ETV Bharat / bharat

उत्तराखंड में ड्रोन टेक्नोलॉजी का सफल ट्रायल, 40 मिनट में देहरादून से उत्तरकाशी पहुंची वैक्सीन

author img

By

Published : Jan 11, 2023, 9:16 AM IST

uk deh dron ke jariye pahuchi davai uk
उत्तराखंड में ड्रोन टेक्नोलॉजी का सफल ट्रायल

उत्तराखंड का ज्यादातर हिस्सा पहाड़ी है. अधिकांश गांवों तक परिवहन की सुविधा नहीं है. लोगों को कई किलोमीटर पैदल चलना पड़ता है. ऐसे में इन गांवों में स्वास्थ्य जैसी जरूरी सुविधाएं पहुंचाने में दिक्कत आती है. उत्तराखंड के स्वास्थ्य विभाग ने राज्य के पहाड़ी इलाकों तक दवाइयां पहुंचाने के लिए ड्रोन का प्रयोग शुरू किया है. कैसा रहा पहला ट्रायल, ये पूरी खबर पढ़िए.

देहरादून: उत्तराखंड के गांवों में रहने वाले लोगों को अब मेडिकल सुविधाओं के लिए परेशान होने की जरूरत नहीं है. अब बीमार के घर तक दवाइयां पहुंच जाएंगी. वो भी बहुत थोड़े समय में. राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने सूचना प्रौद्योगिकी का लाभ उठाते हुए ड्रोन की मदद मदद से ग्रामीण इलाकों में वैक्सीन पहुंचाने का ट्रायल किया. स्वास्थ्य द्वारा ड्रोन से किया गया ये ट्रायल सफल साबित हुआ है.

देहरादून से 40 मिनट में उत्तरकाशी पहुंचा ड्रोन: राज्य की भौगोलिक परिस्थितियों को देखते हुए दवाइयों को समयबद्ध तरीके से पहुंचाने के लिए स्वास्थ विभाग ने उत्तराखंड में ड्रोन टेक्नोलॉजी का सफल ट्रायल पूरा कर कर लिया है. मंगलवार को ड्रोन के जरिए 40 मिनट में देहरादून से सीमांत जिले उत्तरकाशी तब वैक्सीन भेजी गई. ड्रोन के द्वारा उत्तरकाशी के लिए 400 डोज वैक्सीन पहुंचाई गईं.

ड्रोन ने पहुंचाई 400 डोज वैक्सीन: उत्तराखंड के सचिव चिकित्सा स्वास्थ्य और चिकित्सा शिक्षा विभाग डॉक्टर आर राजेश कुमार ने बताया कि विभाग द्वारा ड्रोन टेक्नोलॉजी का उपयोग करके उत्तरकाशी तक महज 40 मिनट में वैक्सीन की डोज सफलतापूर्वक पहुंचाई गई है. उन्होंने बताया कि प्रतिरक्षण कार्यक्रम के तहत ड्रोन के माध्यम से डिप्थीरिया टेटनेस और पेंटा की 400 डोज सीएमओ कार्यालय उत्तरकाशी तक पहुंचाई गईं.

देहरादून से 140 किलोमीटर दूर है उत्तरकाशी: चौंकाने वाली बात ये है कि सड़क मार्ग से इस दूरी को पूरा करने में 5 से 6 घंटे का समय लग जाता है. उन्होंने बताया कि राज्य के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी आगामी दिनों में सुदूरवर्ती इलाकों में ड्रोन के माध्यम से कोविड वैक्सीन को पहुंचाने के कार्य का शुभारंभ करने जा रहे हैं. उन्होंने यह भी बताया कि स्वास्थ विभाग द्वारा इनफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी डेवलपमेंट एजेंसी के सहयोग से दवाइयों को उत्तरकाशी पहुंचाया गया है.

उत्तराखंड में सड़क यातायात है लाइफ लाइन: स्वास्थ्य सचिव डॉक्टर आर राजेश कुमार ने बताया कि उत्तराखंड में दवा या वैक्सीन पहुंचाने के लिए सड़क मार्ग का उपयोग किया जाता है. इसमें काफी समय लगता है. कभी-कभी आपदा के कारण भी दवा पहुंचाने में परेशानी होती है. स्वास्थ्य विभाग का प्रयास है कि दवा वितरण में किसी भी प्रकार की देरी न हो और समय पर सभी चिकित्सा इकाइयों व ऐसे स्थान व गांव, जहां सड़क मार्ग की सुविधा नहीं है वहां भी दवाइयां, वैक्सीन उपलब्ध हों.
ये भी पढ़ें: ऋषिकेश एम्स में फरवरी से शुरू होगी हेली एंबुलेंस सेवा, ड्रोन से भेजी जाएंगी दवाएं

ड्रोन से दुर्गम इलाकों तक पहुंचेगी स्वास्थ्य सुविधा: निकट भविष्य में दुर्घटनाग्रस्त, आपदा या अन्य किसी विकट स्थिति पर समयान्तर्गत प्राथमिक उपचार की दवाएं व अन्य सामाग्री पहुंचाने में ड्रोन तकनीक मील का पत्थर साबित होगी. कोविड के दृष्टिगत भी ड्रोन तकनीक काफी कारगर साबित होगी. स्वास्थ्य विभाग प्रदेश के सभी चिकित्सा इकाइयों में वैक्सीन की उपलब्धता बनाए रखेगा, ताकि पात्र लाभार्थियों का टीकाकरण सुलभ तरीके से पूर्ण हो.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.