ETV Bharat / city

आजादी के लिए खूब लड़ी थी ये क्रांतिकारी भाभी, अंग्रेज गवर्नर पर चला दी थी गोली

author img

By

Published : Aug 15, 2021, 7:04 AM IST

Updated : Aug 15, 2021, 3:22 PM IST

भारत के स्वतंत्रता संग्राम में क्रांतिकारियों की प्रमुख सहयोगी रहीं दुर्गा भाभी का नाता गाजियाबाद से रहा है. उन्होंने जीवन के अंतिम पल गाजियाबाद में बिताए थे. यहां के कन्या वेदिक स्कूल में लड़कियों को शिक्षा देने का भी काम किया था. गाजियाबाद के नवयुग मार्केट में दुर्गा भाभी चौक की स्थापना कर, उनकी प्रतिमा लगवाई गई है.

The great revolutionary Durga Bhabi spent the last moments of her life in Ghaziabad
दुर्गा भाभी चौक

नई दिल्ली/गाजियाबाद: भारत की आजादी के लिए स्वतंत्रता आंदोलन के लंबे संघर्ष में क्रांतिकारियों ने अहम भूमिका निभाई थी. देश को आजाद कराने के लिए क्रांतिकारियों ने सब कुछ न्योछावर कर दिया था. आज आपको एक ऐसी वीरांगना का किस्सा सुनाएंगे, जिन्होंने क्रांतिकारी भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु के साथ कंधे से कंधा मिलाकर आजादी की लड़ाई लड़ी थी.

महान क्रांतिकारी दुर्गा देवी का जन्म इलाहाबाद के शहजादपुर में 7 अक्टूबर 1907 को हुआ था. उन्होंने जीवन के आखिरी पलों में गाजियाबाद में निवास किया और उनका 15 अक्टूबर 1999 को देहांत हुआ. 10 वर्ष की आयु में दुर्गा भाभी का विवाह भगवती चरण वोरा के साथ हुआ था.

महान क्रांतिकारी दुर्गा भाभी ने गाजियाबाद में बिताए थे अपने जीवन के अंतिम पल

भाजपा नेता और पार्षद राजीव शर्मा ने बताया कि दुर्गा भाभी एक बड़ी क्रांतिकारी थीं और उन्होंने स्वतंत्रता आंदोलन में एक अहम भूमिका निभाई थी. स्वतंत्रता आंदोलन में दुर्गा भाभी भगत, सिंह राजगुरु और सुखदेव की सहयोगी रही. उन्होंने जीवन के अंतिम पल गाजियाबाद में बिताए. उन्होंने गाजियाबाद को बहुत कुछ देने का काम किया. गाजियाबाद के कन्या वेदिक स्कूल में लड़कियों को शिक्षा देने का भी काम किया.

राजीव शर्मा बताते हैं कि दुर्गा भाभी के जीवन के अंतिम दिनों में जानकारी मिली कि वह गाजियाबाद में निवास कर रही हैं. दुर्गा भाभी के देहांत के बाद गाजियाबाद में मांग उठी थी कि उनके नाम पर जिले में स्मारक आदि होना चाहिए. इसके बाद गाजियाबाद की नवयुग मार्केट में दुर्गा भाभी चौक की स्थापना कर प्रतिमा लगवाई गई.

ये भी पढ़ें-शौर्यगाथा: बंदूकें बोने वाला बालक और वीर क्रांतिकारी, यहां तस्वीरें बयां करती हैं भगत सिंह की जीवन गाथा

महान क्रांतिकारी लाला लाजपत राय की मौत का बदला लेने के लिए बंबई के गवर्नर हैली को मारने के लिए दुर्गा भाभी ने गोली चलाई थी. दुर्गा भाभी की गोली से गवर्नर हैली तो बच गया था, लेकिन एक अन्य अंग्रेजी हुकूमत का अधिकारी घायल हो गया था.

ये भी पढ़ें-कादीपुर में बलिदान दिवस पर याद किए गए क्रांतिकारी मंगल पांडे

दुर्गा भाभी चौक पर हर साल, उनकी पुण्यतिथि पर विशेष कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है. इसमें समाज के लिए बेहतर कार्य करने वाली महिलाओं को सम्मानित किया जाता है. क्रांतिकारी दुर्गा भाभी के बलिदान की कहानी लोगों तक पहुंचाई जाती है, ताकि राष्ट्रभक्ति, भाईचारा और समर्पण की भावना लोगों में उत्पन्न हो सके.

ये भी पढ़ें-स्वतंत्रता आंदोलन से लेकर मन की बात तक, जानिए 94 साल में कितना बदला रेडियो का सफर ?

Last Updated : Aug 15, 2021, 3:22 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.