Alok Mehta Controversial Statement: '10 फीसदी आरक्षण वाले थे अंग्रेजों के दलाल, मंदिरों में बजाते थे घंटी'

author img

By

Published : Jan 22, 2023, 6:00 PM IST

Updated : Jan 22, 2023, 6:30 PM IST

alok mehta

नीतीश सराकर में राजद कोटे के मंत्रियों में विवादित बयान देने की होड़ मची है. शिक्षा मंत्री ने राचरितमानस को लेकर ऐसा बयान दिया कि उसकी लौ अभी तक ठंडी नहीं पड़ी है. सहकारिता मंत्री सुरेंद्र यादव ने सेना से संबंधित भाजपा को लेकर बयान दिया. और, अब आलोक मेहता ने आर्थिक आधार पर मिलने वाले आरक्षण (ईडब्ल्यूएस) में शामिल लोगों के लिए बयान दिया, जिस पर बवाल मचा हुआ है. पढ़िये पूरी खबर

आलोक मेहता का बयान, जिस पर बवाल मचा हुआ है.

पटनाः राजद कोटे के मंत्री आलोक मेहता के बयान पर बवाल मचा है. दरअसल, आलोक मेहता शनिवार को भागलपुर में गोराडीह प्रखंड के सालपुर पंचायत अंतर्गत काशील हटिया मैदान में एक जनसभा को संबोधित कर रहे थे. इस दौरान उन्होंने एक सभा में 10 फीसदी आरक्षण पाने वाले को कथित रूप से अंग्रेजों का दलाल बताया था. उन्होंने कहा था कि ये लोग अंग्रेजों के जमाने में मंदिरों में घंटी बजाते थे. हालांकि, रविवार को उन्होंने अपने इस बयान पर सफाई भी दी. कहा, तोड़ मरोड़ कर पेश किया गया.

अपने बयान पर सफाई देते आलोक मेहता.

इसे भी पढ़ेंः Bihar Politics: 'विकास की बात भूलकर सिर्फ राजनीति करना चाहती है BJP'- मंत्री आलोक मेहता

क्या कहा थाः राजस्व मंत्री आलोक मेहता ने 10 फीसदी आरक्षण पाने वाले को अंग्रेजों का दलाल बताया है. उन्होंने कहा कि ये लोग अंग्रेजों के जमाने में मंदिरों में घंटी बजाते थे. इसी दौरान उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि ‘जगदेव बाबू ने दलित, शोषित, पिछड़े और वंचितों के उत्थान की लड़ाई लड़ी, जिनकी हिस्सेदारी 90 प्रतिशत है. उन्हें समाज में कोई सम्मान नहीं मिलता था. अंग्रेजों ने जाते वक्त सैकड़ों एकड़ जमीन देकर जमींदार बना दिया. जबकि मेहनत, मजदूरी करने वाले आज तक भूमिहीन बने हुए हैं’ मंत्री आलोक मेहता का इशारा आर्थिक आधार पर मिलने वाले आरक्षण (ईडब्ल्यूएस) में शामिल लोगों के लिए था.

मंत्री आलोक मेहता का बयान.
मंत्री आलोक मेहता का बयान.

जगदेव बाबू की बात दोहरायीः आलोक मेहता ने भागलपुर में दिये बयान पर सफाई देते हुए कहा कि हमने वही बात कही है जो शहीद जगदेव बाबू ने कही थीं. जगदेव बाबू का नारा था कि "सौ में नब्बे शोषित हैं, नब्बे भाग हमारा है. दस का शासन नब्बे पर नहीं चलेगा- नहीं चलेगा". आलोक मेहता ने कहा कि उनके बयान को तोड़ मरोड़ कर चलाया जा रहा है. एक फरवरी को पटना में बापू सभागार में शहीद जगदेव जन्म शताब्दी समारोह को लेकर आरजेडी के तरफ से कार्यक्रम होने वाला है. उसी को सफल बनाने के लिए पूरे बिहार में आलोक मेहता घूम रहे हैं. भागलपुर में भी इसी के तहत कार्यक्रम था जिसमें उन्होंने जो बयान दिया था.

इसे भी पढ़ेंः Bihar Politics: BJP से गठबंधन पर बोले वशिष्ठ नारायण सिंह- 'भविष्य की राजनीति कोई नहीं जानता'

'जमाने के हिसाब से शोषक बदलते हैं' : आलोक मेहता ने अपने बयानों की व्याख्या करते हुए कहा कि जमाने के हिसाब से शोषक और शोषित बदलते हैं. अंग्रेजों का जब जमाना था तब अंग्रेज शोषक थे और भारत के सभी लोग शोषक थे. लेकिन जब अंग्रेज चले गये तब अंग्रेजों के पिट्ठुओं और उनके दलालों ने शोषक की सत्ता संभाल ली. लोगों को शोषित होने पर मजबूर करते रहे. जगदेव बाबू ने ऐसे ही तत्वों के खिलाफ आवाज उठायी थी और संघर्ष करते हुए शहीद हो गये थे.

बीपी सिंह, मधु लिमेय उच्च वर्ग से आते थेः आलोक मेहता ने कहा कि-मैंने जो 10 प्रतिशत की बात कही, वो 10 प्रतिशत किसी जाति पर आक्षेप बिल्कुल नहीं है. यह ऐसा वर्ग है जो शोषक की भूमिका में रहता है और वह बदलता रहता है. उन्होंने कहा कि बीपी सिंह, मधु लिमेय, राम मनोहर लोहिया जैसे नेता उच्च वर्ग से आते थे. इन नेताओं ने समाजवाद का समर्थन किया. शोषण के विरुद्ध उनलोगों ने आवाज उठायी.

'घंटी बजाने' का समझाया मतलबः मंत्री ने कहा कि बीजेपी सियासत में विकास के मुद्दों को भूलती जा रही है. मंदिर के पुजारी को सत्ता पर बैठाने की फिराक में है. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश का उदाहरण देख लीजिए. कल तक मंदिर में घंटा बजाने वाले लोग जाकर सियासत कर रहे हैं और लोगों को घंटा बजाना सिखाया जा रहा है. इसी पर घंटी बजाने वाला बयान है. उन्होंने कहा कि सत्ता हस्तांतरण को अनोखे रूप में पेश किया जा रहा है.

Last Updated :Jan 22, 2023, 6:30 PM IST
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.