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उत्तराखंड के जोशीमठ में भू धंसाव पर CM धामी की हाई लेवल मीटिंग, ज्योर्तिमठ में भी आई दरारें

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Published : Jan 6, 2023, 8:27 PM IST

Updated : Jan 6, 2023, 8:33 PM IST

उत्तराखंड के जोशीमठ में दरारों ने सरकार की चिंता बढ़ा दी है. जोशीमठ में उत्पन्न हालात की समीक्षा के लिए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सचिवालय में उच्च स्तरीय बैठक की. इस बैठक में यह निर्णय लिया गया कि जिनके घर रहने लायक नहीं बचे हैं, ऐसे परिवार को सरकार चार हजार रुपए प्रतिमाह देगी. साथ ही उन्हें तत्काल सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट कर लिया जाएगा. उधर, दरार की चपेट में ज्योर्तिमठ भी आ गया है. यहां मठ की दीवारों पर भी दरारें दिखने लगी है.

CM Pushkar Dhami holds high level meeting
CM धामी की हाई लेवल मीटिंग

देहरादूनः जोशीमठ में भू धंसाव के मामले को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में हाई लेवल मीटिंग हुई. बैठक में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने संबंधित अधिकारियों से जोशीमठ की स्थितियों की विस्तृत जानकारी ली. मुख्य रूप से सचिव आपदा प्रबंधन, आयुक्त गढ़वाल मंडल और जिलाधिकारी से सीएम ने जोशीमठ की जानकारी ली. वहीं, ज्योर्तिमठ की दीवारों पर भी दरारें आ गई हैं. जिसपर ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने चिंता जताई है.

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि तत्काल प्रभाव से सुरक्षित स्थान पर एक बड़ा अस्थायी पुनर्वास केंद्र बनाया जाए. ताकि जोशीमठ शहर के लोगों को वहां पर शिफ्ट कराया जा सके. इतना ही नहीं मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि जोशीमठ में सेक्टर और जोनल वार योजना बनाई जाए. इसके अलावा तत्काल डेंजर जोन को खाली करवाया जाए, ताकि कोई अनहोनी घटना न हो सके.

वहीं, सीएम धामी ने जोशीमठ में अविलंब आपदा कंट्रोल रूम स्थापित करने के निर्देश दिए हैं. बैठक में मुख्य सचिव, सचिव आपदा प्रबंधन, सचिव सिंचाई, पुलिस महानिदेशक, आयुक्त गढ़वाल मंडल, पुलिस महानिरीक्षक एसडीआरएफ, जिलाधिकारी चमोली सहित अन्य अधिकारी मौजूद हैं. इसके अलावा एनडीआरएफ की एक टीम भी वहां भेजी गई है.
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सीएम का कल जोशीमठ को दौरा: वहीं, जोशीमठ की स्थितियों का जायजा लेने के लिए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी कल यानी शनिवार 7 जनवरी को सुबह 11:55 बजे जोशीमठ के लिए रवाना होंगे. तय कार्यक्रम के अनुसार देहरादून के पुलिस लाइन से हेलीकॉप्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री जोशीमठ के लिए रवाना होंगे. दोपहर 12:50 बजे मुख्यमंत्री जोशीमठ पहुंचेंगे, जहां सीएम जोशीमठ की स्थितियों का धरातलीय निरीक्षण करेंगे. इसके बाद दोपहर 2:30 बजे के करीब मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी जोशीमठ से देहरादून के लिए रवाना होंगे.

बैठक में सीएम धामी को अधिकारियों की तरफ से जानकारी दी गई है कि जोशीमठ नगर पालिका क्षेत्र में 600 से ज्यादा घरों में दरारें आई हैं. इसके अलावा अब तक 38 परिवारों को अस्थाई रूप से सुरक्षित स्थानों पर विस्थापित किया गया है. क्षेत्र में कई इलाकों में लगातार दरारें बढ़ रही है. ऐसे में जल्द ही बड़ी संख्या में जरूरतमंद परिवारों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया जाएगा. बेघर हुए परिवारों को चार हजार रुपए प्रतिमाह दिया जाएगा, ताकि वो किराए पर सुरक्षित स्थानों में रह सकें.
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वहीं, एसडीआरएफ आईजी रिद्धिम अग्रवाल ने बताया कि जोशीमठ एसडीआरएफ को भी तैनात किया गया है. एसडीआरएफ के करीब 50 जवान पहले दल के तौर पर जोशीमठ में तैनात हैं. इसके साथ ही एसडीआरएफ की आसपास की चार पोस्टों को अलर्ट रहने के लिए कहा गया है. एक घंटे के अंदर सभी जवान राहत और बचाव कार्य में जुट जाएंगे. जोशीमठ में करीब डेढ़ सौ एसडीआरएफ के जवान किसी भी परिस्थिति से निपटने के लिए अलर्ट मोड पर रखे गए हैं.

ज्योर्तिमठ की दीवारों पर भी आई दरारेंः जोशीमठ में लगातार भू धंसाव (Landslide in Joshimath) को लेकर संत समाज भी चिंतित हैं. ज्योतिष पीठ के शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने भी जोशीमठ के हालात पर चिंता जताई है. अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा जोशीमठ में जो भी हालात हैं, वह चिंताजनक हैं. यही कारण है कि उन्होंने अपने सभी कार्यक्रमों को रद्द कर दिया है. अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा वे खुद हालात का जायजा लेने के लिए जोशीमठ जाएंगे.

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा उन्होंने राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, गृहमंत्री, मुख्यमंत्री को जोशीमठ के हालात के बारे में पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने जोशीमठ के ऐतिहासिक महत्व को देखते हुए सकारात्मक पहल करने की मांग की है. उन्होंने जोशीमठ को नुकसान पहुंचाने वाले कारणों का पता लगाने और जोशीमठ जैसे ऐतिहासिक नगर को बचाने की अपील भी की है. स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद फिलहाल कल अपने जोशीमठ आश्रम के लिए हरिद्वार से रवाना होंगे.

स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने बताया स्वयं ज्योर्तिमठ में बहुत सी दीवारों में दरारें आ गई हैं. जमीन भी अपनी जगह छोड़ रही है. इतना ही नहीं नरसिंह भगवान के मंदिर पर भी दीवारों में दरारें आने लग गई हैं. वहीं, सम्मेद शिखर को पर्यटक स्थल बनाने के मामले पर स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा बदरीनाथ और हमारे ज्योतिष मठों को क्यों पर्यटक स्थल बनाया जा रहा है? यह देवभूमि है, यहां पर धन की पूजा होती है. धर्म स्थलों को पर्यटक स्थल नहीं बनाया जाता.
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वहीं, मिश्रा समिति की रिपोर्ट पर बोलते हुए स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा जब कोई विद्वान आपकी सुरक्षा के लिए कोई बात या फिर अध्ययन करके किसी चीज को समाज के सामने रखता है तब उसकी बातों को समझा नहीं जाता. उसे हंसी में उड़ा दिया जाता है. उन्हें विकास के विरोधी बताया जाता है, बल्कि विकास के नाम पर जो विनाश होने की संभावनाएं होते हैं उस विकास के विरोधी हम हैं.

Last Updated : Jan 6, 2023, 8:33 PM IST
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