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प्रदेश भर में 102 और 108 एम्बुलेंस की हड़ताल, मरीज परेशान

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Published : Sep 23, 2019, 7:17 PM IST

प्रदेश में इस समय वायरल बुखार और मलेरिया जबरदस्त तरीके से फैला हुआ है. वहीं अपनी मांगों को लेकर स्वास्थ्य विभाग की एबुलेंस सेवा 108 व 102 के चालक, सोमवार को हड़ताल पर चले गए. हड़ताल के चलते प्रदेश भर के एबुलेंस वाहन के चक्के थम गए. जिसके सरकारी एम्बुलेंस सर्विस ठप हो गई.

सरकारी एम्बुलेंस सर्विस ठप.

प्रयागराज में सोमवार से 108 और 102 एंबुलेंस चालकों ने हड़ताल कर दी है. एंबुलेंस चालकों की हड़ताल का स्वास्थ्य सेवाओं पर बुरा असर पड़ रहा है. हड़ताल पर गए कर्मचारियों का कहना निजी कम्पनी हम लोगों का शोषण करती है. कंपनी हमसे वर्तमान में 12 घंटे की ड्यूटी ले रही है और वेतन 8 घंटे का दे रही है. हमें निजी कंपनी से नहीं बल्कि एनआरएचएम के तहत काम दिया जाए. हमारे द्वारा काम किए जा रहे और टाइम से भुगतान भी नहीं मिल रहा है. जो कंपनी के द्वारा जारी किया गए आदेश श्रम कानून के विपरीत है. जिसको लेकर आज सभी कर्मचारी यहां पर इकट्ठा होकर एंबुलेंस जिसको रखते हुए.अगर सरकार हमारी मांगों को नहीं मानती है तो, हम हड़ताल जारी रखेंगे.

बदायूं में एंबुलेंस चालकों की हड़ताल.

बदायूं में एंबुलेंस चालकों ने अपनी विभिन्न मांगों को लेकर हड़ताल कर दी. एम्बुलेंस चालकों का कहना है कि उन पर कम्पनी द्वारा दबाव डालकर फर्जी केस लगाने को कहा जाता है और पकड़े जाने पर उनके खिलाफ टर्मिनेट करने की कार्रवाई कर दी जाती है. साथ ही उनको समय पर वेतन नहीं मिलता और उनके उनसे निर्धारित समय से ज्यादा काम लिया जाता है.

इस पूरे मामले पर प्रभारी सीएमओ डॉ मंजीत सिंह का कहना है कि एम्बुलेंस चालकों से मेरे और प्रशासन के द्वारा बातचीत की जा रही है. उन्हें समझाया गया है कि, वह जनपद की स्थिति को देखकर कार्य पर वापस आ जाएं, लेकिन वाहन चालकों का कहना है कि, जब तक उनकी मांगे पूरी नहीं होंगी वह कार्य पर वापस नहीं आएंगे. ऐसे में प्रशासन उनके खिलाफ एस्मा के तहत कार्रवाई करेगा.

कन्नौज में एंबुलेंस चालकों की हड़ताल.

कन्नौज में भी अपनी मांगों को लेकर हड़ताल कर रहे जीवनदायिनी स्वास्थ्य विभाग 108, 102 एंबुलेंस सेवा कर्मचारी संघ एम्बुलेंस लेकर चालक कलेक्ट्रेट परिसर में इकट्ठा हो गए. एंबुलेंस को मैदान में खड़ा कर अपने मांगो के समर्थन जमकर नारेबाजी की. एंबुलेंस कर्मियों का कहना है कि उनसे 8 घंटे की जगह 12 घंटे ड्यूटी कराई जाती है और उन्हें पायलट प्रोजेक्ट के तहत दिहाड़ी मजदूर की तरह 60 रुपये प्रति केस के हिसाब से भुगतान किए जाने की बात की जा रही है, जिससे सभी एंबुलेंस कर्मी पायलट प्रोजेक्ट के विरोध में हैं. इसके अलावा उनको वेतन भी समय से नहीं दिया जा रहा है.

बदायूं में एंबुलेंस चालकों की हड़ताल.

महोबा में भी 108 और 102 एंबुलेंस कर्मचारियों की हड़ताल से स्वास्थ सेवाओं पर बुरा असर पड़ रहा है. जिले के सभी एंबुलेंस कर्मचारियों ने अपनी गाड़ियों को डाक बंगला मैदान में खड़ा कर हड़ताल पर चले गए. उनका आरोप है कि हमारे अधिकारियों द्वारा फर्जी तरीके से केस कराए जा रहे हैं और समय से वेतन नहीं दिया जा रहा है . इनका कहना है कि जब तक उनकी मांग पूरी नहीं होती हड़ताल जारी रखेंगे.

Intro:आज अपनी मांगों को लेकर स्वास्थ्य विभाग की एबुलेंस सेवा 108 व 102 के चालक हड़ताल पर चले गए। हड़ताल के चलते प्रयागराज में तैनात 80 एबुलेंस वाहन के चक्के थम गये। आज सुबह से ही वाहन चालक वाहन समेत परेड ग्राउंड में पहुचकर अपने वाहन खड़े कर दिए। जिसके चलते आज सुबह से जनपद में सरकारी एम्बुलेंस सर्विस ठप हो गयी है।


Body:हड़ताल पर गए कर्मचारियों का कहना निजी कम्पनी के द्वारा हम लोगो का शोषण किया जाता। कम साड़ियों की मांग है कि हमें निजी कंपनी से नहीं बल्कि एनआरएच एम के तहत उन्हें काम दिया जाय। इनका कहना है कि निजी कंपनी हमसे वर्तमान में 12 घंटे की ड्यूटी ले रही है और वेतन 8 घंटे का दे रही है हमारे द्वारा किए जा रहे और टाइम का भुगतान हमें नहीं मिल रहा है कंपनी के द्वारा जारी किया गया आदेश श्रम कानून के विपरीत है। जिसको लेकर आज सभी कर्मचारी यहां पर इकट्ठा होकर एंबुलेंस जिसको रखते हुए


Conclusion:इनका कहना है कि सरकार अगर हमारी मांगों को नहीं सिखाती है तो हम यह साल जारी रखेंगे।

बाईट: हड़ताली कर्मचारी एम्बुलेंस

प्रवीण मिश्र
प्रयागराज।
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