर कोई बड़ी घटना न हो. सूत्रों का कहना है तिहाड़ जेल में बंद लॉरेंस बिश्नोई और उसके साथी संपत नेहरा को राजस्थान की जेल में शिफ्ट कर दिया गया है.

पुलिस सूत्रों के अनुसार मारा गया गैंगस्टर गोगी लॉरेंस बिश्नोई और काला जठेड़ी से जुड़ा हुआ था. यहीं कारण है कि गोगी की हत्या के बाद जेल में गैंगवार की आशंका जताई जा रही है. इसके चलते तिहाड़ जेल द्वारा सबसे पहले कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई और उसके साथी संपत नेहरा को तिहाड़ जेल से राजस्थान जेल भेज दिया गया है.

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बता दें कि तिहाड़ जेल के डीजी संदीप गोयल ने जेल अधिकारियों को निर्देश जारी किए हैं जिसमें गोगी की हत्या के बाद खासतौर से अलर्ट रहने को कहा गया है. उन्होंने इन गैंग के सदस्यों के बीच झगड़े की आशंका को ध्यान में रखते हुए जेल अधिकारियों को सभी गैंग के बदमाशों को अलग-अलग रखने के निर्देश दिए हैं. संदीप गोयल की तरफ से कहा गया है कि जेल में तैनात सभी कर्मचारियों की ब्रीफिंग होनी चाहिए. जेल के भीतर अधिक से अधिक संख्या में जेल कर्मचारियों की तैनाती की जाए. सुरक्षा को लेकर जो भी सामान जेल कर्मचारियों के पास होते हैं वह बेहतर कंडीशन में होने चाहिए. अगर किसी भी समय हालात बेकाबू होते हैं तो इसके लिए अतिरिक्त पुलिस बल को तैयार रखना चाहिए.

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तिहाड़ जेल के डीजी संदीप गोयल ने कहा कि उन्होंने जेल अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वह अलग-अलग गैंग और उनसे जुड़े हुए लोगों की सूची तैयार करें. एक ही समय पर इन लोगों को जेल से बाहर न निकाला जाए. अदालत या अस्पताल ले जाते समय बड़ी संख्या में इनके साथ सुरक्षाकर्मी होने चाहिए. वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को इस बारे में अवगत कराना चाहिए कि उन्हें पेशी पर या अस्पताल ले जाया जा रहा है. ऐसे कैदियों की जेल के बाहर जाने की कम से कम संभावना होनी चाहिए.

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डीजी संदीप गोयल की तरफ से जारी किए गए आदेश में कहा गया है कि जेल के भीतर जब कैदी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग, कैंटीन, परिजनों को कॉल करने के लिए आदि जगह जाए तो वहां पर सुरक्षा के कड़े प्रबंध होने चाहिए. इसके अलावा उन्होंने जेल में भी इंटेलिजेंस नेटवर्क पर ध्यान देने को कहा है, ताकि अंदर चल रही गतिविधियों की जानकारी उन्हें मिल सके. सभी सुपरिटेंडेंट को ज्यादा से ज्यादा समय जेल में बिताने के लिए कहा गया है ताकि इस तरह की घटना वहां न हो.

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