नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में आने वाले 4 नवंबर से ऑड-इवन सिस्टम लागू हो रहा है. दिल्ली में बढ़े प्रदूषण को कम करना सिस्टम का मकसद है. इसी के बहाने लोगों को सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था से जोड़ना भी है. हालांकि यहां सबसे बड़ा सवाल है कि क्या दिल्ली की सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था ऑड-इवन सिस्टम के लिए तैयार है. दरअसल, राजधानी में सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था के नाम पर दिल्ली मेट्रो और बसें प्रमुख साधन हैं.
जरूरत के हिसाब से मेट्रो समय-समय पर न सिर्फ अपनी उपयोगिता बल्कि अपनी सेवाओं में भी बदलाव करती है. लेकिन जब बसों की बात आती है तो संख्या के नाम पर पहले से नाकाफी आंकड़े उम्मीदों पर जैसे पानी ही फेर देते हैं.
बोलने को तैयार नहीं अधिकारी
दिल्ली परिवहन निगम (DTC) में रोजाना लगभग 42 लाख लोग सफर करते हैं. इस हिसाब से सड़कों पर 11 हजार बसों की जरूरत है. हालांकि अभी के समय में इन बसों की कुल संख्या 4 हजार भी नहीं है. खास बात है कि ऑड-इवन सिस्टम के दौरान 2000 अतिरिक्त बसों को हायर करने की बात तो कही जा रही है. लेकिन DTC का कोई भी अधिकारी इस विषय पर बोलने को तैयार ही नहीं है.