नैनीताल: राज्य के एक बड़े क्षेत्र की धरा को सींचने के लिए जमरानी बांध की परिकल्पना की गई थी. लेकिन 52 सालों से राज्य में जमरानी बांध राजनीतिक उपेक्षा का शिकार बनता जा रहा है. जिसके बाद अब नैनीताल सांसद अजय भट्ट ने संसद में इस बांध का मुद्दा उठाया है. जिसके लिए अजय भट्ट के अनुसार राज्य सरकार जल्द ही धनराशि स्वीकृत करेगी.
हल्द्वानी पहुंचे सांसद अजय भट्ट ने कहा कि पिछले 52 साल से जमरानी बांध फाइलों में चल रही थी. लेकिन उन्होंने संसद में इस मामले को उठाकर राष्ट्रीय योजना में शामिल किए जाने की मांग की है. उन्होंने कहा कि चीफ इरिगेशन द्वारा अधिकारियों के साथ इस मामले में बैठक भी की. इस परियोजना के लिए राज्य से केंद्र को कुछ धनराशि दी जानी है. जिसके लिए मुख्यमंत्री द्वारा जल्द धनराशि की स्वीकृत कर दी जाएगी
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ये है मामला
देहरादून के क्षेत्र भाबर में पेयजल और सिंचाई की समस्या को देखते हुए उत्तर प्रदेश सरकार ने जमरानी बांध की स्वीकृति 1974 में दी थी. जिसमें करीब 61 करोड़ रुपए खर्च किए जा चुके हैं. लेकिन कई अड़चनें और बजट के अभाव में 52 साल बाद भी जमरानी बांध पूरा नहीं बन पाया है. अब इस परियोजना की लागत 2,584 करोड़ रुपए पहुंच गया है.
ये होगा फायदा
जमरानी बांध परियोजना बन जाने से 14 मेगावाट विद्युत उत्पादन के साथ साथ तराई भाबर के इलाकों का पेयजल और सिंचाई संकट खत्म हो जाएगा.