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नीतीश के करीबी मंत्री श्रवण कुमार का बयान- बिहार में घट रही है बेरोजगारी

बिहार में चपरासी की नौकरी के लिए एमए और तकनीकी डिग्रीधारी बेरोजगार आवेदन कर रहे हैं. विधानसभा में चतुर्थवर्गीय पदों पर आवेदन आने के बाद सरकार के मंत्री भी अजीब दलील दे रहे हैं.

मंत्री श्रवण कुमार
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Published : Nov 24, 2019, 6:43 PM IST

पटनाः बिहार में बेरोजगारी का आलम है. चपरासी जैसे पदों पर बड़ी संख्या में उच्च डिग्रीधारी आवेदन करते हैं. विधानसभा में फोर्थ ग्रेड के 166 पदों के लिए ही 5 लाख के आसपास आवेदन आये थे. जिसमें बड़ी संख्या में एमए और तकनीकी डिग्री धारी भी अभ्यर्थी थे. हालांकि सरकार के मंत्री बेरोजगारी पर अपना ही तर्क दे रहे हैं. जहां एक तरफ बीजेपी कोटे से मंत्री बेरोजगारी पर चिंता जता रहे हैं दूसरी तरफ जदयू कोटे से मंत्री बेरोजगारी की बात को नकार रहे हैं.

बिहार में बेरोजगारी की चिंताजनक स्थिति को श्रम संसाधन मंत्री विजय सिन्हा इसे दुखद बताया है. फोर्थ ग्रेड पदों पर बड़े-बड़े डिग्रीधारियों के आवेदन पर कहा कि जो आवेदन करना चाहेंगे उन्हें रोका नहीं जा सकता. विजय सिन्हा ने बताया कि जिसमें प्रतिभा होता है उसका सम्मान सरकारी क्षेत्र के साथ निजी क्षेत्र में भी होता है.

patna
श्रम संसाधन मंत्री विजय सिन्हा

बिहार में निकल रही वैकेंसी
वहीं, ग्रामीण विकास विभाग और संसदीय कार्य मंत्री श्रवण कुमार बिहार में बेरोजगारी की बात को नकारा है. उनका कहना है कि बिहार में बेरोजगारी घट रही है. कई विभागों में वैकेंसी निकल रही है. जिसके पास योग्यता होगी उसे नौकरी मिलेगी. हालांकि इन पदों पर ऊंची डिग्री धारी युवाओं के आवेदन पर मंत्री का कहना है कि किसी को भी आवेदन करने पर रोका नहीं जा सकता है.

ईटीवी भारत संवाददाता की रिपोर्ट

स्थायी और सुविधाएं सरकारी नौकरी का आकर्षण
हालांकि विशेषज्ञों का कहना है कि बिहार में बेरोजगारी है. इसके अलावा सरकारी नौकरी के प्रति युवाओं में आकर्षण भी है. इसके पीछे का करण नौकरी का स्थायी होना और तमाम तरह की सुविधाएं मिलना है. विशेषज्ञ अजय झा ने बताया कि निजी क्षेत्र में रोजगार कम होना भी बिहार में एक बड़ी समस्या है. जिसके कारण सरकारी पदों में बड़े-बड़े डिग्रीधारी युवा आवेदन करते हैं.

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विशेषज्ञ अजय झा

पटनाः बिहार में बेरोजगारी का आलम है. चपरासी जैसे पदों पर बड़ी संख्या में उच्च डिग्रीधारी आवेदन करते हैं. विधानसभा में फोर्थ ग्रेड के 166 पदों के लिए ही 5 लाख के आसपास आवेदन आये थे. जिसमें बड़ी संख्या में एमए और तकनीकी डिग्री धारी भी अभ्यर्थी थे. हालांकि सरकार के मंत्री बेरोजगारी पर अपना ही तर्क दे रहे हैं. जहां एक तरफ बीजेपी कोटे से मंत्री बेरोजगारी पर चिंता जता रहे हैं दूसरी तरफ जदयू कोटे से मंत्री बेरोजगारी की बात को नकार रहे हैं.

बिहार में बेरोजगारी की चिंताजनक स्थिति को श्रम संसाधन मंत्री विजय सिन्हा इसे दुखद बताया है. फोर्थ ग्रेड पदों पर बड़े-बड़े डिग्रीधारियों के आवेदन पर कहा कि जो आवेदन करना चाहेंगे उन्हें रोका नहीं जा सकता. विजय सिन्हा ने बताया कि जिसमें प्रतिभा होता है उसका सम्मान सरकारी क्षेत्र के साथ निजी क्षेत्र में भी होता है.

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श्रम संसाधन मंत्री विजय सिन्हा

बिहार में निकल रही वैकेंसी
वहीं, ग्रामीण विकास विभाग और संसदीय कार्य मंत्री श्रवण कुमार बिहार में बेरोजगारी की बात को नकारा है. उनका कहना है कि बिहार में बेरोजगारी घट रही है. कई विभागों में वैकेंसी निकल रही है. जिसके पास योग्यता होगी उसे नौकरी मिलेगी. हालांकि इन पदों पर ऊंची डिग्री धारी युवाओं के आवेदन पर मंत्री का कहना है कि किसी को भी आवेदन करने पर रोका नहीं जा सकता है.

ईटीवी भारत संवाददाता की रिपोर्ट

स्थायी और सुविधाएं सरकारी नौकरी का आकर्षण
हालांकि विशेषज्ञों का कहना है कि बिहार में बेरोजगारी है. इसके अलावा सरकारी नौकरी के प्रति युवाओं में आकर्षण भी है. इसके पीछे का करण नौकरी का स्थायी होना और तमाम तरह की सुविधाएं मिलना है. विशेषज्ञ अजय झा ने बताया कि निजी क्षेत्र में रोजगार कम होना भी बिहार में एक बड़ी समस्या है. जिसके कारण सरकारी पदों में बड़े-बड़े डिग्रीधारी युवा आवेदन करते हैं.

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विशेषज्ञ अजय झा
Intro:पटना--बिहार में चपरासी की नौकरी के लिये एमए और तकनिकी डिग्रीधारी बेरोजगार आवेदन दे रहे हैं। विधान सभा में ऐसे ही पदों पर आवेदन आया जिसके कारण सरकार पर कई सवाल खड़े हो रहे हैं । बिहार के श्रम संसाधन मंत्री विजय सिन्हा का कहना है या दुखद स्थिति है लेकिन पूरी दुनिया में कंपटीशन का जमाना है कोई आवेदन करना चाहेगा तो कैसे रोक सकते हैं संसदीय कार्य मंत्री पवन कुमार का भी कहना है यदि कोई आवेदन करेगा तो उसे मना नहीं किया जा सकता है लेकिन बिहार सरकार में सभी विभागों में जितिया निकल रही है ऊंची डिग्री धारी यदि टैलेंटेड है तो आवेदन करें जरूर नौकरी होगी।


Body:बिहार में बेरोजगारी का क्या हालात है यह इसी से पता चलता हस कि चपरासी जैसे पदों पर बड़ी संख्या में उच्च डिग्रीधारी आवेदन करने लगते हैं । विधानसभा में फोर्थ ग्रेड के 166 पदों के लिए ही 5 लाख के आसपास आवेदन पहुंच गए थे। और इसमें बड़ी संख्या में एमए और तकनीकी डिग्री धारी भी अभ्यर्थी थे बिहार में नीतीश सरकार 2005 से सत्ता पर काबिज है लेकिन बेरोजगारी की जो स्थिति है वह चिंताजनक बनी हुई है श्रम संसाधन मंत्री विजय सिन्हा भी कहते हैं कि यह दुखद स्थिति है लेकिन जो आवेदन करना चाहेंगे उन्हें रोक कैसे कोइ सकता है। विजय सिन्हा अभी कहते हैं जिसमें प्रतिभा होगी न केवल सरकारी क्षेत्र में बल्कि निजी क्षेत्र में भी सम्मान मिलता है।
बाईट--विजय सिन्हा, श्रम संसाधन मंत्री
वही ग्रामीण विकास विभाग और संसदीय कार्य मंत्री श्रवण कुमार का कहना है बिहार में बेरोजगारी घट रही है सरकार के कई विभागों में रिक्तियां निकल रही है और ऊंची डिग्री धारी में यदि योग्यता होगी तो जरूर उन्हें नौकरी मिलेगी। लेकिन कोई आवेदक चाहे वह एमए और उच्च डिग्री धारी ही क्यों ना हो चतुर्थ वर्ग के पद पर ही आवेदन करना चाहेगा तो कैसे रोका जा सकता है।
बाईट--श्रवण कुमार, मंत्री संसदीय कार्यमंत्री।
हालांकि विशेषज्ञ का कहना है कि बिहार में बेरोजगारी है इसके अलावा सरकारी नौकरी के प्रति लोगों का आकर्षण भी उन्हें ईश्वर खींचता है क्योंकि सरकार में जिस तरह की सुविधाएं और स्थायित्व मिलता है वह कहीं नहीं मिल पाता है। विशेषज्ञ अजय झा का यह भी कहना है निजी क्षेत्र में रोजगार कम होना भी बिहार में एक बड़ी समस्या है और इस कारण इनमें और अनुज डिग्री धारी लो जब भी वैकेंसी आता है तो आवेदन कर देते हैं।
बाईट--प्रो अजय झा, विशेषज्ञ


Conclusion: बिहार बड़ी संख्या में युवक ना केवल तकनीकी शिक्षा और अन्य शिक्षा के लिए बिहार से पलायन करते हैं बल्कि नौकरी के लिए भी बड़ी संख्या में दूसरे राज्यों में पलायन कर रहे हैं सरकार के स्तर पर जरूर चुनावी साल में रिक्तियां निकल रहे हैं लेकिन यह भी सही है कि जितनी रिक्तियां निकल रही है बेरोजगारों के सामने ऊंट के मुंह में जीरा के समान है।
अविनाश, पटना।
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