ETV Bharat / state

राजकीय मेडिकल कॉलेजों में दाखिले के नियमों में बड़ा बदलाव, कई छात्रों को लग सकता है झटका

author img

By

Published : Jun 28, 2019, 2:15 PM IST

उत्तराखंड में चिकित्सा शिक्षा विभाग ने राजकीय मेडिकल कॉलेजों में दाखिले के नियमों में बदलाव कर दिये गए हैं. नियमों में हुए बदलाव के बाद अब बॉन्ड भरकर मेडिकल की पढ़ाई रियायत दरों में करने का सपना देख रहे युवाओं को झटका लगा है.

कॉन्सेप्ट इमेज.

देहरादून: उत्तराखंड में बॉन्ड भरकर सरकारी मेडिकल कॉलेज में सस्ती शिक्षा का सपना देख रहे छात्रों को शासन स्तर से झटका मिला है. इस साल के एडमिशन प्रवेश सत्र में नये नियमों के तहत हल्द्वानी और देहरादून मेडिकल कॉलेजों में छात्रों को बॉन्ड भरकर सस्ती शिक्षा नहीं ले पाएंगे. इसके साथ ही अन्य राजकीय मेडिकल कॉलेज के छात्रों के लिए भी नियम कड़े कर दिए गए हैं.

राजकीय मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन नियमों में हुए बदलाव.

उत्तराखंड में चिकित्सा शिक्षा विभाग के तहत जारी हुए आदेश के तहत अब हल्द्वानी और देहरादून मेडिकल कॉलेजों में बॉन्ड सुविधा नहीं मिलेगी. छात्र सिर्फ श्रीनगर और अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेज में बॉन्ड भर सकते हैं. ये आदेश सचिव नितेश झा की तरफ से जारी किया है.

पढ़ें- कॉर्बेट में मिला 20 लाख साल पुराना जीवाश्म, शासन को भेजा संग्राहलय खोलने का प्रस्ताव

वहीं, मेडिकल कॉलेजों में जूनियर और सीनियर रेजिडेंट डॉक्टरों की कमी को देखते फैसला लिया गया है कि अब पास आउट छात्र को पहले 1 साल मेडिकल कॉलेजों में अपनी सेवा देनी होगी. इसके बाद 2 सालों तक दुर्गम क्षेत्रों में और फिर 2 साल तक जिला स्तर के चिकित्सालय में अपनी सेवाएं देनी होंगी.

शासनादेश में मेडिकल कॉलेजों की 50 पर्सेंट सीट राज्य कोटे से जबकि 50% ऑल इंडिया मैनेजमेंट कोटे से भरे जाने के भी आदेश दिये गए हैं. बता दें कि बॉन्ड भरने वाले छात्रों को ₹50000 सालाना फीस के आधार पर एमबीबीएस की पढ़ाई पूरी करने का मौका मिलता था. लेकिन अब सभी छात्रों को पढ़ने के लिए ₹400000 सालाना देने होंगे.

Intro:summary- उत्तराखंड में सरकारी मेडिकल कॉलेजों में दाखिला लेने वाले छात्रों के लिए शासन के नियमों में बदलाव कर दिए हैं... इसके तहत बोर्ड भरकर सस्ती शिक्षा पाने की इच्छा रखने वाले छात्रों को तगड़ा झटका लगा है। तो बांड भरने वाले छात्रों के लिए नियम सख्त कर दिए गए हैं।


उत्तराखंड में बांड भरकर सरकारी मेडिकल कॉलेज में सस्ती शिक्षा लेने की इच्छा रखने वाले छात्रों को आज तगड़ा झटका लगा। दरअसल शासन स्तर पर जारी हुए आदेशों में राजकीय मेडिकल कॉलेजों के लिए नए नियम लागू किए गए हैं इसके तहत हल्द्वानी और देहरादून मेडिकल कॉलेजों में अब छात्र बांड भरकर शिक्षा नहीं ले पाएंगे। जबकि दूसरे राजकीय मेडिकल कॉलेज के छात्रों के लिए भी नियम कड़े कर दिए गए हैं।


Body:उत्तराखंड में चिकित्सा शिक्षा विभाग के तहत जारी हुआ आदेश सरकारी मेडिकल कॉलेजों में दाखिला लेने वाले छात्रों के लिए बड़ा झटका है... खासकर जो छात्र बोर्ड भरकर सस्ती शिक्षा लेने की इच्छा रख रहे थे उनके लिए नए नियमों के तहत दिक्कतें पैदा हो सकती है। आपको बता दें कि नए आदेशों के तहत अब हल्द्वानी और देहरादून मेडिकल कॉलेजों में बांड नही भरे जा सकेंगे। हालांकि श्रीनगर और अल्मोड़ा मेडिकल कॉलेजों के लिए छात्रों को उनकी इच्छा के अनुसार बांड भरने की अनुमति दी जाएगी। सचिव नितेश झा की तरफ से जारी शासनादेश में केवल श्रीनगर और अल्मोड़ा के मेडिकल कॉलेजों में ही छात्रों को बोर्ड भरने की सुविधा दी जाएगी। आपको बता दें कि बोर्ड भरने वाले छात्रों को ₹50000 सालाना फीस के आधार पर एमबीबीएस करने का मौका मिलता था जबकि बोर्ड में पढ़ने वाले छात्रों के लिए शुल्क ₹400000 सालाना तक होता है।

बहुत बड़े वाले छात्रों के लिए भी नियमों में बदलाव किए गए इसके तहत मेडिकल कॉलेजों में जूनियर और सीनियर रेजिडेंट डॉक्टरों की कमी को देखते हुए पहले 1 साल मेडिकल कॉलेजों में अपनी सेवा देनी होगी, इसके बाद 2 सालों तक दुर्गम क्षेत्रों में अपनी सेवाओं को देना होगा। जबकि 3 साल बाद 2 साल तक जिला स्तर के चिकित्सालय में भी अपनी सेवाएं देनी होगी।


Conclusion:शासनादेश में मेडिकल कॉलेजों की 50 पर्सेंट सीट राज्य कोटे से जबकि 50% ऑल इंडिया मैनेजमेंट कोटे से भरे जाने के भी आदेश किए गए हैं। बहरहाल नई शर्तों के अनुसार बांड भरने वाले छात्रों पर सख्ती दिखाई गई है और इस व्यवस्था को दो मेडिकल कॉलेजों में बंद कर दिया गया है।
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.