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आतंकियों से भी खौफनाक है PFI के मंसूबे, जिहाद कॉरिडोर के लिए बनाया था 4 स्टेज का ब्लू प्रिंट

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Published : Sep 27, 2022, 8:39 PM IST

यूपी एटीएस(UP ATS) ने मेरठ व वाराणसी से गिरफ्तार किये गए 6 पीएफआई के सदस्यों के पास से कई अहम दस्तावेज बरामद किए हैं. इन दस्तावेजों में भारत को इस्लामिक राष्ट्र बनाने व कायरों(हिंदुओं) को घुटने पर लाने के लिये 4 स्टेज का ब्लू प्रिंट तैयार किया गया था.

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लखनऊः बीते वर्षों में यूपी से गिरफ्तार हुए आतंकियों व उनके आकाओं से खतरनाक व खौफनाक मंसूबे पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) पाले बैठा है. पीएफआई के आका अपने लोगों से कहता है कि जब इंडिया आजादी के 100 साल मना रहा होगा, तब तक यही इंडिया इस्लामिक स्टेट(Islamic State) बन चुका होगा. बस एक बार 10 प्रतिशत ही मुस्लमान साथ दे दें, तो कायरों(हिंदुओं) को घुटने पर ला देंगे. ये खुलासा यूपी एटीएस(UP ATS) को पीएफआई सदस्यों के पास से मिले दस्तावेजों के आधार पर हुआ है, जिसमें उनके मिशन 'जिहाद कॉरिडोर'(jihad corridor) को पूरा करने को लेकर कई अहम जानकारी मौजूद हैं.

सूत्रों के मुताबिक, यूपी एटीएस ने मेरठ व वाराणसी से गिरफ्तार किये गए 6 पीएफआई के सदस्यों के पास से कई अहम दस्तावेज बरामद किए हैं. इन दस्तावेजों में भारत को इस्लामिक राष्ट्र बनाने व कायरों(हिंदुओं) को घुटने पर लाने के लिये 4 स्टेज का ब्लू प्रिंट(blue print) तैयार किया गया था. इस ब्लू प्रिंट को जनवरी 2018 को तैयार किया गया था. सूत्रों के मुताबिक, इस ब्लू प्रिंट(blue print) को धरातल में लाने के लिए अलग-अलग राज्यो में मौजूद PFI के सदस्यों को जिम्मेदारी दी गई थी.

इन सभी चारों स्टेज को पूरा करने के लिए पीएफआई के लोगों को युवाओं की जरुरत होती है. पीएफआई के लोग मुस्लिम युवाओं को अपने साथ लाने के लिए सोशल मीडिया प्लेटफार्म का सहारा लेते रहे हैं और यह काम तीन चरणों में होता है. सबसे पहले तो वह सार्वजनिक तौर पर ऐसी चीजें लिखते, जिन पर मुस्लिम युवा प्रतिक्रिया दें. दूसरे चरण में धर्म या जिहाद के बारे में बातें लिखी जाती हैं, जो युवा इस बारे में कमेंट लिखते उनसे ही पीएफआई संपर्क करती है और उन्हें संगठन का कोर मेंबर बना दिया जाता है.

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कोर मेंबर बनाने के बाद बताया जाता है कि वे 2047 तक भारत को मुस्लिम राष्ट्र बनाना चाहते हैं. उन्हें यह बताया जाता है कि मौजूदा हालात में उन्हें कैसे काम करना है? फिर उन्हें ट्रेनिंग दी जाती है. इस तरह से पूरा नेटवर्क काम करता है. इसके बाद शूरू होता है मिशन 'जिहाद कॉरिडोर' के ब्लू प्रिंट को चार स्टेज में पूरा करने का अभियान.

फर्स्ट स्टेज : मुस्लिम युवाओं को जोड़कर गोरिल्ला अटैक की ट्रेनिंग
पीएफआई आतंकी संगठनों की ही तरह अपने संगठनों के कोर मेंबर्स को गोरिल्ला अटैक (Gorilla Attack) करने की ट्रेनिंग देता है, जिसमें उन्हें कैसे अटैक करना है और कैसे खुद को बचाना है. उन्हें तलवार, चाकू, लोहे की रॉड व अन्य हथियारों को चलाने की ट्रेनिंग देकर ट्रेंड कैडर तैयार किये जाते हैं, जो किसी भी स्थति में सरकार से लोहा लेने के लिये तैयार रहते हैं.

सेकंड स्टेज: ट्रेंड कैडर प्रदर्शन कर दहशत व हिंसा फैलाएंगे
पीएफआई अपने 'जिहाद कॉरिडोर' मिशन को पूरा करने के लिए और दूसरे स्टेज को पूरा करने के लिये अपने ट्रेंड कैडर को हुक्म दे सड़क पर उतारते हैं. इनका मुख्य उद्देश्य अपनी ताकत का प्रदर्शन कर हिंसा फैलाना होता है. PFI राष्ट्रीय ध्वज व अंबेडकर केसिद्धांतो को शील्ड बनाने के लिये भी कहता है, जिससे उसके साथ दलित वर्ग भी प्रदर्शन के दौरान जुड़ जाए. इस स्टेज के तहत हिंसा फैलाने में उनके अनुसार अच्छा प्रदर्शन करने वालों को इनाम दिया जता है.

थर्ड स्टेज: दलितों को चारा बनाना
पीएफआई के पास से मिले दस्तावेजों के आधार पर यूपी एटीएस को पता चला है कि ये लोग दलित युवाओं को चारा कह कर संबोधित करते हैं. पीएफआई के मुताबिक, चारा (SC/ST) को अपने साथ जोड़ कर चुनाव लड़ना व जीत हासिल कर सरकार में शामिल होना, इनके चौथे स्टेज का हिस्सा है.

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फोर्थ स्टेज: सत्ता अपने काबू में लेना
पीएफआई का मिशन जिहाद कॉरिडोर , जिसके तहत भारत को 2047 तक इस्लामिक राष्ट्र का ब्लू प्रिंट बनाया गया है. इसके लिए पीएफआई का यह चौथा स्टेज उनके लिये सबसे महत्वपूर्ण है. इस स्टेज के तहत 50 फीसदी मुसलमानों और 10 फीसदी SC/ST का भरोसा जीत कर सत्ता पाने के बाद सभी सरकारी विभाग, न्यायपालिका, पुलिस व सेना की कमान अपने ट्रेंड कैडर के हाथों सौप देना. यही नहीं सेना व पुलिस में 90 फीसदी मुस्लिमों व 10फीसदी SC ST के लोगों की भर्ती कर देना है.

मुस्लिमों पर अत्याचार की कहानी बता कर PFI वसूल रहा पैसा
पीएफआई अपने मिशन जिहाद कॉरिडोर को पूरा करने के लिए भारी मात्रा में फंड भी इकट्ठा कर रहा था. ईडी की रीमांड में पीएफआई के प्रचारक शफीक पायेथ ने बताया है कि वह और उसके कुछ साथ मुस्लिम देशों में जाकर भारत में मुस्लिमों पर अत्यचार हो रहा है ऐसी झूठी कहानियां बताते थे. यही नहीं मुस्लिमों के उत्थान के लिए वे लोग उन देशों से भारी रकम दान के रूप में लेते थे. इसके लिये पीएफआई रिहैब इंडिया फाउंडेशन का सहारा लेता है. इसी फाउंडेशन में पैसा लिया जाता है और उसका इस्तेमाल भारत विरोधी गतिविधियों में किया जाता है.

एक बार फिर हुई 8 राज्यों में छापेमारी
देश भर में 23 सितंबर को हुई छापेमारी में गिरफ्तार PFI के सदस्यों से पूछताछ के बाद मंगलवार को एक बार फिर से NIA ने 8 राज्यों समेत यूपी के 5 शहरों में छापेमारी की है, जिसमें अब तक 27 लोगों को हिरासत में लिया गया है. सूत्रों के मुताबिक, यूपी एटीएस व NIA की पूछताछ में PFI सदस्यो ने भारत के खिलाफ रची जा रही साजिश का खुलासा करते हुए अपने साथियों के नाम उगले थे. इसके बाद देश केरल, दिल्ली, एमपी व यूपी समेत कई राज्यों में छापेमारी हुई है. यूपी में मेरठ, लखनऊ, गाजियाबाद, बुलंदशहर व सीतापुर में छापेमारी की गई है.

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