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सीएम योगी ने दिया पुरोहित कल्याण बोर्ड गठित करने का आदेश

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Published : Apr 20, 2022, 9:11 PM IST

लखनऊ में सीएम योगी को धर्मार्थ कार्य पर्यटन संस्कृति और भाषा विभाग ने अपनी प्लानिंग का प्रेजेंटेशन दिया. सीएम योगी ने बैठक में पुरोहित कल्याण बोर्ड गठित करने का आदेश दिया. उन्होंने कहा कि सभी 75 जिलों में पर्यटन और संस्कृति परिषद का गठन किया जाए.

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सीएम योगी आदित्यनाथ

लखनऊ: सीएम योगी की अध्यक्षता में बुधवार को कैबिनेट के सामने धर्मार्थ कार्य पर्यटन संस्कृति और भाषा विभाग ने प्लानिंग का प्रेजेंटेशन दिया. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि यूपी में बुजुर्ग संतों, पुजारियों और पुरोहितों के लिए पुरोहित कल्याण बोर्ड का गठन किया जाएगा. इसके अलावा प्रदेश के सभी 75 जिलों में पर्यटन एवं संस्कृति परिषद का गठन किया जाएगा. प्रधानमंत्री के प्रयासों से उत्तर प्रदेश नेचर, कल्चर और एडवेंचर का संगम बन रहा है.

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सीएम योगी ने ने कहा कि प्रदेश में चिन्हित 12 परिपथ के विकास के काम समय पर पूरे कराए जाएं. रामायण परिपथ, बुद्धिष्ट परिपथ, आध्यत्मिक परिपथ, शक्तिपीठ परिपथ, कृष्ण/ब्रज परिपथ, बुंदेलखंड परिपथ, महाभारत परिपथ, सूफी परिपथ, क्राफ्ट परिपथ, स्वतंत्रता संग्राम परिपथ, जैन परिपथ एवं वाइल्ड लाइफ और इको टूरिज्म परिपथ उत्तर प्रदेश में पर्यटन को नई पहचान देंगे.


सीएम योगी ने दिए ये निर्देश

  • उत्तर प्रदेश दिवस की तर्ज पर जनपद/ गांव/ नगर के इतिहास के प्रमुख दिवस पर विशेष प्रोग्राम हों.
  • अगले 100 दिनों में श्रद्धालुओं और पर्यटकों की सुविधा को ध्यान में रखकर ऑनलाइन एकीकृत मंदिर सूचना प्रणाली का विकास किया जाए. इसमें मंदिरों का विवरण, इतिहास और रूट मैप आदि की जानकारी हो.
  • प्रदेश की अद्वितीय सांस्कृतिक पहचान को संरक्षित, संवर्धित और लोकप्रिय बनाएं और राज्य को सांस्कृतिक स्थान रूप में प्रतिष्ठित करें.
  • बुजुर्ग संतों, पुजारियों और पुरोहितों के कल्याण के लिए बोर्ड का गठन किया जाए.
  • प्रयागराज, मथुरा, गोरखपुर और वाराणसी में भजन संध्या स्थल बनाएं जाएं.
  • श्रीअयोध्या धाम में जन्मभूमि पथ (सहादतगंज नया घाट मार्ग से सुग्रीव किला पथ श्रीरामजन्मभूमि तक 'जन्मभूमि पथ' तथा अयोध्या मुख्य मार्ग से हनुमानगढ़ी होते हुए श्रीरामजन्मभूमि तक 'भक्ति पथ' 04 लेन मार्ग बनाने का काम जल्द पूरा कराया जाए.
  • क्षेत्रीय भाषाओं और बोलियों की समृद्धि-संरक्षण के लिए 'सूरदास ब्रजभाषा अकादमी, गोस्वामी तुलसीदास अवधी अकादमी, केशवदास बुंदेली अकादमी, संतकबीरदास भोजपुरी अकादमी की स्थापना करें. यह काम अगले 100 दिनों में पूरा किया जाए.
  • श्रृंगवेरपुर में निषादराज गुह्य पर्यटन, लखनऊ में महाराजा बिजली पासी के किले पर लाइट एंड साउंड शो, बहराइच में महाराजा सुहेलदेव स्मारक निर्माण का काम जल्दी पूरा कराया जाए. यह पर्यटन के प्रमुख केंद्र के रूप में राष्ट्रीय मानचित्र पर अपना स्थान बनाएंगेय
  • आगरा में छत्रपति शिवाजी महाराज स्मारक और सीतामढ़ी स्थल भदोही के विकास के लिए कार्ययोजना बनायी जाए.
  • प्रदेश में इको एंड रूरल टूरिज्म का गठन किया जाए. सभी 75 जिलों में पर्यटन एवं संस्कृति परिषद का गठन किया जाए.
  • मथुरा के बरसाना तथा प्रयागराज में झूंसी से त्रिवेणी पुष्प तक रोप-वे निर्माण कराया जाए. लखनऊ और प्रयागराज में हेली टूरिज्म की संभावनाओं पर काम किया जा जाए.
  • पर्यटक आवासों का संचालन पीपीपी मोड पर कराया जाए. आगरा और मथुरा के हेलीपोर्ट और आगरा स्थित छत्रपति शिवाजी महाराज संग्रहालय का संचालन भी पीपीपी मोड पर किया जाना चाहिए. सिंचाई, पीडब्ल्यूडी, राजस्व और वन विभाग के अतिथि गृहों को पर्यटन के हिसाब विकसित किया जाए.
  • 'एडॉप्ट ए हेरिटेज' नीति के तहत छतर मंजिल, दर्शन विलास कोठी लखनऊ, गोवर्धन की छतरियां, मथुरा, कर्मदेश्वर महादेव, काशी, चुनार किला, मिर्जापुर, बरूआ सागर झील किला में हेरिटेज मित्र चुना जाए. एनसीसी, एनएसएस, युवक/महिला मंगल दल के माध्यम से 'पर्यटन मित्र' तैयार किए जाएं.
  • जनपद बलरामपुर के इमिलिया कोडर में थारू जनजाति संस्कृति संग्रहालय को जल्द पूरा कराया जाए. राजकीय अभिलेखागार लखनऊ में आजादी की गौरव गाथा पराधारित वीथिका बनायी जाए.
  • संगीत नाटक अकादमी के स्टूडियो में कम्युनिटी रेडियो शुरू किया जाए. इस कम्युनिटी रेडियो का नाम 'जयघोष' रखा जा सकता है.
  • आजादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर प्रदेश के 75 जनपदों के समृद्ध इतिहास से परिचय कराती 75 पुस्तकों का प्रकाशन कराया जाए. राष्ट्रभक्ति पराधारित 75 लघु फिल्मों का प्रदर्शन भी किया जाए.
  • लखनऊ, सोनभद्र और लखीमपुर खीरी में जनजातीय संग्रहालय की स्थापना का एक्शन प्लान तैयार किया जाए. कन्नौज में बाल संग्रहालय बनाने पर विचार किया जाए.
  • रामायण परंपरा की 'कल्चरल मैपिंग' कराई जाए. राम वन गमन पथ पर रामायण वीथिकाएं बनायी जाएं.
  • हस्तिनापुर (मेरठ) और गोरखपुर में प्राकृतिक विज्ञान संग्रहालय बनाने का प्रयास किया जाए. वाराणसी में संत रविदास संग्रहालय और सांस्कृतिक केंद्र की स्थापना कराई जाए.
  • सभी विश्वविद्यालयों में गौरव गैलरी की स्थापना करायी जाए. रामसनेही घाट बाराबंकी में रामायण सांस्कृतिक केंद्र और शिल्पग्राम का विकास कराया जाए.
  • हैपिनेस इंडेक्स में सुधार को देखते हुए विभिन्न योग और आध्यात्मिक संस्थाओं से कार्यशालाएं कराएं.

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