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सदस्यता जाने के बाद सामने आए हरीश ऐठानी, प्रदीप टम्टा ने बताया बीजेपी की बौखलाहट

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Published : May 5, 2023, 7:33 PM IST

वित्तीय अनियमितता के आरोप में जिला पंचायत सदस्य का पद गंवा चुके हरीश ऐठानी सामने आए हैं. उन्होंने सदस्यता समाप्त करने के निर्णय को राजनीति से प्रेरित बताया है. इस मामले में पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा ने हरीश ऐठानी को अपना समर्थन दिया. प्रदीप टम्टा का कहना है कि बीजेपी कांग्रेस की बढ़ती ताकत से बौखलाहट में लोकतंत्र का गला घोंट रही है.

Harish Aithani
हरीश ऐठानी

सदस्यता जाने के बाद सामने आए हरीश ऐठानी

बागेश्वरःपूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष और निवर्तमान जिपं सदस्य हरीश ऐठानी ने सदस्यता समाप्त किए जाने के निर्णय को राजनीति से प्रेरित बताया है. उन्होंने इसे आगामी पंचायत चुनाव और लोकसभा चुनाव 2024 में कांग्रेस की बढ़ती ताकत को देखते हुए सरकार की बौखलाहट बताया. उन्होंने कहा बीजेपी उन्हें चुनाव में हरा नहीं पाई तो राजनीतिक षड्यंत्र के तहत फंसाया जा रहा है.

पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष हरीश ऐठानी ने कहा उन पर पूर्व विधायक ने आरोप लगाए हैं. आरोपों में कहीं भी वित्तीय अनियमितता की बात नहीं कही गई है. जिन बिंदुओं को उठाया गया है, वो जिला पंचायत के अपर मुख्य अधिकारी, वित्त नियंत्रक, निविदा समिति आदि की संस्तुति के अनुसार होते हैं. बावजूद इसके जांच केवल अध्यक्ष की कराई गई. बीती 28 अप्रैल को सदस्यता समाप्त करने का आदेश, उन्हें 5 मई की सुबह मिलता है. जबकि इससे पहले वो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया.

आखिर पत्र उनके पास आने की बजाय कैसे वायरल हो गया. यह भी जांच का विषय है. आदेश में पत्र में इस बात का उल्लेख है कि शिकायत तीन प्रतियों में शपथ पत्र के माध्यम से नहीं की गई, जो प्रक्रियात्मक त्रुटि है. बावजूद इसके उनके खिलाफ कार्रवाई की गई. वो इस मामले को लेकर विधिक राय ले रहे हैं और न्यायालय पर उन्हें पूरा भरोसा है.
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वहीं, पूर्व सांसद प्रदीप टम्टा ने बताया कांग्रेस बीजेपी के षड्यंत्र से डरने वाली पार्टी नहीं है. आजादी की लड़ाई से लेकर जनता की हित की लड़ाई के लिए कांग्रेस हमेशा जीतती आई है. बीजेपी विपक्ष को खत्म करना चाहती है. लगातार विपक्ष के सदस्यों को टारगेट करना और उनकी जांच कराने के अलावा कुछ नहीं कर रही है.

उन्होंने कहा की कितना हास्यपद है कि सरकारी स्कूलों को शिक्षक मुहैया नहीं करा पा रही है. जब बच्चों और अभिभावकों के आंदोलन को देखते हुए जिला पंचायत ने स्कूल को शिक्षक मुहैया कराया. जिला पंचायत का धन्यवाद करने की जगह, उन्होंने शिक्षक स्कूल में कैसे दिए. इसकी जांच की जा रही है.

उन्होंने कहा कि इस मामले को लेकर वो सड़क से लेकर सदन तक जाएंगे. न्यायालय से इसका जवाब जल्द ही मिल जाएगा. क्योंकि, न्यायालय से ही न्याय की उम्मीद है. गौर हो कि हरीश ऐठानी पर वित्तीय अनियमितता का आरोप है. जिसके बाद उन्हें जिला पंचायत सदस्य पद से सदस्यता खत्म कर दी गई है. साथ ही आगामी 5 सालों तक चुनाव लड़ने पर भी रोक लगाई है.

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