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बिहार विधान परिषद की 11 सीटों के लिए चुनाव, दोराहे पर पूर्व मंत्री मंगल पांडे और शाहनवाज हुसैन

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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Feb 24, 2024, 9:42 PM IST

दो राहे पर खड़े शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडेय
दो राहे पर खड़े शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडेय

बिहार में विधान परिषद की 11 सीटों के लिए चुनाव होने जा रहे हैं. राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन को 6 सीटे मिलने की उम्मीद है. भारतीय जनता पार्टी के खाते में चार सीट जाने की संभावना है. पार्टी के बड़े नेताओं का राजनीतिक भविष्य दाव पर है. सवाल यह है कि केंद्र और राज्य की राजनीति में शाहनवाज और मंगल पांडे कहां फिट बैठते हैं?

दो राहे पर खड़े शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडेय

पटना : बिहार में विधान परिषद के 11 सीटों के लिए चुनाव हो रहे हैं. 21 मार्च को चुनाव होने हैं. दलों के अंदर मंथन का दौर जारी है. भारतीय जनता पार्टी चार सीटों पर अपने उम्मीदवार खड़े करेगी. एक सीट हम पार्टी के खाते में जाना है. भारतीय जनता पार्टी के तीन नेताओं का कार्यकाल खत्म हो रहा है. मंगल पांडे, शाहनवाज हुसैन और संजय पासवान विधान परिषद चुनाव को लेकर उम्मीद लगाए बैठे हैं.

दो राहे पर खड़े शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडेय : आपको बता दें कि संजय पासवान और मंगल पांडे बिहार सरकार में मंत्री रह चुके हैं. मंगल पांडे जहां स्वास्थ्य मंत्री थे वहीं शाहनवाज हुसैन उद्योग मंत्री थे. शाहनवाज हुसैन को केंद्र की राजनीति से बिहार लाया गया था और शाहनवाज हुसैन के प्रयासों से बिहार में उद्योग लगे. सीएम नीतीश कुमार ने भी शाहनवाज हुसैन की तारीफ की थी.

किसे मिलेगा परिषद में मौका? : शाहनवाज हुसैन किशनगंज से सांसद रह चुके हैं और भागलपुर संसदीय क्षेत्र से भी शाहनवाज हुसैन को दो बार सांसद रहने का मौका मिला है. पिछले लंबे अरसे से शाहनवाज भागलपुर क्षेत्र के लिए काम कर रहे हैं और एमएलसी फंड भागलपुर इलाके में ही खर्च कर रहे हैं. प्रधानमंत्री मंगल पांडे पश्चिम बंगाल के चुनाव प्रभारी बनाए गए हैं. मंगल पांडे भी पिछले कुछ महीनों से सिवान इलाके में कैंप किए हुए हैं. लोकसभा चुनाव में भी मंगल पांडे को मैदान में उतर जा सकता है. शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडे राजनीति के दो राहे पर खड़े हैं. दोनों नेता लोकसभा चुनाव के लिए सशक्त दावेदार हैं. तो बिहार सरकार में कैबिनेट मंत्री बने रहना भी उनकी चाहत है. केंद्रीय नेतृत्व को पूरे मसले पर अंतिम फैसला लेना है.

क्या करेंगे संतोष सुमन? : बिहार सरकार के आईटी मंत्री संतोष सुमन के राजनीतिक भविष्य का भी फैसला होना है. संतोष सुमन भी लोकसभा चुनाव के लिए गया से उम्मीदवार हैं, लेकिन यह बिहार सरकार में मंत्री बनाए जा चुके हैं और इनका भाजपा कोटे से विधान परिषद भेजा जाना तय माना जा रहा है. भाजपा के बड़े नेताओं ने जीतन राम मांझी से इस बात के लिए कमिटमेंट भी किया है. पार्टी नेताओं को उम्मीद भी है.

''हमारे नेता जीतन राम मांझी के साथ भाजपा के बड़े नेताओं की बातचीत हुई थी. राज्यसभा की एक सीट के साथ विधान परिषद के सीट का मसला भी तय हुआ था. हमें उम्मीद है कि हमारे खाते में विधान परिषद की एक सीट जाएगी और हम नरेंद्र मोदी को बिहार से 40 सीट का उपहार देंगे.''- विजय यादव, प्रवक्ता, HAM

बिहार के आईटी मंत्री संतोष सुमन ने ईटीवी भारत से बातचीत के दौरान कहा कि ''हम बिहार सरकार में मंत्री हैं और अगर विधान परिषद के लिए चुने जाते हैं तो लोकसभा चुनाव को लेकर पार्टी के अंदर मंथन होगा. यह तय कर लिया जाएगा कि गया लोकसभा सीट से कौन लोकसभा चुनाव लड़ेगा.''

भाजपा प्रवक्ता अरविंद सिंह ने कहा है कि ''विधान परिषद की ज्यादातर सीटों पर हमारी जीत हासिल होगी. कौन-कौन चुनाव लड़ेगा? इस पर फैसला केंद्रीय नेतृत्व को लेना है कि किस नेता को राज्य की राजनीति में रखा जाएगा और किसी नेता को केंद्र की राजनीति में रखा जाएगा. यह भी हमारे बड़े नेता तय करेंगे.''

'मंगल पांडेय के टिकट पर सस्पेंस' : पूरे मसले पर ईटीवी भारत संवाददाता ने शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडे से बातचीत की दोनों नेताओं ने विधान परिषद चुनाव और लोकसभा चुनाव के मसले पर कुछ भी बोलने से इनकार किया. वरिष्ठ पत्रकार कौशलेंद्र प्रियदर्शी का मानना है कि हम पार्टी के खाते में एक सीट जाएगी जहां तक शाहनवाज हुसैन और मंगल पांडे का सवाल है तो मंगल पांडे दो बार विधान पार्षद रह चुके हैं और पार्टी की नई परिपाटी के हिसाब से तीसरी बार भेजा जाना मुश्किल है. शाहनवाज हुसैन को मंत्रिमंडल में जगह मिल सकती है और भाजपा इन्हें बिहार की राजनीति में ही रखना चाहेगी.

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