नई दिल्ली: दिल्ली में कोरोना वायरस के संक्रमण से लोगों को सुरक्षित करने के लिए जहां पुलिस, डॉक्टर, सफाई कर्मचारी आदि फ्रंटलाइन वारियर की भूमिका निभा रहे हैं. वहीं सरकारी स्कूलों के शिक्षकों की भी इस दौरान कई जगह ड्यूटी लगाई गई है. लेकिन इस दौरान शिक्षकों को खासी परेशानी भी हो रही है.
वहीं शिक्षकों की परेशानियों को लेकर राजकीय विद्यालय शिक्षक संघ के उत्तर पश्चिम बी डिस्ट्रिक्ट के एक्टिंग डीएस कृष्ण कुमार फोगाट ने कहा कि कोरोना महामारी के दौरान शिक्षकों से लगातार कई घंटों तक ड्यूटी कराई जा रही है और उन्हें आइसोलेट करने के नियम को भी नहीं माना जा रहा है. इसके अलावा उम्र दराज शिक्षकों की भी बेवजह कई जगहों पर ड्यूटी लगाई गई है जिससे शिक्षक लगातार कोरोना वायरस का शिकार हो रहे हैं.
नहीं हो रहा किसी दिशा निर्देश का पालन
वहीं जीएसटीए राजकीय विद्यालय शिक्षक संघ के उत्तर पश्चिम बी डिस्ट्रिक्ट के एक्टिंग डीएस कृष्ण कुमार फोगाट ने कहा कि शिक्षकों की पहले तो राशन वितरण में ड्यूटी लगी, उसके बाद रिलीफ कैंप में और अब आलम यह है कि क्वॉरंटाइन सेंटर यहां तक की हवाई अड्डों पर भी शिक्षकों की ड्यूटी लगाई गई है. उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी के दौरान जारी हुए दिशा निर्देशों के तहत ड्यूटी देने वाले शिक्षकों को रोटेशन बेस्ड ड्यूटी दी जानी चाहिए थी और फिर उन्हें एहतियातन 14 दिनों तक आइसोलेशन में रहना होता लेकिन यह सब केवल कागजी बातें निकली. हकीकत इससे बिल्कुल अलग है. यहां एक शिक्षक को पूरा-पूरा महीना ड्यूटी पर लगाया जा रहा है. यहां तक कि जो थोड़े बहुत बीमार हैं या जो उम्र दराज शिक्षक हैं उन्हें भी बक्शा नहीं जा रहा है.
शिक्षकों को ड्यूटी से मुक्त किया जाना चाहिए