नई दिल्ली: दिल्ली विधानसभा में मानसून से पहले निगम की फैली अव्यवस्था को लेकर चर्चा की गई. उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि दिल्ली सरकार के दायरे में पीडब्ल्यूडी के दो हजार किमी नाले आते हैं. इस सदन में बैठे लोगों में भी भ्रम है कि कौन सा नाला डीडीए का है, एमसीडी का, या कौनसा पीडब्ल्यूडी का है. इस दौरान उन्होंने कहा कि मानसून से पहले एमसीडी या पीडब्ल्यूडी ने नाले की सफाई को छोड़ा तो उस पर सख्त कार्रवाई की जाएगी.
उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि समस्या यही है कि इस तरह से नालों की जातियां बनी हुई हैं. उन्होंने कहा कि अगर पीडब्ल्यूडी या एमसीडी ने किसी भी नाले को मानसून से पहले बिना सफाई के छोड़ा है और लिख दिया है कि सफाई हो चुकी है, तो यह बहुत बड़ा अपराध होगा. इसके अलावा उन्होंने कहा कि अगर पीडब्ल्यूडी के किसी अधिकारी ने ऐसा किया होगा तो हम सख्त कार्रवाई करेंगे.
उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि अगर किसी ठेकेदार ने गड़बड़ी की हो, मोटर में गड़बड़ी छोड़ी हो तो मैं उस ठेकेदार को टांग दूंगा. यह केजरीवाल सरकार है, गलत तरीके से काम करने वाले व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा.
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