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धार्मिक स्थल खोलने की छूट, 6ठी से ऊपर की कक्षाएं होंगी संचालित

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Published : Sep 14, 2021, 8:21 PM IST

Updated : Sep 14, 2021, 9:13 PM IST

permission to open religious places
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झारखंड में कोरोना का संक्रमण नियंत्रण में है. इसे देखते हुए सरकार ने कई बड़े फैसले लिए हैं.

रांची: झारखंड सरकार ने धार्मिक स्थलों को खोलने की छूट दे दी है. प्रोजेक्ट भवन में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में आपदा प्रबंधन की बैठक में यह फैसला लिया गया है. इसके अलावा 6ठी से ऊपर की कक्षाओं के संचालन की भी छूट दी गई है. रविवार को जो पाबंदियां लगी थी उसे भी हटा लिया गया है. साथ ही होटल और बार पर लागू शर्तों को भी हटा लिया गया है.

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आपदा प्रबंधन की बैठक में निर्णय लिया गया कि राज्य के सभी धार्मिक स्थल आमजनों के लिए खोला जाएगा. बड़े मंदिरों में एक घंटे में सौ लोग शामिल हो सकेंगे. छोटे धार्मिक स्थल में 50 फीसदी लोग शामिल हो सकेंगे. राज्य में धार्मिक स्थल को खोले जाने की मांग पिछले की दिनों से की जा रही थी. बीजेपी, कांग्रेस के नेताओं ने सीएम से मिलकर धार्मिक स्थल खोले जाने की मांग की थी. विधानसभा के मानसून सत्र के दौरान भी सदन के अंदर और बाहर भी यह मुद्दा गरमाया रहा. सीएम ने इस बाबत जल्द फैसला लेने का आश्वासन भी दिया था. जिसपर मंगलवार को फैसला ले लिया गया. इधर कई राज्यों में क्लास वन से स्कूल खोल दिए गए हैं लेकिन झारखंड में एहतियात बरतते हुए क्लास 6 के ऊपर के बच्चों के लिए स्कूल खोलने का फैसला लिया गया है.

आपदा प्रबंधन की बैठक में सीएम और अधिकारी

इन शर्तों के आधार पर मिली छूट

1. सभी धार्मिक स्थलों पर श्रद्धालुओं के प्रवेश की अनुमति प्रदान की गई.

• धार्मिक स्थल पर संचालन से सभी संबंधित व्यक्ति जैसे पुजारी, पांडा, इमाम, पादरी इत्यादी का कम से कम एक टीका लेना अनिवार्य होगा.

• जिलाधिकारी द्वारा चिन्हित धार्मिक स्थल जैसे देवघर स्थित बाबा धाम मंदिर इत्यादी में ई पास के माध्यम से अधिकतम 100 व्यक्ति एक घंटे में प्रवेश कर सकेंगे.

• धार्मिक स्थल पर स्थान की 50% क्षमता में एकत्रित होने की अनुमति दी गई.

• 18 वर्ष से कम उम्र के व्यक्ति के प्रवेश पर रोक रहेगी.

• सामाजिक दूरी बनाना अनिवार्य होगा.

• बिना मास्क के प्रवेश नहीं होगा.

• लगातार मास्क लगाना होगा.

2 दुर्गा पूजा पंडाल के निर्माण की अनुमति दी गई.

• पंडाल में श्रद्धालुओं के प्रवेश पर रोक रहेगी.

• पंडाल में एक समय में क्षमता का 50% या 25 से अधिक व्यक्ति ( जो कम हो) के एकत्रित होने पर रोक रहेगी.

• मेला आयोजन प्रतिबंधित रहेगा.

• मूर्ति की अधिकतम ऊंचाई 5 फीट होगी.

• कोई तोरण या स्वागत द्वार नहीं बनेगा.

• पंडाल किसी थीम पर आधारित नहीं होगा.

• पंडाल तीन तरफ़ से घेरा जाएगा.

• भोग वितरण नहीं किया जाएगा.

• पूजा समिति द्वारा आमंत्रण पत्र नहीं वितरित किया जाएगा.

• आवश्यक रोशनी को छोड़ कर आकर्षक रोशनी प्रतिबंधित होगी.

• संस्कृतिक कार्यक्रम जैसे गरबा, डांडिया इत्यादि प्रतिबंधित रहेंगे.

• 18 वर्ष से कम के व्यक्ति का प्रवेश अपेक्षित नहीं है.

• खाने पीने की कोई दुकान या ठेला आसपास नहीं लगेगा.

• विसर्जन जुलूस नहीं निकलेगा.

• जिला प्रशासन द्वारा चिन्हित स्थान पर विसर्जन किया जाएगा.

• पंडाल में किसी भी समय कोई व्यक्ति बिना मास्क के नहीं होगा.

• ढाक की अनुमती होगी.

3. कॉलेज में स्नातक और स्नातकोत्तर शिक्षा के सभी वर्ष की ऑफलाइन कक्षा की अनुमति दी गई.

4. स्कूल में 6 से 8 तक ऑफलाइन कक्षा की अनुमति दी गई.

5. सभी खेल कूद की गतिविधियों की बगैर दर्शक के आयोजन की अनुमति दी गई.

6. बार और रेस्तरां को 11 बजे रात तक खोलने की अनुमति दी गई.

बैठक में ये थे उपस्थित

बैठक में आपदा प्रबंधन विभाग के मंत्री बन्ना गुप्ता, मुख्य सचिव सुखदेव सिंह, अपर मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव राजीव अरुण एक्का, प्रधान सचिव वित्त विभाग अजय कुमार सिंह, मुख्यमंत्री के सचिव विनय कुमार चौबे, आपदा प्रबंधन विभाग के सचिव अमिताभ कौशल, कृषि विभाग के सचिव अबु बकर सिद्दीकी उपस्थित थे.

Last Updated :Sep 14, 2021, 9:13 PM IST

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