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गौशाला यहां बन सकती है 'मौतशाला', दावे हो रहे हैं फेल

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Published : Aug 4, 2019, 12:30 PM IST

दलदल और कीचड़ में रहने को मजबूर गायें

एक तरफ सरकार जहां गाय की सुरक्षा की कसमें खा रही हैं. वहीं तमाम दल और संगठन भी गौ-रक्षा के दावे कर रहे हैं, लेकिन फरीदाबाद की गौशाला की हालत दयनीय बनी हुई है. यहां गायें दलदल में रहने को मजबूर हैं.

नई दिल्ली/फरीदाबाद: जिले के मवई गांव में नगर निगम द्वारा संचालित गौशाला दयनीय हालत में है. इस गौशाला के जिस हिस्से में गायों को रखा गया है, वह जमीन पूरी तरह से दलदली है. यहां रह रही गायें दलदल और कीचड़ में रह रही हैं.

दलदल और कीचड़ में रहने को मजबूर गायें

गायों की दयनीय स्थिति को देखते हुए चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट मोना सिंह ने गौशाला का दौरा किया. साथ ही चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट मोना सिंह ने नगर निगम अधिकारियों को जल्द हालात सुधारने के आदेश दिए.

मौजूदा समय में गौशाला में गाय रखने की क्षमता 1250 है, जबकि इस गौशाला में इस समय करीब 1850 गाय हैं. गौशाला के प्रधान ने बताया कि गौशाला के लिए नगर निगम भरपूर बजट नहीं दे रहा है. करीब 6 महीने से नगर निगम ने गौशाला को अनुदान राशि भी नहीं दी है.

Intro:एंकर- फरीदाबाद के मवई गांव में नगर निगम द्वारा संचालित गौशाला दयनीय हालत में है। इस गौशाला के जिस हिस्से में गायों को रखा गया है। वह जमीन पूरी तरह से दलदली है और यहां गायों की हालत दयनीय बनी हुई है गायों की दयनीय हालात को देखते हुए चीफ ज्यूडिशल मजिस्ट्रेट मोना सिंह ने गौशाला का दौरा किया और निगम अधिकारियों को जल्द हालात सुधारने के आदेश दिए ।

Body:Vo1- फरीदाबाद के मवई गांव में नगर निगम के सहयोग से चल रही गौशाला इन दिनों दयनीय हालत में है। जो यह नजारा आप देख रहे हैं उसमें साफ देखा जा सकता है कि किस तरह से गाय दलदली जमीन पर घूमने को मजबूर है। दलदली जमीन में कई बार यह गाय धस भी जाती है। चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट और डिस्ट्रिक्ट लीगल सर्विस अथॉरिटी की सचिव मोना सिंह द्वारा इस गौशाला के औचक दौरे के बाद यह मामला सामने आया। मोना सिंह ने संबंधित विभागों को इन समस्याओं को दूर करने के आदेश तक जारी कर दिए।

बाइट- मोना सिंह, चीफ ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट एवं सचिव, डालसा

Vo2- इस गौशाला में सिर्फ दलदली जमीन की ही समस्या नहीं बल्कि इस गौशाला में क्षमता से ज्यादा गाय भी रखी गई हैं। इसके अलावा लगभग पिछले 6 महीने से नगर निगम ने इस गौशाला को दिए जाने वाले अनुदान की राशि भी नहीं दी है, जिस कारण इस गौशाला के प्रधान कई बार नगर निगम के चक्कर तक काट चुके हैं।
बाइट- वीरेंदर मुखीजा, प्रधान, गौ शाला, मवई गांव।Conclusion:फ़रीदाबाद। फरीदाबाद के मवई गांव में नगर निगम द्वारा संचालित गौशाला दयनीय हालत में है। इस गौशाला के जिस हिस्से में गायों को रखा गया है। वह जमीन पूरी तरह से दलदली है और यहां गायों की हालत दयनीय बनी हुई
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