लखनऊ:पांच दिनों तक चलने वाले दीपावली का पर्व आज भाई दूज के साथ संपन्न हो जाएगा. सोमवार को धूमधाम से अन्नकूट और गोवर्धन पूजा की गई. वहीं मंगलवार को भाई दूज का पर्व मनाया जा रहा है.
हिंदू धर्म में ऐसी मान्यता है कि आज के दिन भाई अपनी बहन के घर जाते हैं और तिलक करवाते हैं. भाई दूज को लेकर ईटीवी भारत ने ज्योतिषचार्य उमाशंकर मिश्र से बातचीत की. ज्योतिषाचार्य उमाशंकर मिश्र ने बताया कि भाई दूज के दिन का विशेष महत्व है. पुरातन काल से यमराज और यमुना से जुड़ी कथा आज भी चली आ रही है.
बहन के घर जाकर करवाना चाहिए तिलक
ज्योतिषाचार्य ने बताया कि भाई दूज के दिन सभी भाइयों को अपनी बहन के घर जाकर तिलक लगवाना चाहिए. यह पर्व भाई-बहन के बीच समर्पण का पर्व है. ऐसा हिंदू धर्म में बताया गया है. ज्योतिषाचार्य ने बताया कि भाई दूज का पर्व मनाने से भाई और बहन दोनों की उन्नति होती है. तिलक लगाने से भाई अपनी बहन की रक्षा की जिम्मेदारी लेता है. उन्होंने बताया कि मंगलवार को उदिया तिथि से इस पर्व की शुरुआत हो गई है.
यह है शुभ मुहूर्त
ज्योतिषचार्य के अनुसार सूर्योदय से लेकर रात्रि 11 बजे तक त्रिपुष्कर योग रहेगा. उन्होंने कहा कि पहला मुहूर्त प्रातः काल 10:39 से लेकर अपराह्न 1:45 तक रहेगा. दूसरा मुहर्त अपराह्न 2:15 से लेकर सायं 4 बजकर 16 मिनट तक है. इसके बाद तीसरा मुहूर्त 7:14 से लेकर रात्रि 8:05 तक रहेगा.
हिंदू धर्म में ऐसी मान्यता है कि आज के दिन भाई अपनी बहन के दिन घर जाता है और तिलक करवाता है। इसी मामले पर ईटीवी भारत ने ज्योतिषचार्य उमाशंकर मिश्र से विस्तार से बात की।
Body:ज्योतिषाचार्य उमाशंकर मिश्र ने बताया कि भाई दूज के दिन का विशेष महत्व है। पुरातन काल से यमराज और यमुना से जुड़ी कथा चली आ रही है। जो आज भी चली आ रही है।
बहन के घर जाकर करवाना चाहिए तिलक
उन्होंने बताया कि भाई दूज के दिन सभी भाइयों को अपनी बहन के घर जाकर तिलक लगवाना चाहिए। यह पर्व भाई बहन के बीच समर्पण का पर्व है। ऐसा हिंदू धर्म में बताया गया है।
दोनों की होती है उन्नति
ज्योतिषाचार्य ने बताया कि भाई दूज का पर्व मनाने से भाई और बहन दोनों की उन्नति होती है। तिलक लगाने से भाई अपनी बहन की रक्षा की जिम्मेदारी लेता है। उन्होंने बताया कि मंगलवार को उदिया तिथि से इस पर्व की शुरुआत हो जाएगी और पूरे दिन तक शुभ संयोग है।
यह हैं शुभ मुहूर्त
ज्योतिषचार्य के अनुसार सूर्योदय से लेकर रात्रि 11 बजे तक त्रिपुष्कर योग रहेगा। उन्होंने कहा कि पहला मुहूर्त प्रातः काल 10:39 से लेकर अपराह्न 1:45 तक रहेगा। दूसरा मुहर्त अपराह्न 2:15 से लेकर सायं 4 बजकर 16 मिनट तक है। उसके बाद तीसरा मुहूर्त 7:14 से लेकर रात्रि 8:05 तक रहेगा।
Conclusion:दीपावली पर्व का अंतिम पर्व भाई दूज होता है। इस दिन भाई अपनी बहन के घर जाकर तिलक लगवाता है और भोजन करता है। ऐसा करने से भाई बहन दोनों की उन्नति होती है।
अनुराग मिश्र
8318122246