खटीमा: उत्तराखंड में पिछले तीन दिनों हुई भारी बारिश ने पहाड़ी राज्य में आपदा के दृश्य पैदा कर दिए हैं. उत्तराखंड में भारी बारिश के बाद 44 लोगों की मौत हो चुकी है. राज्य में उधम सिंह नगर में भारी बारिश के कारण जलस्तर में बढ़ोत्तरी के चलते नानक सागर बैराज के सभी गेट खोल दिए गए हैं.
प्रदेश की सड़कें पानी और मलबे से भर गई हैं. पुल टूट गए हैं और नदियां उफान पर हैं. स्थानीय लोग तो परेशान हैं ही साथ ही कई जगहों पर पर्यटक भी फंसे हुए हैं. सितारगंज उप जिलाधिकारी तुषार सैनी ने नानकमत्ता बैराज में खतरे के निशान से ऊपर जलस्तर बहने की सूचना पर बैराज का दौरा किया.
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एसडीएम तुषार सैनी ने बताया कि पहाड़ों में लगातार हो रही बारिश के कारण नानकमत्ता बैराज का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर हो गया है. स्थानीय प्रशासन द्वारा लगातार नानकमत्ता जलाशय की मॉनिटरिंग की जा रही है साथ ही प्रशासन द्वारा नानक सागर बैराज के किनारे बसे लोगों को चेतावनी देकर इलाका खाली कराया जा रहा है और उन्हें सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है.
नानक सागर बैराज यूपी के नियंत्रण में है. नानक सागर बैराज के एसडीओ ने मीडिया को बताया कि जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर होने के कारण बीस हजार क्यूसेक पानी नानकमत्ता डैम से छोड़ा जा रहा है. लगातार मॉनिटरिंग कर नानक सागर जलाशय से आवश्यकतानुसार पानी पास किया जाता रहेगा, ताकि नानकमत्ता जलाशय का जलस्तर सामान्य रहे.