ETV Bharat / state

मुजफ्फरपुर: चमकी बुखार से पीड़ित 3 बच्चे SKMCH में भर्ती, आकड़ा 50 के पार

author img

By

Published : Jul 23, 2021, 7:35 AM IST

मुजफ्फरपुर में बढ़ती गर्मी और उमस के बीच चमकी (Aes In Muzaffarpur ) बुखार के मामले एक बार फिर से बढ़ने लगे हैं. एसकेएमसीएच (SKMCH ) के पीकू वार्ड में 3 बच्चों को भर्ती कराया गया है. जिनमें एईएस बुखार की पुष्टि हो चुकी है.

चमकी बुखार
चमकी बुखार

मुजफ्फरपुर: बिहार के मुजफ्फरपुर (Muzaffarpur) जिले में चमकी बुखार (Chamki Fever In Muzaffarpur ) ने एक बार फिर तेजी से पैर पसारना शुरू कर दिया है. चमकी बुखार से पीड़ित तीन बच्चों को एसकेएमसीएच (SKMCH) के पीकू वार्ड में भर्ती किया गया है.

इसे भी पढ़ें: मुजफ्फरपुर में चमकी बुखार ने फिर उठाया सिर, 4 बच्चों को SKMCH में किया गया भर्ती

बढ़ती गर्मी और उमस के बीच चमकी बुखार के मामले एक बार फिर बढ़ोतरी देखने को मिल रही है. चमकी बुखार से पीड़ित कई बच्चों को एसकेएमसीएच (SKMCH) में भर्ती कराया गया है, जहां उनका इलाज चल रहा है.

गुरुवार को तीन और चमकी बुखार के लक्षण वाले बच्चों को भर्ती कराया गया है. ये सभी बच्चे मुजफ्फरपुर और वैशाली जिले के रहने वाले हैं. वर्तमान समय में एसकेएमसीएच में चमकी बुखार से पीड़ित 8 बच्चे भर्ती हैं. जिसमें 7 बच्चों में चमकी बुखार की पुष्टि हो चुकी है और एक बच्चा सस्पेक्टेड है.

ईटीवी भारत GFX.
ईटीवी भारत GFX.

ये भी पढ़ें: मुजफ्फरपुर: SKMCH में चमकी बुखार से एक बच्ची की मौत, आंकड़ा पहुंचा 10

गौरतलब है कि इस साल अभी तक 50 बच्चों में चमकी बुखार की पुष्टि हो चुकी है. जिसमें से 10 बच्चों की मौत भी हो चुकी है. इसके साथ ही कई बच्चे ठीक होकर घर भी जा चुके हैं. जिला प्रशासन ने चमकी बुखार को लेकर पहले से ही तैयारियां पूरी कर ली है. जिला प्रशासन लगातार जागरूकता अभियान भी चला रहा है.

ईटीवी भारत GFX.
ईटीवी भारत GFX.

बच्चों को चमकी बुखार जैसे जानलेवा बीमारियों से बचाने के लिए कुछ एहतियातन बरतना आवश्यक है. बच्चों को जैपीनीज एनसेफलाइटीस की वैक्सीन दी जानी चाहिए. इसके साथ ही बच्चों को मच्छरों से बचा कर रखना चाहिए. क्योंकि ऐसी बीमारियां मस्क्योटो बाइट से ज्यादा फैलती हैं. बच्चों को उन जगहों पर नहीं जाने दिया चाहिए, जहां पक्षियां और सूअर रहते हैं. इसके साथ ही बच्चों को खाना खाने से पहले और बाद में साबून से हाथ जरूर धुलाना चाहिए. माता-पिता को ध्यान देते रहना चाहिए कि बच्चों के शरीर में ग्लूकोज की कमी न होने दें.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.