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आज है हनुमान जयंती, साढ़े साती, मंगल दोष और कष्टों से मुक्ति के लिए करें उपाय

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Published : Apr 16, 2022, 2:34 AM IST

Hanuman jayanti
Hanuman jayanti

16 अप्रैल को हनुमान जयंती मनाई जा रही है. चैत्र शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा के दिन हनुमानजी का जन्म हुआ था. इस तिथि को दिन हनुमानजी की पूजा जीवन के कई कष्टों से मुक्ति दिलाती है. माना जाता है कि हनुमानजी सदैव चिरंजीव हैं और आज भी अपने भक्तों का कष्ट हरते हैं. जानिए कष्टों से मुक्ति के उपाय.

नई दिल्ली : हनुमान जयंती के दिन गजब का संयोग है. शनिवार के दिन हनुमान जी की अराधना से शनि दोष दूर होते हैं. विख्यात कुण्डली विश्ल़ेषक अनीष व्यास ने बताया कि जिन लोगों की कुंडली में शनि अशुभ स्थिति में हैं या फिर शनि की साढ़ेसाती चल रही है, उन लोगों को हनुमान जी की पूजा विधि करना चाहिए. ऐसा करने से शनि ग्रह से जुड़ी दिक्कतें दूर हो जाती है. हनुमान जी को मंगलकारी कहा गया है, इसलिए इनकी पूजा जीवन में मंगल लेकर आती हैं.

मंगल दोष के लिए उपाय का दिन है हनुमान जयंती : जिन जातकों की कुंडली में मंगल दोष है, वह हनुमान जयंती के दिन विशेष उपाय करें. पूरे दिन व्रत रखें और लाल वस्त्र पहनकर घर में हनुमानजी की विधिवत पूजा करें. पूजन के दौरान 'ओम् भोमाय नमः' और 'ओम् अंगारकाय नमः मंत्र का जाप करें. हनुमान चालीसा, बजरंग बाण और सुंदरकांड का पाठ करें. हनुमान मंदिर में जाकर हनुमानजी को लाल सिंदूर चढ़ाएं और लाल मसूर का दान करें. इस विधि से मंगल दोष का असर कम हो जाएगा.

चैत्र माह की शुक्ल पक्ष पूर्णिमा तिथि को हनुमान जयंती मनाई जाती है. पूर्णिमा तिथि शनिवार सुबह 02:25 से शुरू होगी, जो रात्रि 12:24 मिनट पर समाप्त होगी. इस दिन रवि योग, हस्त व चित्रा नक्षत्र भी रहेगा. रवि योग सुबह 05:55 से शुरू होगा, जो रात्रि 08:40 तक रहेगा उसके बाद चित्रा नक्षत्र शुरू होगा. हस्त नक्षत्र सुबह 08:40 बजे तक ही रहेगा. इस साल हनुमान जन्मोत्सव कई शुभ योगों और शुभ मुहूर्त में मनाई जाएगी.

Hanuman jayanti
जातक अपनी राशि के हिसाब से भी करें हनुमानजी की अराधना.

भगवान हनुमान की पूजा विधि: हनुमान जी का जन्म सूर्योदय के समय हुआ था, इसलिए हनुमान जयंती के दिन ब्रह्म मुहूर्त में पूजा करना अच्छा माना गया है. हनुमान जन्मोत्सव के दिन जातक को ब्रह्म मुहूर्त में उठना चाहिए. इसके बाद घर की साफ-सफाई करने के बाद गंगाजल का छिड़काव कर घर को पवित्र कर लें. स्नान आदि के बाद हनुमान मंदिर या घर पर पूजा करनी चाहिए. पूजा के दौरान हनुमान जी को सिंदूर और चोला अर्पित करना चाहिए. मान्यता है कि चमेली का तेल अर्पित करने से हनुमान जी प्रसन्न होते हैं. पूजा के दौरान सभी देवी-देवताओं को जल और पंचामृत अर्पित करें. अब अबीर, गुलाल, अक्षत, फूल, धूप-दीप और भोग आदि लगाकर पूजा करें. सरसों के तेल का दीपक जलाएं. हनुमान जी को विशेष पान का बीड़ा चढ़ाएं. इसमें गुलकंद, बादाम कतरी डालें. ऐसा करने से भगवान की विशेष कृपा आपको मिलती है. हनुमान चालीसा, सुंदरकांड और हनुमान आरती का पाठ करें.

बजरंग बाण का पाठ करें : कष्टों से मुक्ति के लिए बजरंग बाण का पाठ उत्तम माना गया है. माना जाता है कि ईष्ट की दुहाई देने के कारण रामभक्त हनुमान बजरंग बाण का पाठ करने वालों की विपदा खत्म कर देते हैं. अगर आप जीवन में शत्रुओं को उपद्रव से परेशान हैं या असाध्य रोग से पीड़ित हैं तो इसका पाठ करने से लाभ मिलता है. इसके अलावा आर्थिक समस्या, नौकरी की प्रॉब्लम और वैवाहिक जीवन को सुखी बनाने के लिए भी बजरंगबाण का पाठ उत्तम माना गया है. इसके अलावा आप स्वास्थ्य, धन और अन्य समस्याओं से छुटकारा पाने के लिए हनुमान जयंती के दिन बजरंग बाण का पाठ करें. संभव हो तो उसके बाद कुल 40 दिनों का पाठ करें, इससे कष्ट दूर होंगे. अगर आप के पास समय कम है तो इन मंत्रों का जाप कर हनुमानजी की पूजा जरूर करें. ॐ हं हनुमते नम: और ॐ हं हनुमते रुद्रात्मकायं हुं फट् और ॐ नमो भगवते हनुमते नम: का जाप भी कष्टों को दूर करेगा.

Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना जरूरी है कि etvbharat.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.

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