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फर्रुखाबाद: बर्बादी का ऐसा कहर, टापू बने कई गांव, प्रशासन के फूले हाथ-पांव

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Published : Aug 4, 2021, 8:52 AM IST

बारिश.
बारिश.

फर्रुखाबाद में पहाड़ों पर लगातार हो रही बारिश से लोगों का जीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. दर्जनों गांव जलमग्न हो गए हैं. नरोरा बांध से नदियों में पानी छोड़े जाने से लोगों की मुश्किलें बढ़ती जा रही है. लगातार बारिश से गंगा नदी उफान पर हैं. नदी के किनारे बसे गांव के घरों में पानी घुस रहा है. जिससे लोग खासा परेशान हैं.

फर्रुखाबाद: लगातार पहाड़ों पर हो रही बारिश से व नरोरा बांध से नदियों में पानी छोड़े जाने से लोगों की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं. गंगा के किनारे बसे गांवों में घरों में पानी घुस गया है. फर्रुखाबाद गंगा में लगातार हो रही बढ़ोत्तर नें गंगा की जद में आने वाले ग्रामीणों की धडकनें बढ़ा दी है. लिहाजा अब गंगा लगातार खतरे के निशान की तरफ बढ़ रहीं है. दर्जनों गांव जलमग्न हो गए हैं.

पहाड़ों पर बारिश होने से गंगा का जलस्तर बढ़ रहा है. लगातार बांधों से पानी छोड़ा जा रहा है. आज सुबह गंगा में नरौरा बांध से 1 लाख 14 हजार 152 क्यूसेक, बिजनौर से 73,839 क्यूसेक, हरिद्वार से 87,113 क्यूसेक पानी छोड़ा गया है. पानी छोड़े जाने से नदी का जलस्तर 136.90 से बढ़कर 137.00 मीटर पर पहुंच गया है. ये खतरे के निशान से मात्र 10 सेंटीमीटर दूर है. करीब 100 से अधिक गांवों तक बाढ़ का पानी पहुंच गया है. शमसाबाद-शाहजहांपुर मार्ग पर भी दो फीट पानी बह रहा है.

जानकारी देते ग्रामीण.

कंपिल के तराई से लेकर विकास खंड शमसाबाद और गंगापार तक कई गांव में पानी घुस चुका है. अचानक बढ़े पानी से इलाके में हाहाकार मचा हुआ है. वहीं, ढाईघाट किनारे के कई गांव बाढ़ की चपेट में आ गए हैं. वी कमालगंज ब्लाक के कुछ गांव में भी पानी घुस गया है. जिले के अधिकारी अभी तक ग्रामीणों की सुध लेने नहीं पहुंचे है. ग्रामीण बाढ़ की स्थिति से बेहद परेशान है.

पहाड़ों पर हो रही लगातार बारिश से फर्रुखाबाद जिले में गंगा नदी उफान पर हैं. गंगा के किनारे बसे गांव में घरों में पानी घुस गया है. लोगों के साथ-साथ जानवरों की भी मुश्किलें बढ़ गई हैं. जीव जंतु आदि का लोगों को डर सताने लगा है. दरअसल, विकास खंड राजेपुर के ग्राम माखन नगला, सुभनापुर, मंझा की मड़ैया, रामप्रसाद नगला, बनासीपुर, फुलहा, करनपुर घाट के साथ ही चाचूपुर गांव की तरफ भी पानी का प्रवाह तेज हो गया है. जिससे आसपास के कई गांवों में पानी भर गया है. कई परिषदीय विद्यालय भी पानी में डूब गए हैं.

कमालगंज के ग्राम कल्लू नगला व धारा नगला व जंजाली नगला में गंगा का कटान तेजी पर है. उफनाती गंगा ग्रामीणों में दहशत बढ़ा रही हैं. हजारों बीघा फसल जलमग्न हो गई है. पानी घरों में दाखिल होने से ग्रामीण अपने मकान तोड़कर पलायन को मजबूर हो गए हैं. अमृतपुर विकास खंड के गांव माखन नगला में गंगा में उफान के चलते ग्राम हमीरपुर परतापुर के ग्रामीणों द्वारा मुख्य मार्ग रोड काट दिया गया है. माखन नगला संपर्क मार्ग कट जाने से 4 गांवों का आवागमन बंद हो गया है. जिससे माखन नगला, रामप्रसाद नगला, कालिका नगला, जटपुरा आदि गांव का आवागमन बंद हो गया. लोगों का निकलना मुश्किल हो गया है. कुड़री सारंगपुर, करनपुर घाट, बलीपट्टी गांव के निकट बाढ़ का पानी पहुंच गया है.

राजेपुर क्षेत्र में गंगा का जलस्तर बढ़ने से कई गांव में पानी पंहुच गया है.राजेपुर क्षेत्र गांव चित्रकूट, शीशराम मड़ैया के गोटिया पूर्वी, गोटिया पश्चिमी, बरुआ, हमीरपुर के लगभग दो दर्जन से ज्यादा गांवों में बाढ़ का पानी पहुंच गया है. प्राथमिक विद्यालय उदयपुर कंचनपुर स्कूल में बाढ़ का पानी भर गया है. ग्रामीण नाव के सहारे आवागमन कर रहे हैं. वहीं इन गांव में संपर्क मार्ग में भी पानी भर गया है. बाढ़ के पानी आने से एक दर्जन से ज्यादा संपर्क मार्ग भी टूट गये हैं. इस पर कोई भी अधिकारी अभी तक इन ग्रामीणों की सुध लेने नहीं पहुंचा है. केवल कागजों में ही सारा कुछ हिसाब किताब रखा जा रहा है. हकीकत कुछ और ही ही है. जो ग्रामीण बयां कर रहे हैं. वह कुछ और है.

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