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ऊर्जा मंत्री के गढ़ में आम आदमी पार्टी ने पसारे पांव, युवाओं में दिख रहा खासा उत्साह

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Published : Mar 27, 2022, 5:24 PM IST

पंजाब में आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party Himachal) को बंपर जीत मिलने के बाद हिमाचल में भी आम आदमी पार्टी लोकप्रियता दिनों दिन बढ़ती जा रही है. रविवार को सिरमौर के पांवटा साहिब में कई युवाओं ने आम आदमी का दामन थामा और सड़कों पर रैली निकालकर जमकर नारेबाजी भी की.

Paonta Sahib
पांवटा साहिब

पांवटा साहिब: पंजाब में आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party Himachal) को बंपर जीत मिलने के बाद हिमाचल में भी आम आदमी पार्टी लोकप्रियता दिनों दिन बढ़ती जा रही है. वहीं, सिरमौर जिले के पांवटा साहिब में रविवार को कई युवाओं ने आम आदमी का दामन थामा और सड़कों पर रैली निकालकर जमकर नारेबाजी भी की. गुरु की नगरी पांवटा साहिब में 2022 के चुनाव से पहले ही भाजपा कांग्रेस की मुश्किलें बढ़ना शुरू हो गई है. यहां ऊर्जा मंत्री के गढ़ (Energy Minister Sukhram Chaudhary) में आम आदमी पार्टी ने अपनी जड़े मजबूत करने के लिए कार्य शुरू कर दिया है.

वहीं, कांग्रेस छोड़कर आम आदमी पार्टी में शामिल हुए मनीष ठाकुर ने कहा कि 25 वर्षों से वह कांग्रेस पार्टी के लिए संघर्ष कर रहे हैं, लेकिन जो प्यार उन्हें आम आदमी पार्टी से मिला है. वह कभी कांग्रेस पार्टी से नहीं मिला. आम आदमी पार्टी जमीनी स्तर से आम लोगों की आवाज सुनती है, उनकी समस्याओं का निराकरण करते हैं. उन्होंने कहा कि दिल्ली और पंजाब में आम आदमी पार्टी की सरकार बनते ही आम जनमानस को फायदे पहुंच रहे हैं. वहीं अब हिमाचल में भी 2022 (Himachal assembly election 2022) के चुनाव में आम आदमी पार्टी अपनी सरकार बनाएगी और यहां के आम लोगों को अच्छी सुविधाएं पहुंचाने के लिए काम करेगी.

उन्होंने कहा कि आज से ही घर-घर जाकर केजरीवाल की नीतियों के बारे में लोगों को बताया जाएगा ताकि लोग आम आदमी पार्टी के साथ जुड़ कर कांग्रेस और भाजपा को यहां से दूर भगाएं. मनीष ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस पार्टी की विचारधारा अच्छी है, परंतु उसे धरातल पर लागू करने वाले हिमाचल प्रदेश के नेता सिर्फ और सिर्फ अपने मतलब परस्ती, व्यक्तिवाद चाटुकारिता, गुटबाजी, परिवारवाद से ऊपर नहीं उठा पा रहे हैं.

मुख्य पदों पर बने हुए हिमाचल प्रदेश के नेता एवं प्रभारी तीसरी पंक्ति में खड़े हुए मेहनती कार्यकर्ता को हमेशा अनदेखा करता हैं, जो कार्यकर्ता पार्टी के लिए दिन रात मेहनत करता है. अपना घर परिवार त्याग देता है, उस कार्यकर्ता की आवाज पार्टी के नेतृत्व के पास कभी नहीं पहुंच पाती. उल्टा उन कार्यकर्ताओं को दबाया जाता है, कुचला जाता है और सिर्फ नारे लगाने, पुतले जलाने, विरोध प्रदर्शन में लाठी डंडे खाने के लिए आगे किया जाता है.

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